JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 10 वृत्त Ex 10.2

Jharkhand Board JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 10 वृत्त Ex 10.2 Textbook Exercise Questions and Answers.

JAC Board Class 10 Maths Solutions Chapter 10 वृत्त Exercise 10.2

प्रश्न सं. 1, 2, 3 में सही विकल्प चुनिए एवं उचित कारण दीजिए।

प्रश्न 1.
एक बिन्दु Q से एक वृत्त पर स्पर्श रेखा की लम्बाई 24 सेमी तथा 2 की केन्द्र से दूरी 25 सेमी है। वृत्त की त्रिज्या है :
(A) 7 सेमी
(B) 12 सेमी
(C) 15 सेमी
(D) 24.5 सेमी
हल:
एक वृत्त जिसका केन्द्र O है। बाह्य बिन्दु Q से स्पर्श रेखा PQ की लम्बाई 24 सेमी तथा Q की केन्द्र O से दूरी 25 सेमी है।
∴ ∠QPO = 90° [प्रमेय 10.1 से]
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समकोण ΔQPO में,
OQ2 = PQ2 + OP2
⇒ (25)2 = (24)2 + OP2
⇒ OP2 = (25)2 – (24)2
⇒ OP2 = 625 – 576
⇒ OP2 = 49
⇒ OP = \(\sqrt{49}\)
∴ OP = 7 सेमी
अतः सही विकल्प (A) है।

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प्रश्न 2.
चित्र में, यदि TP, TQ केन्द्र O वाले किसी वृत्त पर दो स्पर्श रेखाएँ इस प्रकार हैं कि ∠POQ = 110, तो ∠PTQ बराबर है:
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(A) 60°
(B) 70°
(C) 80°
(D) 90°
हल:
हम जानते हैं कि स्पर्श रेखा स्पर्श बिन्दु से होकर खींची गई त्रिज्या पर लम्बवत् होती है।
∴ ∠OPT = 90°
तथा ∠OQT = 90°
अब चतुर्भुज POQT में,
∠POQ + ∠OQT + ∠PTQ + ∠TPO = 360°
⇒ 110° + 90° + ZPTO + 90° = 360°
⇒ ∠PTQ = 360° – 290°
∴ ∠PTQ = 70°
अतः सही विकल्प (B) है।

प्रश्न 3.
यदि एक बिन्दु से 0 केन्द्र वाले किसी वृत्त पर PA, PB स्पर्श रेखाएँ परस्पर 80° के कोण पर झुकी हों, तो ∠POA है:
(A) 50°
(B) 60°
(C) 70°
(D) 80°
हल:
वृत्त का केन्द्र O है और बिन्दु P से PA व PB वृत्त पर स्पर्श रेखाएँ हैं जिनके बीच ∠APB = 80° है।
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OA तथा OB वृत्त की त्रिज्याएँ हैं।
चूँकि स्पर्श रेखा स्पर्श बिन्दु से होकर खींची गई त्रिज्या पर लम्ब होती है।
∠A = 90° और ∠B = 90°
∴ ∠AOB व ∠APB सम्पूरक हैं।
∠AOB + ∠APB = 180°
⇒ ∠AOB = 180° – ∠APB
⇒ ∠AOB = 180° – 80°
∴ ∠AOB = 100°
हम जानते हैं कि OP रेखा, ∠AOB को समद्विभाजित करती है।
∠POA = \(\frac{1}{2}\)∠AOB
= \(\frac{1}{2}\) × 100° = 50°
∠POA = 50°
अतः सही विकल्प (A) है।

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प्रश्न 4.
सिद्ध कीजिए कि किसी वृत्त के किसी व्यास के सिरों पर खींची गई स्पर्श रेखाएँ समान्तर होती हैं।
हल:
दिया है एक वृत्त जिसका केन्द्र O तथा व्यास AB हैं। PQ और RS बिन्दु A व B पर स्पर्श रेखाएँ हैं।
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सिद्ध करना है: PQ || RS
उपपत्ति: ∵ OA त्रिज्या है और PQ स्पर्श रेखा, OA त्रिज्या पर लम्ब है।
[प्रमेय 10.1 से ]
∴ ∠1 = 90°
इसी प्रकार,
RS ⊥ OB
∴ ∠2 = 90°
अब ∴ ∠1 = ∠2
परन्तु यह दो समान्तर रेखाओं के एकान्तर कोण हैं, जब एक तिर्यक रेखा उन्हें काटती है।
∴ PQ || RS
अतः किसी व्यास के सिरों पर खींची गई स्पर्श रेखाएँ परस्पर समान्तर होती हैं।

प्रश्न 5.
सिद्ध कीजिए कि स्पर्श बिन्दु से स्पर्श रेखा पर खींचा गया लम्ब वृत्त के केन्द्र से होकर जाता है।
हल:
दिया है: एक वृत्त जिसका केन्द्र O है। AB इसकी स्पर्श रेखा है जो वृत्त को P पर स्पर्श करती है।
सिद्ध करना है: लम्ब PQ वृत्त के केन्द्र O से जाता है।
उपपत्ति: यदि सम्भव हो, तो माना PQ, AB के लम्बवत् है, जो O से नहीं गुजरती है।
OP को मिलाया।
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∵ वृत्त के बिन्दु पर स्पर्श रेखा, स्पर्श बिन्दु पर त्रिज्या के लम्बवत् होती है, इसलिए
AB ⊥ OP अर्थात् ∠OPB = 90°
तथा ∠QPB = 90° (रचना से)
∴ ∠QPB = ∠OPB, जो सम्भव नहीं है क्योंकि रेखाखण्ड OP रेखा PQ के बराबर नहीं हो सकता है।
यह हमारी कल्पना के विपरीत है।
अतः स्पर्श रेखा AB के स्पर्श बिन्दु P पर खींचा गया लम्ब PQ, वृत्त के केन्द्र से होकर जाता है।

प्रश्न 6.
एक बिन्दु A से, जो एक वृत्त के केन्द्र से 5 सेमी दूरी पर है, वृत्त पर स्पर्श रेखा की लम्बाई 4 सेमी है। वृत्त की त्रिज्या ज्ञात कीजिए।
हल:
एक वृत्त जिसका केन्द्र ‘O’ है। वृत्त के बाहर इसके केन्द्र से 5 सेमी की दूरी पर कोई बिन्दु A है।
स्पर्श रेखा की लम्बाई = PA = 4 सेमी
∵ हम जानते हैं कि वृत्त पर स्पर्श रेखा स्पर्श बिन्दु से होकर खींची गई त्रिज्या पर लम्ब होती है।
∴ ∠OPA = 90°
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समकोण ΔOPA में, पाइथागोरस प्रमेय से,
OA2 = OP2 + PA2
(5)2 = OP2 + (4)2
⇒ OP2 = 25 – 16
⇒ OP2 = 9
⇒ OP = \(\sqrt{9}\) ⇒ OP = 3 सेमी
अतः वृत्त की त्रिज्या 3 सेमी है।

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प्रश्न 7.
दो संकेन्द्रीय वृत्तों की त्रिज्याएँ 5 सेमी तथा 3 सेमी हैं। बड़े वृत्त की उस जीवा की लम्बाई ज्ञात कीजिए जो छोटे वृत्त को स्पर्श करती हो।
हल:
माना O केन्द्र वाले दो संकेन्द्रीय वृत्त हैं जिनकी त्रिज्याएँ OA तथा OP क्रमश: 5 सेमी व 3 सेमी हैं।
बड़े वृत्त की एक जीवा AB है जो छोटे वृत्त को बिन्दु P पर स्पर्श करती है।
∠OP ⊥ AB (प्रमेय 10.1 से)
∠OPA = 90°
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∴ समकोण ΔOPA में, पाइथागोरस प्रमेय से,
AP2 + OP2 = OA2
⇒ AP2 + (3)2 = (5)2
⇒ AP2 = (5)2 – (3)2
= 25 – 9 = 16
∴ AP = 4 सेमी
परन्तु बड़े वृत्त में, जीवा AB पर केन्द्र O से OP लम्ब है।
∴ बिन्दु P, जीवा AB को समद्विभाजित करता है।
AP = BP = 4 सेमी
जीवा AB की लम्बाई = AP + BP
= 4 + 4
= 8 सेमी
अतः बड़े वृत्त की जीवा की लम्बाई 8 सेमी।

प्रश्न 8.
एक वृत्त के परिगत एक चतुर्भुज ABCD खींचा गया है। सिद्ध कीजिए:
AB + CD = AD + BC
हल:
दिया है: O केन्द्र वाले वृत्त के परिगत एक चतुर्भुज ABCD जिसकी भुजाएँ AB, BC, CD तथा DA वृत्त को क्रमशः बिन्दुओं P, Q, R और S पर स्पर्श करती हैं।
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सिद्ध करना है: AB + CD = AD + BC
उपपत्ति: हम जानते हैं कि किसी बाह्य बिन्दु से वृत्त पर खींची गई स्पर्श रेखाओं की लम्बाई बराबर होती है।
अब B, वृत्त के बाहर स्थित कोई बिन्दु है और BP, BQ वृत्त पर स्पर्श रेखाएँ हैं।
∴ BP = BQ …..(1)
इसी प्रकार, AP = AS …..(2)
और DR = DS …..(3)
और CR = CQ …..(4)
समीकरण (1), (2), (3) व (4) को जोड़ने पर,
BP + AP + DR+ CR = BQ + AS + DS + CQ
⇒ (AP + BP) + (CR + DR) = (AS + DS) + (BQ + CQ)
⇒ AB + CD = AD + BC

प्रश्न 9.
आकृति में, XY तथा XY’ 0 केन्द्र वाले किसी वृत्त पर दो समान्तर स्पर्श रेखाएँ हैं और स्पर्श बिन्दु C पर स्पर्श रेखा AB, XY को A पर तथा X’Y’ को B पर प्रतिच्छेद करती है। सिद्ध कीजिए कि ∠AOB = 90° है।
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हल:
दिया है: XY तथा X’Y’, O केन्द्र वाले वृत्त पर दो समान्तर स्पर्श रेखाएँ हैं और स्पर्श बिन्दु C पर एक अन्य स्पर्श रेखा AB, XY को A तथा X’Y’ को B पर प्रतिच्छेद करती है। OA तथा OB को मिलाया।
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सिद्ध करना है: ∠AOB = 90°
रचना: OC मिलाया।
उपपत्ति: XY और X’Y’ वृत्त की दो स्पर्श रेखाएँ हैं, जो वृत्त को P और Q पर स्पर्श करती हैं। बिन्दु C से वृत्त की स्पर्श रेखा AB, XY को A तथा X’Y’ को B पर काटती है।
∴ बिन्दु A से वृत्त पर AP व AC स्पर्श रेखाएँ हैं।
∴ AP = AC
ΔOPA तथा ΔOCA में,
OP = OC (वृत्त की त्रिज्याएँ)
AP = AC (बाह्य बिन्दु से वृत्त की स्पर्श रेखाएँ)
OA = OA (उभयनिष्ठ भुजा)
∴ ΔOPA ≅ ΔOCA (SSS सर्वांगसमता गुणधर्म से )
सर्वांगसम त्रिभुजों के संगत कोण समान होते हैं।
∠POA = ∠AOC …..(1)
इसी प्रकार बिन्दु B से वृत्त पर BQ और BC स्पर्श रेखाएँ हैं।
अतः BQ = BC
ΔOQB तथा ΔOBC में,
OQ = OC (वृत्त की त्रिज्याएँ)
BQ = BC (बिन्दु B से वृत्त पर स्पर्श रेखाएँ)
OB = OB (उभयनिष्ठ भुजा)
∴ ΔOQB ≅ ΔOCB
⇒ ∠BOQ = ∠COB …..(2)
∵ ∠POA + ∠AOC + ∠COB + ∠BOQ = 180°
समीकरण (1) व (2) से,
⇒ ∠AOC + ∠AOC + ∠COB + ∠COB = 180°
⇒ 2(∠AOC + ∠COB) = 180°
⇒ ∠AOC + ∠COB = \(\frac{180^{\circ}}{2}\) = 90°
∴ ∠AOB = 90°

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प्रश्न 10.
सिद्ध कीजिए कि किसी बाह्य बिन्दु से किसी वृत्त पर खींची गई स्पर्श रेखाओं के बीच का कोण स्पर्श बिन्दुओं को मिलाने वाले रेखाखण्ड द्वारा केन्द्र पर अन्तरित कोण का सम्पूरक होता है।
हल:
दिया है: एक वृत्त जिसका केन्द्र O है। वृत्त के बाहर स्थित किसी बिन्दु P से PQ और PR दिए गए वृत्त पर स्पर्श रेखाएँ हैं।
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सिद्ध करना है: ∠ROQ + ∠QPR = 180°
उपपत्ति : OQ त्रिज्या है तथा बिन्दु P से PQ स्पर्श रेखा है जो वृत्त को बिन्दु Q पर स्पर्श करती है।
∠OQP = 90°
[∵ स्पर्श रेखा स्पर्श बिन्दु से होकर खींची गई त्रिज्या पर लम्ब होती है]
इसी प्रकार, ∠ORP = 90°
अब चतुर्भुज ROQP में,
∠ROQ + ∠PRO + ∠OQP + ∠QPR = 360°
⇒ ∠ROQ + 90° + 90° + ∠QPR = 360°
⇒ ∠ROQ + ∠QPR = 360° – 180°
⇒ ∠ROQ + ∠QPR = 180°
अत: ∠QPR, ∠ROQ का सम्पूरक है।

प्रश्न 11.
सिद्ध कीजिए कि किसी वृत्त के परिगत समान्तर चतुर्भुज समचतुर्भुज होता है।
हल:
दिया है: केन्द्र O वाले वृत्त के परिगत एक समान्तर चतुर्भुज ABCD खींचा जिसकी भुजाएँ वृत्त को क्रमश: E, F, G, H बिन्दुओं पर स्पर्श करती हैं।
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सिद्ध करना है: ABCD एक समचतुर्भुज है।
उपपत्ति: ∵ बाहरी बिन्दु से किसी वृत्त पर खींची गई दोनों स्पर्श रेखाओं की लम्बाई समान होती है।
अब वृत्त के बाहर स्थित बिन्दु B से BE और BF वृत्त पर दो स्पर्श रेखाएँ हैं।
∴ BE = BF …..(1)
इसी प्रकार, AE = AH …..(2)
CG = CF …..(3)
तथा DG = DH …..(4)
समीकरण (1), (2), (3) व (4) को जोड़ने पर,
(BE + AE) + (CG + DG) = (BF + CF) + (AH+DH)
⇒ AB + CD = BC + AD …..(5)
∵ दिया है, ABCD एक समान्तर चतुर्भुज है।
∴ AB = CD
और BC = AD …..(6)
समान्तर चतुर्भुज की सम्मुख भुजाएँ
समीकरण (5) व (6) से,
AB + AB = BC + BC
⇒ 2AB = 2BC
⇒ AB = BC
∴ AB = BC = CD = AD
अत: ABCD एक समचतुर्भुज है।

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प्रश्न 12.
4 सेमी त्रिज्या वाले एक वृत्त के परिगत एक त्रिभुज ABC इस प्रकार खींचा गया है कि रेखाखण्ड BD और DC (जिनमें स्पर्श बिन्दु D द्वारा BC विभाजित है) की लम्बाइयाँ क्रमशः 8 सेमी और 6 सेमी हैं। भुजाएँ AB और AC ज्ञात कीजिए।
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हल:
4 सेमी त्रिज्या वाले एक वृत्त के परिगत एक ΔABC खींचा गया है। त्रिभुज की भुजाएँ BC, CA, AB वृत्त को क्रमश: D, E F बिन्दुओं पर स्पर्श करती हैं।
∵ किसी बाह्य बिन्दु से वृत्त पर खींची गई स्पर्श रेखाओं की लम्बाई समान होती है।
∴ AE = AF = x सेमी (माना)
CE = CD = 6 सेमी
और BF = BD = 8 सेमी
OF, OE, OA, OB तथा OC को मिलाया।
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हम जानते हैं कि वृत्त की स्पर्श रेखा स्पर्श बिन्दु से होकर खींची गई त्रिज्या पर लम्ब होती है।
∴ OD ⊥ BC, OE ⊥ AC और OF ⊥ AB
ΔABC में, b = AC = (x + 6) सेमी
a = CB
= (6 + 8) सेमी = 14 सेमी
c = BA(8 + x) सेमी
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ΔOBC का क्षेत्रफल = \(\frac{1}{2}\) × आधार × शीर्षलम्ब
= \(\frac{1}{2}\) × 14 × 4
= 28 सेमी2 …..(2)
ΔBOA का क्षेत्रफल = \(\frac{1}{2}\) × आधार × शीर्षलम्ब
= \(\frac{1}{2}\) × (8 + x) × 4
= ( 16 + 2x ) सेमी2 …..(3)
ΔAOC का क्षेत्रफल = \(\frac{1}{2}\) × आधार × शीर्षलम्ब
= \(\frac{1}{2}\) × (6 + x) × 4
= (12 + 2x) सोमी2 …(4)
ΔABC का क्षेत्रफल = ΔOBC का क्षेत्रफल + ΔBOA का क्षेत्रफल + ΔAOC का क्षेत्रफल
\(\sqrt{48 x^2+672 x}\) = 28 + 16 + 2x + 12 + 2x
⇒ \(\sqrt{48 x^2+672 x}\) = 4x + 56
⇒ \(\sqrt{48 x^2+672 x}\) = 4(x + 14)
दोनों पक्षों का वर्ग करने पर
48x2 + 672x = 16(x + 14)2
⇒ 48x(x + 14 ) = 16(x + 14)2
⇒ 3x = x + 14
⇒ 2x = 14
⇒ x = \(\frac{14}{2}\) = 7
∴ AC = (x + 6) सेमी
= (7 + 6) = 13 सेमी
और AB = (x + 8 ) सेमी
= (7 + 8) = 15 सेमी
अतः AB = 15 सेमी
और AC = 13 सेमी।

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प्रश्न 13.
सिद्ध कीजिए कि वृत्त के परिगत बने चतुर्भुज की आमने-सामने की भुजाएँ केन्द्र पर सम्पूरक कोण अन्तरित करती हैं।
हल:
दिया है: केन्द्र O वाले वृत्त के परिगत बना चतुर्भुज PQRS जिसकी भुजाएँ PQ, QR, RS और SP वृत्त को क्रमश: L, M, N, T बिन्दुओं पर स्पर्श करती हैं।
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सिद्ध करना है: ∠POQ + ∠SOR = 180°
और ∠SOP + ∠ROQ = 180°
रचना: वृत्त के केन्द्र O से P, Q, R, S, L, M, N तथा T को मिलाया।
उपपत्ति: OL, OM, ON तथा OT वृत्त की त्रिज्याएँ हैं तथा QL, MQ, RN तथा ST वृत्त पर स्पर्श रेखाएँ हैं।
QL ⊥ OL, QM ⊥ OM, RN ⊥ ON तथा ST ⊥ OT (प्रमेय 10.1 से)।
अब समकोण ΔOMQ तथा समकोण ΔOLQ में
∠OMQ = ∠OLQ (प्रत्येक 90° है)
कर्ण OQ = कर्ण OQ (उभयनिष्ठ भुजा)
तथा OM = OL (वृत्त की समान त्रिज्याएँ)
∴ ΔΟΜQ ≅ ΔΟLQ (RHS सर्वागसमता गुणधर्म से)
⇒ ∠3 = ∠2 (CPCT)
इसी प्रकार, ∠4 = ∠5
∠6 = ∠7 तथा ∠8 = ∠1
∵ वृत्त के केन्द्र बिन्दु पर बने सभी कोणों का योग 360° होता है।
∴ ∠1 + ∠2 + ∠3 + ∠4 + ∠5 + ∠6 + ∠7 + ∠8 = 360°
⇒ ∠1 + ∠2 + ∠2 + ∠5 + ∠5 + ∠6 + ∠6 + ∠1 = 360°
⇒ 2(∠1 + ∠2 + ∠5 + ∠6) = 360°
⇒ (∠1 + ∠2) + (∠5 + ∠6) = 180°
∠POQ + ∠SOR = 180°
[∵ ∠1 + ∠2 = ∠POQ तथा ∠5 + ∠6 = ∠SOR]
इसी प्रकार ∠SOP + ∠ROQ = 180°
अतः वृत्त के परिगत बने चतुर्भुज के आमने-सामने की भुजाएँ केन्द्र पर सम्पूरक कोण अन्तरित करती हैं।

JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 13 पृष्ठीय क्षेत्रफल एवं आयतन Ex 13.1

Jharkhand Board JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 13 पृष्ठीय क्षेत्रफल एवं आयतन Ex 13.1 Textbook Exercise Questions and Answers.

JAC Board Class 10 Maths Solutions Chapter 13 पृष्ठीय क्षेत्रफल एवं आयतन Exercise 13.1

प्रश्न 1.
दो घनों, जिनमें से प्रत्येक का आयतन 64 सेमी3 है, के संलग्न फलकों को मिलाकर एक ठोस बनाया जाता है। इससे प्राप्त घनाभ का पृष्ठीय क्षेत्रफल ज्ञात कीजिए ।
हल :
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 13 पृष्ठीय क्षेत्रफल एवं आयतन Ex 13.1 - 1
माना कि घन की प्रत्येक भुजा = x सेमी
घन का आयतन = 64 सेमी3 (दिया है)
हम जानते हैं,
घन का आयतन = (भुजा)3
⇒ 64 = (x)3
⇒ x = \(\sqrt[3]{64}\)
∴ x = 4 सेमी
∴ घन की भुजा = 4 सेमी
∵ जब दोनों घनों को साथ-साथ जोड़ा जाता है, तो घनाभ बन जाता है।
जिसकी लम्बाई (l) = 2x = 2 × 4 = 8 सेमी
चौड़ाई (b) = x = 4 सेमी
ऊँचाई (h) = x = 4 सेमी
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 13 पृष्ठीय क्षेत्रफल एवं आयतन Ex 13.1 - 2
∴ घनाभ का पृष्ठीय क्षेत्रफल = 2 × (lb + bh + hl)
= 2 × (8 × 4 + 4 × 4 + 4 × 8)
= 2 × (32 + 16 + 32)
= 2 × 80
= 160 वर्ग सेमी
अतः नये घनाभ का पृष्ठीय क्षेत्रफल
= 160 वर्ग सेमी

JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 13 पृष्ठीय क्षेत्रफल एवं आयतन Ex 13.1

प्रश्न 2.
कोई बर्तन एक खोखले अर्धगोले के आकार का है जिसके ऊपर एक खोखला बेलन ध्यारोपित है। अर्द्धगोले का व्यास 14 सेमी है और इस बर्तन (पात्र) की कुल चाई 13 सेमी है। इस बर्तन का आन्तरिक पृष्ठीय क्षेत्रफल ज्ञात कीजिए।
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 13 पृष्ठीय क्षेत्रफल एवं आयतन Ex 13.1 - 3
हल :
दिया है,
अर्द्धगोले तथा बेलन की उभयनिष्ठ त्रिज्या (r) = \(\frac {14}{2}\) = 7 सेमी
∴ अर्द्धगोले की त्रिज्या (r) = 7 सेमी
बेलन की त्रिज्या (r) = 7 सेमी
∵ बर्तन की कुल ऊँचाई = 13 सेमी
∴ बेलन की ऊँचाई (h) = (13 – 7) = 6 सेमी
बर्तन का आन्तरिक पृष्ठीय क्षेत्रफल
= बेलन का आन्तरिक पृष्ठीय क्षेत्रफल + अर्द्धगोले का आन्तरिक पृष्ठीय क्षेत्रफल
= 2πrh + 2πr² = 2πr (h + r)
= 2 × \(\frac {22}{7}\) × 7× (6 + 7)
= 44 × 13 = 572 वर्ग सेमी
अतः बर्तन (पात्र) का कुल आन्तरिक पृष्ठीय क्षेत्रफल = 572 वर्ग सेमी।

प्रश्न 3.
एक खिलौना त्रिज्या 3.5 सेमी वाले एक शंकु के आकार का है, जो उसी त्रिज्या वाले एक अर्धगोले पर अध्यारोपित है। इस खिलौने की सम्पूर्ण ऊंचाई 15.5 सेमी है। इस खिलौने का सम्पूर्ण पृष्ठीय क्षेत्रफल ज्ञात कीजिए।
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 13 पृष्ठीय क्षेत्रफल एवं आयतन Ex 13.1 - 4
हल :
दिया है,
शंकु की त्रिज्या (r) = अर्द्धगोले की त्रिज्या (r)
= 3.5 सेमी
तथा खिलौने की ऊँचाई = 15.5 सेमी
∴ शंकु की ऊँचाई (h) = (15.5 – 3.5) सेमी = 12 सेमी
शंकु की तिर्यक ऊँचाई (l) = \(\sqrt{(3 \cdot 5)^2+(12)^2}\)
= \(\sqrt{(3 \cdot 5)^2+(12)^2}\)
= \(\sqrt{(3 \cdot 5)^2+(12)^2}\)
= \(\sqrt{12 \cdot 25+144}\)
= \(\sqrt{156.25}\)
∴ l = 12.5 सेमी
बर्तन का कुल पृष्ठीय क्षेत्रफल = शंकु का पृष्ठीय क्षेत्रफल + अर्द्धगोले का पृष्ठीय क्षेत्रफल
= πrl + 2πr²
= πr (l + 2r)
= \(\frac {22}{7}\) × 3.5 × (12.5 + 2 × 3.5)
= 22 × 0.5 × (12.5 + 7)
= 11 × 19.5
= 214.5 सेमी²
अतः बर्तन का कुल पृष्ठीय क्षेत्रफल
= 214.5 वर्ग सेमी

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प्रश्न 4.
भुजा 7 सेमी वाले एक घनाकार ब्लॉक के ऊपर एक अर्द्धगोला रखा हुआ है। अर्द्धगोले का अधिकतम व्यास क्या हो सकता है? इस प्रकार बने ठोस का पृष्ठीय क्षेत्रफल ज्ञात कीजिए ।
हल
दिया है,
∵ अर्द्धगोले का आधार घन के ऊपरी फलक पर टिका है ।
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 13 पृष्ठीय क्षेत्रफल एवं आयतन Ex 13.1 - 5
∴ अर्द्धगोले का अधिकतम व्यास = घन की भुजा 7 सेमी (दिया है)
∴ अर्द्धगोले की त्रिज्या (r) = \(\frac {7}{2}\)सेमी
ठोस का पृष्ठीय क्षेत्रफल
= घन का सम्पूर्ण पृष्ठीय क्षेत्रफल + अर्द्धगोले का वक्र पृष्ठीय क्षेत्रफल – वृत्तीय आधार का क्षेत्रफल
= 6 × (भुजा)² + 2πr² – πr²
= 6 × (भुजा)² + πr²
= 6 × (7)² + \(\frac{22}{7} \times \frac{7}{2} \times \frac{7}{2}\)
= 6 × 49 + \(\frac {77}{2}\)
= 294 + 38.5 = 332.5 वर्ग सेमी
अतः अर्द्धगोले का अधिकतम व्यास = 7 सेमी
तथा ठोस का पृष्ठीय क्षेत्रफल = 332.5 वर्ग सेमी।

प्रश्न 5.
एक घनाकार ब्लॉक के एक फलक को अन्दर की ओर से काटकर एक अर्द्धगोलाकार गड्डा इस प्रकार बनाया गया है कि अर्द्धगोले का व्यास घन के एक किनारे के बराबर है। शेष बचे ठोस का पृष्ठीय क्षेत्रफल ज्ञात कीजिए ।
हल :
माना कि घन की भुजा = a
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 13 पृष्ठीय क्षेत्रफल एवं आयतन Ex 13.1 - 6
∴ अर्द्धगोले का व्यास = घन की भुजा
⇒ 2r = a
⇒ r = \(\frac {a}{2}\)
अर्द्धगोले की त्रिज्या (r) = \(\frac {a}{2}\)
शेष बचे ठोस का पृष्ठीय क्षेत्रफल = घन का कुल पृष्ठीय क्षेत्रफल – घन के तल का क्षेत्रफल + अर्द्धगोले का आन्तरिक वक्र पृष्ठीय क्षेत्रफल
= 6a2 – πr² + 2πr²
= 6a2 + πr²
= 6a2 + π(\(\frac {a}{2}\))²
= 6a2 + π\(\frac{a^2}{4}\)
= a2[6 + \(\frac {π}{4}\)]सेमी²
= \(\frac{a^2}{4}\)(24 + π)सेमी²
अतः शेष बचे ठोस का पृष्ठीय क्षेत्रफल
= \(\frac{a^2}{4}\)(24 + π) वर्ग सेमी

JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 13 पृष्ठीय क्षेत्रफल एवं आयतन Ex 13.1

प्रश्न 6.
दवा का एक कैप्सूल (capsule) एक बेलन के आकार का है जिसके दोनों सिरों पर एक-एक अर्द्धगोला लगा हुआ है (देखिए आकृति)। पूरे कैप्सूल की लम्बाई 14 मिमी है और उसका व्यास 5 मिमी है। इसका पृष्ठीय क्षेत्रफल ज्ञात कीजिए।
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 13 पृष्ठीय क्षेत्रफल एवं आयतन Ex 13.1 - 7
हल :
दिया है,
कैप्सूल का व्यास = 5 मिमी
∴ बेलनाकार भाग तथा अर्ध गोले की उभयनिष्ठ त्रिज्या(r) = \(\frac {5}{2}\) मिमी
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 13 पृष्ठीय क्षेत्रफल एवं आयतन Ex 13.1 - 8
कैप्सूल की आन्तरिक लम्बाई (h) = 14 मिमी
बेलनाकार भाग की लम्बाई = [14 – \(\frac {5}{2}\) – \(\frac {5}{2}\)] मिमी
= (14 – 5) मिमी = 9 मिमी
कैप्सूल का पृष्ठीय क्षेत्रफल = बेलन का पृष्ठीय क्षेत्रफल + 2 अर्द्धगोलों का पृष्ठीय क्षेत्रफल
= 2πrh + 2 × (2πr²)
= 2πrh + 4πr² = 2πr (h + 2r)
= 2 × \(\frac{22}{7} \times \frac{5}{2}\) × (9 + 2 × \(\frac {5}{2}\))
= \(\frac {110}{7}\) × (9 + 5) = \(\frac{110 \times 14}{7}\) = 220 मिमी²
अतः कैप्सूल का पृष्ठीय क्षेत्रफल = 220 वर्ग मिमी

प्रश्न 7.
कोई तम्बू एक बेलन के आकार का है जिस पर एक शंकु अध्यारोपित है। यदि बेलनाकार भाग की ऊँचाई और व्यास क्रमशः 2.1 मीटर और 4 मीटर हैं तथा शंकु की तिर्यक ऊँचाई 2.8 मीटर है तो इस तम्बू को बनाने में प्रयुक्त कैनवास (canvas) का क्षेत्रफल ज्ञात कीजिए। साथ ही, ₹500 प्रति वर्ग मीटर की दर से इसमें प्रयुक्त कैनवास की लागत ज्ञात कीजिए। (ध्यान दीजिए कि तम्बू के आधार को कैनवास से नहीं ढका जाता है।)
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 13 पृष्ठीय क्षेत्रफल एवं आयतन Ex 13.1 - 9
हल :
दिया है,
बेलन का व्यास = शंकु का व्यास = 4 मी.
∴ बेलन और शंकु की उभयनिष्ठ त्रिज्या (r) = \(\frac {4}{2}\)
= 2 मीटर
शंकु की त्रिज्या = बेलन की त्रिज्या = r = 2सेमी
बेलन की ऊँचाई (h) = 2.1 मीटर
तथा शंकु की तिर्यक ऊँचाई (l) = 2.8 मीटर
तम्बू का वक्र पृष्ठीय क्षेत्रफल = बेलनाकार भाग का वक्र पृष्ठीय क्षेत्रफल + शंक्वाकार भाग का वक्र पृष्ठीय क्षेत्रफल
= 2πrh + πrl = πr (2h + l)
= \(\frac {22}{7}\) × 2 × (2 × 2.1 + 2.8)
= \(\frac {22}{7}\) × (4.2 + 2.8)
= \(\frac {22}{7}\) × 7 = 44 मीटर²
∴ तम्बू का वक्र पृष्ठीय क्षेत्रफल = 44 मीटर²
∵ 1 मीटर² कैनवास की लागत = ₹ 500
∴ 44 मीटर² कैनवास की लागत = 44 × 500 = ₹ 22000
अतः कैनवास की कुल लागत = ₹ 22000

JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 13 पृष्ठीय क्षेत्रफल एवं आयतन Ex 13.1

प्रश्न 8.
ऊँचाई 2.4 सेमी और व्यास 1.4 सेमी वाले एक ठोस बेलन में से इसी ऊँचाई और इसी व्यास वाला एक शंक्वाकार खोल (cavity) काट लिया जाता है। शेष बचे ठोस का निकटतम वर्ग सेण्टीमीटर तक पृष्ठीय क्षेत्रफल ज्ञात कीजिए ।
हल :
दिया है,
बेलन का व्यास = 1.4 सेमी
∴ बेलन तथा शंकु की उभयनिष्ठ त्रिज्या (r) = \(\frac {1.4}{2}\) = 0.7 सेमी
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 13 पृष्ठीय क्षेत्रफल एवं आयतन Ex 13.1 - 10
बेलन की ऊँचाई (h) = 2.4 सेमी
शंक्वाकार खोल की तिर्यक ऊँचाई (l) = \(\sqrt{r^2+h^2}\)
= \(\sqrt{(0 \cdot 7)^2+(2 \cdot 4)^2}\)
= \(\sqrt{0.49+5 \cdot 76}\)
= \(\sqrt{6.25}\)
l = 2.5 सेमी
शेष बचे ठोस का सम्पूर्ण पृष्ठीय क्षेत्रफल = बेलन का वक्र पृष्ठीय क्षेत्रफल + बेलन के आधार का क्षेत्रफल + शंक्वाकार का वक्र पृष्ठीय क्षेत्रफल
= 2πrh + πr² + πrl = πr(2h + r + l)
= \(\frac {22}{7}\) × 0.7 × [2 × 2.4 + 0.7 + 2.5]
= 2.2 × [4.8 + 0.7 + 2.5]
= 2.2 × 8 = 17.6 ≈ 8 वर्ग सेमी
अतः शेष बचे ठोस का सम्पूर्ण पृष्ठीय क्षेत्रफल = 18 वर्ग सेमी

प्रश्न 9.
लकड़ी के एक ठोस बेलन के प्रत्येक सिरे पर एक अर्द्धगोला खोदकर निकालते हुए, एक वस्तु बनाई गई है, जैसा कि आकृति में दर्शाया गया है। यदि बेलन की ऊँचाई 10 सेमी है और आधार की त्रिज्या 3.5 सेमी है, तो इस वस्तु का सम्पूर्ण पृष्ठीय क्षेत्रफल ज्ञात कीजिए।
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 13 पृष्ठीय क्षेत्रफल एवं आयतन Ex 13.1 - 11
हल :
दिया है,
बेलन की त्रिज्या (r) = 3.5 सेमी
अर्द्धगोले की त्रिज्या (r) = 3.5 सेमी
तथा बेलन की ऊँचाई (h) = 10 सेमी
वस्तु का सम्पूर्ण पृष्ठीय क्षेत्रफल = बेलन का वक्र पृष्ठीय क्षेत्रफल + दोनों अर्द्धगोलों का पृष्ठीय क्षेत्रफल
= 2πrh + 2 × 2πr²
= 2πrh + 4πr² = 2πr (h + 2r)
= 2 × \(\frac {22}{7}\) × 3.5 × (10 + 2 × 3.5)
= 2 × 22 × 0.5 × (10 + 7)
= 22 × 17 = 374 वर्ग सेमी
अतः वस्तु का सम्पूर्ण पृष्ठीय क्षेत्रफल = 374 वर्ग सेमी

JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 14 सांख्यिकी Ex 14.4

Jharkhand Board JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 14 सांख्यिकी Ex 14.4 Textbook Exercise Questions and Answers.

JAC Board Class 10 Maths Solutions Chapter 14 सांख्यिकी Exercise 14.4

प्रश्न 1.
निम्नलिखित बंटन किसी फैक्टरी के 50 श्रमिकों की दैनिक आय दर्शाता है
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 14 सांख्यिकी Ex 14.4 - 1
उपरोक्त बंटन को एक ‘से कम प्रकार’ के संचयी बारम्बारता बंटन में बदलिए और उसका तोरण खींचिए ।
हल :
‘से कम’ प्रकार का संचयी बारम्बारता बंटन
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 14 सांख्यिकी Ex 14.4 - 2
(i) अब बिन्दुओं A(120, 12), B (140, 26), C (160, 34 ) D ( 180, 40) और E(200, 50) को ग्राफ पेपर पर अंकित करते हैं।
(ii) अंकित बिन्दुओं को वक्र के रूप में हाथ से जोड़कर तोरण प्राप्त करते हैं।
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 14 सांख्यिकी Ex 14.4 - 3
अत: ABCDE अभीष्ट तोरण है।

JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 14 सांख्यिकी Ex 14.4

प्रश्न 2.
किसी कक्षा के 35 विद्यार्थियों की मेडिकल जाँच के समय, उनके भार निम्नलिखित रूप में रिकॉर्ड किए गए –

भार (किग्रा में) विद्यार्थियों की संख्या
38 से कम
40 से कम
42 से कम
44 से कम
46 से कम
48 से कम
50 से कम
52 से कम
0
3
5
9
14
28
32
35

उपरोक्त आँकड़ों के लिए ‘से कम’ प्रकार का तोरण खींचिए। इसके बाद माध्यक भार ज्ञात कीजिए।
हल :
‘से कम’ प्रकार का बंटन

भार (किग्रा में) संचयी बारम्बारता तोरण पर स्थित बिन्दु
38 से कम
40 से कम
42 से कम
44 से कम
46 से कम
48 से कम
50 से कम
52 से कम
0
3
5
9
14
28
32
35
A(38, 0)
B(40, 3)
C(42, 5)
D(44, 9)
E(46, 14)
F(48, 28)
G(50, 32)
H (52, 35)

अब बिन्दुओं A(38, 0), B(40, 3), C(42, 5), D(44, 9), E (46, 14), F(48, 28), G(50, 32) तथा H (52, 35) को ग्राफ पेपर अंकित करते हैं। इन बिन्दुओं को वक्र के रूप में हाथ से जोड़कर तोरण प्राप्त करते हैं।
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 14 सांख्यिकी Ex 14.4 - 4
अत: ABCDEFGH अभीष्ट तोरण है।

माध्यक ज्ञात करना. :

∵ \(\frac{\Sigma f}{2}=\frac{N}{2}=\frac{35}{2}\) = 17.5
(i) Y-अक्ष पर 17.5 पर एक बिन्दु अंकित किया।
(ii) इस बिन्दु से X- अक्ष के समान्तर रेखा खींची जो वक्र को बिन्दु P पर काटती है।
(iii) बिन्दु P का भुज ज्ञात किया जो कि 46.8 है।
अतः अभीष्ट माध्यक 46.8 किग्रा है।

JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 14 सांख्यिकी Ex 14.4

प्रश्न 3.
निम्नलिखित सारणी किसी गाँव के 100 फार्मों में किग्रा प्रति हेक्टेअर गेहूँ का उत्पादन दर्शाती है :
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 14 सांख्यिकी Ex 14.4 - 5
इस बंटन को ‘से अधिक प्रकार के बंटन में बदलिए और फिर उसका तोरण खींचिए ।
हल :
दिए गए बंटन को ‘से अधिक’ प्रकार के बंटन में बदलना
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 14 सांख्यिकी Ex 14.4 - 6
(i) अब बिन्दुओं A(50, 100); B(55, 98); C (60, 90); D(65, 78); E (70, 54) और F(75, 16) को ग्राफ पेपर पर अंकित करते हैं।
(ii) इन बिन्दुओं को वक्र के रूप में हाथ से जोड़कर तोरण प्राप्त करते हैं।
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 14 सांख्यिकी Ex 14.4 - 7
अत: ABCDEF अभीष्ट तोरण है।

JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 8 त्रिकोणमिति का परिचय Ex 8.3

Jharkhand Board JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 8 त्रिकोणमिति का परिचय Ex 8.3 Textbook Exercise Questions and Answers.

JAC Board Class 10 Maths Solutions Chapter 8 त्रिकोणमिति का परिचय Exercise 8.3

प्रश्न 1.
निम्नलिखित के मान निकालिए :
(i) \(\frac{\sin 18^{\circ}}{\cos 72^{\circ}}\)
(ii) \(\frac{\tan 26^{\circ}}{\cot 64^{\circ}}\)
(iii) cos 48° – sin 42°
(iv) cosec 31° – sec 59°
हल:
(i) sin 18° = sin (90° – 72°)
= cos 72°
[∵ sin (90° – θ) = cos θ]
∴ \(\frac{\sin 18^{\circ}}{\cos 72^{\circ}}=\frac{\cos 72^{\circ}}{\cos 72^{\circ}}=1\)

(ii) tan 26° = tan (90° – 64°)
= cot 64°
[∵ tan (90° – θ) = cot θ]
∴ \(\frac{\tan 26^{\circ}}{\cot 64^{\circ}}=\frac{\cot 64^{\circ}}{\cot 64^{\circ}}=1\)

(iii) cos 48° – sin 42°
= cos (90° – 42°) – sin 42°
= sin 42°- sin 42°
[∵ cos (90° – θ) = sin θ]
= 0

(iv) cosec 31° – sec 59°
= cosec (90° – 59°) – sec 59°
= sec 59° – sec 59°
= 0
[∵ cosec (90° – θ) = sec θ]

JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 8 त्रिकोणमिति का परिचय Ex 8.3

प्रश्न 2.
दिखाइए कि:
(i) tan 48° tan 23° tan 42° tan 67° = 1
(ii) cos 38° cos 52° – sin 38° sin 52° = 0
हल:
(i) L.H.S. = tan 48° tan 23° tan 42° tan 67°
= tan 48° tan 23° tan (90° – 48°) tan (90° – 23°)
= tan 48° tan 23° cot 48° cot 23° [∵ tan (90° – θ) = cot θ)
= tan 48° tan 23° × \(\frac{1}{\tan 48^{\circ}} \times \frac{1}{\tan 23^{\circ}}\)
= 1 = R.H.S.
L.H.S. = R.H.S.

(ii) L.H.S.= cos 38° cos 52° – sin 38° sin 52°
= cos (90° – 52°) cos (90° – 38°) – sin 38° sin 52°
= sin 52°.sin 38° – sin 38°.sin 52°
= 0 = R.H.S.
L.H.S. = R.H.S.

प्रश्न 3.
यदि tan 2A = cot (A – 18°), जहाँ 2A एक न्यूनकोण है, तो A का मान ज्ञात कीजिए।
हल:
दिया है : tan 2A = cot (A – 18°)
A का मान ज्ञात करने के लिए हमें दोनों ओर या तो cot θ या tan θ चाहिए।
[∵ cot (90° – θ) = tan θ]
cot (90° – 2A) = cot (A – 18°)
90° – 2A = A – 18°
3A = 108°
∴ A = 36°

प्रश्न 4.
यदि tan A = cot B, तो सिद्ध कीजिए कि A + B = 90°
हल:
∵ tan A = cot B
⇒ tan A = tan (90° – B)
[∵ cot θ = tan (90° – θ)]
⇒ A = 90° – B
∴ A + B = 90°
अत: tan A = cot B होने पर A + B = 90° होगा।

JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 8 त्रिकोणमिति का परिचय Ex 8.3

प्रश्न 5.
यदि sec 4A = cosec (A – 20°), जहाँ 4A एक न्यूनकोण है, तो A का मान ज्ञात कीजिए।
हल:
दिया है, sec 4A = cosec (A – 20°)
A का मान ज्ञात करने के लिए हमें दोनों ओर sec θ या cosec θ चाहिए।
⇒ cosec (90° – 4A) = cosec (A – 20°)
[∵ cosec (90° – θ) = sec θ]
90° – 4A = A – 20°
5A = 110°
A = 22°

प्रश्न 6.
यदि A, B और C त्रिभुज ABC के अन्तःकोण हों, तो दिखाइए कि
\(\sin \frac{(B+C)}{2}=\cos \frac{A}{2}\)
हल:
यदि A, B और C त्रिभुज ABC के अन्त:कोण हो तो त्रिभुज के तीनों अन्तः कोणों का योग
A + B + C = 180°
या B + C = 180° – A
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 8 त्रिकोणमिति का परिचय Ex 8.3 1
[∵ sin (90° – θ) = cos θ]

JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 8 त्रिकोणमिति का परिचय Ex 8.3

प्रश्न 7.
sin 67° + cos 75° को 0° और 45° के बीच के कोणों के त्रिकोणमितीय अनुपातों के पदों में व्यक्त कीजिए।
हल:
sin 67° + cos 75°
= sin (90° – 23°) + cos (90° – 15°)
= cos 23° + sin 15°
{∵ sin (90° – θ) = cos θ
और cos (90° – θ) = sin θ}

JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी

Jharkhand Board JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी Important Questions and Answers.

JAC Board Class 10th Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी

लघूत्तरात्मक/निबन्धात्मक प्रश्न :

प्रश्न 1.
निम्न बंटन का बहुलक ज्ञात कीजिए :
JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी 1
हल:
बहुलक के लिए, दिये गये आँकड़ों में अधिकतम बारम्बारता 61 है।
इसका संगत वर्ग-अंतराल 60 – 80 है।
बहुलक वर्ग = 60 – 80
l = 60, f1 = 61, f0 = 52, f2 = 38, h = 20
JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी 2

प्रश्न 2.
यदि नीचे दिए हुए बंटन का माध्यम 28.5 हो तो x और y के मान ज्ञात कीजिए।
JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी 3
हल:
JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी 4
परन्तु बारम्बारता का योग Σfi = N = 80 है। अंतिम संचयी बारम्बारताओं के योग के बराबर होता है।
∴ 45 + x + y = 80
⇒ x + y = 80 – 45
⇒ x + y = 35 ……(1)
अब \(\frac{N}{2}=\frac{80}{2}=40\)
तथा बंटन का माध्यक = 28.5 है।
जोकि वर्ग अंतराल 20 – 30 में स्थिति है।
माध्यम वर्ग = 20 – 30
l = 20, f = 20, c = 5 + x और h = 10
JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी 5
57 = 75 – x
x = 18
x का मान समी. (1) में रखने पर 18 + y = 35
अतः y = 17

JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी

प्रश्न 3.
नीचे दिए गए बंटन का माध्य 50 हो तो x व y के मान ज्ञात कीजिए :

वर्ग अन्तराल बारंबारता
0 – 20 17
20 – 40 x
40 – 60 32
60 – 80 y
80 – 100 19
योग 120

हल:
संचयी बारम्बारता सारणी

वर्ग अन्तराल बारंबारता संचयी बारंबारता c.f.
0 – 20 17 17
20 – 40 X 17 + x
40 – 60 32 (49 + x)
60 – 80 Y (49 + x + y)
80 – 100 19 (68 + x + y)
योग Σfi = N = 120

परन्तु बारम्बारताओं का योग Σfi = N = 120 है अंतिम संचयी बारम्बारता वर्ग बारम्बारताओं के योग के बराबर होता है।
68 + x + y = 120
x + y = 120 – 68
x + y = 52 …..(1)
अब \(\frac{N}{2}=\frac{120}{2}=60\)
तथा बंटन का माध्यक = 50 है।
जोकि वर्ग अन्तराल 40 – 60 में स्थिति है।
माध्यक वर्ग = 40 – 60
l = 40, f = 32, c = 17 + x और h = 20
JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी 6
⇒ 50 = 320 + 215 – 5x
⇒ 400 – 535 = -5x ⇒ 5x = 135 ⇒ x = 27
x का मान समीकरण (1) में रखने पर
27 + y = 52
y = 25

प्रश्न 4.
निम्नलिखित आँकड़ों का माध्यक 525 है। यदि बारम्बारताओं का योग 100 है तो x और y के मान ज्ञात कीजिए।

वर्ग-अन्तराल बारम्बारता
0 – 100 2
100 – 200 5
200 – 300 x
300 – 400 12
400 – 500 17
500 – 600 20
600 – 700 y
700 – 800 9
800 – 900 7
900 – 1000 4

हल:
JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी 7
दिया है : Σ(f) = N = 100
अतः 76 + x + y = 100 ⇒ x + y = 100 – 76 = 24 …..(1)
माध्यक 525 है जो वर्ग 500 – 600 में स्थित है।
∴ l = 500; ƒ = 20, C = 36 + x, h = 100
JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी 8
x = 14 – 5
∴ x = 9
समीकरण (1) से, 9 + y = 24
⇒ y = 24 – 9
∴ y = 15
अतः x = 9 और y = 15

JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी

प्रश्न 5.
गणित की एक परीक्षा में 30 विद्यार्थियों द्वारा प्राप्त किए गए अंकों का बंटन निम्नलिखित है :
JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी 9
इन आँकड़ों से कल्पित माध्य विधि से माध्य ज्ञात कीजिए एवम् बहुलक भी ज्ञात कीजिए।
हल:
माना कि कंल्पित माध्य (A) = 47.5
JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी 10
समान्तर माध्य (x) = A + \(\frac{\Sigma f_i d_i}{\Sigma f_i}\) = 47.5 + \(\frac{435}{30}\)
= 47.5 + 14.5 = 62
दी गयी सारणी से स्पष्ट है कि सबसे अधिक बारम्बारता 7 है।
अतः 7 के संगत वर्ग अन्तराल 40 – 55 है। अतः बहुलक वर्ग 40 – 55 होगा।
l = 40, f0 = 3, f1 = 7, ƒ2 = 6 तथा h = 15
JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी 11
अतः माध्य = 62 तथा बहुलक = 52

प्रश्न 6.
निम्न बंटन का कल्पित माध्य मानकर माध्यx ज्ञात कीजिए :
JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी 12
हल:
JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी 13
समान्तर माध्य (x) = A + \(\frac{\Sigma f_i d_i}{\Sigma f_i}\)
= 47.5 + \(\frac{465}{30}\)
= 47.5 + 15.5 = 63
दी गयी सारणी से स्पष्ट है कि सबसे अधिक बारम्बारता 7 है।

JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी

प्रश्न 7.
एक मेडिकल की प्रवेश परीक्षा में 400 विद्यार्थियों के प्राप्तांक निम्न सारणी में दर्शाये गए हैं :
JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी 14
उपर्युक्त बंटन को एक ‘से कम’ प्रकार के संचयी बारम्बारता बंटन में बदलिए और उसका तोरण खींचिए।
हल:
‘से कम’ प्रकार का संचयी बारम्बारता बंटन
JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी 15
(i) बिन्दुओं A(450, 30); B(500, 75); C(550, 135); D(600, 187); E(650, 241); F(700, 308); G(750, 353) और H(800, 400) को ग्राफ पेपर पर उचित पैमाना मानकर अंकित किया।
(ii) इन सभी बिन्दुओं को हाथ से जोड़कर ‘से कम प्रकार’ का तोरण खींचा।
JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी 16
अत: ABCDEFG ही अभीष्ट तोरण है।

प्रश्न 8.
कक्षा X के 60 विद्यार्थियों के अंक निम्नवत् हैं :
JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी 17
इस बंटन को ‘कम प्रकार’ के बंटन में बदलिए। तोरण वक्र खींचकर माध्यक ज्ञात कीजिए।
हल:
‘कम प्रकार’ का संचयी बारम्बारता बंटन
JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी 18
अब बिन्दुओं A(10, 4), B(15, 12), C(20, 22), D(25, 42), E(30, 60) को ग्राफ पेपर पर अंकित किया। अब सभी बिन्दुओं को हाथ से जोड़ते हुए तोरण खींचा।
JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी 19
माध्यक के लिए :
(i) Y-अक्ष पर 30 विद्यार्थियों पर एक बिन्दु अंकित किया।
(ii) इस बिन्दु से X-अक्ष के समान्तर रेखा खींची जो वक्र को P बिन्दु पर काटती है।
(iii) बिन्दु P का भुज ज्ञात किया जो कि 22 है।
अतः माध्यक = 22 अंक।

JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी

प्रश्न 9.
किसी मोहल्ले के एक शॉपिंग कॉम्प्लेक्स (shopping complex) की 30 दुकानों द्वारा अर्जित किए गए वार्षिक लाभों से निम्नलिखित बारम्बारता बंटन प्राप्त होता है।

लाभ (लाख रु. में) दुकानों की संख्या
5 से अधिक या बराबर 30
10 से अधिक या बराबर 28
15 से अधिक या बराबर 16
20 से अधिक या बराबर 14
25 से अधिक या बराबर 10
30 से अधिक या बराबर 7
35 से अधिक या बराबर 3

उपर्युक्त आँकड़ों से (i) ‘अधिक प्रकार’ का तोरण वक्र खींचिए।
(ii) एक ही अक्षों पर दोनों तोरण खींचिए। इसके बाद माध्यक लाभ ज्ञात कीजिए।
हल:
(i) बिन्दुओं A(5, 30); B(10, 28); C(15, 16); D(20, 14); E(25, 10); F(30, 7) और G(35, 3) को उचित पैमाना मानकर ग्राफ पेपर पर अंकित करते हैं। सभी बिन्दुओं को एक मुक्त हस्त से जोड़ते हुए तोरण खीचते है।
अत: A B C D E F G ही अभीष्ट तोरण है।
JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी 20

(ii) दिये गये बारम्बारता बंटन से, वर्ग-अन्तराल, संगत बारम्बारताएँ और संचयी बारम्बारता सारणी बनाते हैं।
JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी 21
अब बिन्दुओं (10, 2); (15, 14); (20, 16); (25, 20); (30, 23); (35, 27); (40, 30) को ग्राफ पेपर पर अंकित करते हैं। इन सभी बिन्दुओं को मुक्त हस्त से जोड़कर ‘कम प्रकार’ का तोरण खींचते हैं।
इस वक्र को ‘अधिक प्रकार’ के वक्र के साथ आलेखित करने से दोनों प्रकार के वक्र एक ही अक्ष पर प्राप्त हो जाते हैं।
JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी 22
दोनों तोरण के प्रतिच्छेद बिन्दु से क्षैतिज अक्ष पर लम्ब डालने पर प्राप्त लाभ माध्यक होगा।
अतः माध्यक = ₹ 17.5 लाख

प्रश्न 10.
निम्न बारंबारता का बहुलक 36 है। लुप्त बारंबारता (f) का मान ज्ञात कीजिए :
JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी 23
हल:
दिए गए बारंबारता बंटन का बहुलक 36 है, इसलिए बहुलक वर्ग 30-40 है।
∴ l = 30, f0 = f, f1 = 16, f2 = 12 तथा h = 10
JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी 24
⇒ 6 × (20 – f) = (16 – f) × 10
⇒ 120 – 6f = 160 – 10f
⇒ 10f – 6f = 160 – 120
⇒ 4f = 40
⇒ f = 10
अतः लुप्त बारंबारता, f = 10.

JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी

प्रश्न 11.
निम्न आँकड़ों का बहुलक ज्ञात कीजिए :
JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी 25
हल:

वर्ग बारम्बारता
0 – 20 6
20 – 40 8
40 – 60 10 = f0
60 – 80 12 = f1
80 – 100 6 = f2
100 – 120 5
120 – 140 3

∵ अधिकतम बारंबारता = 12
∴ बहुलक वर्ग = 60 – 80
∴ l = 60, f0 = 10, f1 = 12, f2 = 6, h = 20
अब बहुलक = \(60+\left(\frac{12-10}{2 \times 2-10-6}\right) \times 20\)
= \(60+\frac{2}{8} \times 20\)
= 60 + 5 = 65

प्रश्न 12.
निम्न तालिका एक गाँव की 100 फार्मों में गेहूँ की प्रति हैक्टेयर (क्विंटलों में) उपज के आँकड़ें दर्शाता है :
JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी 26
उपरोक्त बंटन को ‘से अधिक’ प्रकार के बंटन में बदलकर उसका तोरण खींचिए।
हल:
JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी 27
अब तोरण बिन्दुओं को ग्राफ पर अंकित करके मुक्त हस्त से वक्र खींचते हैं जैसे कि निम्न आकृति में दर्शाया गया है।
इस प्रकार प्राप्त वक्र को “से अधिक प्रकार” का तोरण कहते हैं।
JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी 28

प्रश्न 13.
निम्न बारंबारता बंटन का बहुलक ज्ञात कीजिए।
JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी 29
हल:
JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी 30
यहाँ अधिकतम वर्ग बारंबारता 16 है तथा इस बारंबारता का संगत वर्ग 30 – 40 है।
अतः बहुलक वर्ग 30 – 40 है।
अब बहुलक़ वर्ग = 30 – 40
बहुलक वर्ग की निम्न सीमा (l) = 30 तथा वर्ग माप (h) = 10
f1 = 16, f0 = 10 तथा f2 = 12
JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी 31

JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी

प्रश्न 14.
नीचे दी गई सारणी में 280 लोगों का वेतन मान दर्शाया गया है :

वेतन (हजार ₹ में) लोगों की संख्या
5 – 10 49
10 – 15 133
15 – 20 63
20 – 25 15
25 – 30 6
30 – 35 7
35 – 40 4
40 – 45 2
45 – 50 1

उपर्युक्त आँकड़ों से माध्यक वेतन मान ज्ञात कीजिए।
हल:

वेतन बारंबारता संचयी बारंबारता
5 – 10 49 49
10 – 15 133 182
15 – 20 63 245
20 – 25 15 260
25 – 30 6 266
30 – 35 7 273
35 – 40 4 277
40 – 45 2 279
45 – 50 1 280
N = 280

\(\frac{N}{2}=\frac{280}{2}\) = 140
माध्यम वर्ग = 10 – 15
f = 133
c.f. = 49
h = 5
JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी 32
अतः लोगों का माध्यक वेतन ₹ 13.42 है।

प्रश्न 15.
निम्नलिखित बंटन को ‘से कम प्रकार’ के बंटन में बदलिए और फिर उसका तोरण खींचिए :

वर्ग अन्तराल बारंबारता
30 – 40 7
40 – 45 5
50 – 60 8
60 – 70 10
70 – 80 6
80 – 90 6
90 – 100 8

हल:

वर्ग अन्तराल बारंबारता तोरण बिन्दु
40 से कम 7 (40, 7)
50 से कम 12 (50, 12)
60 से कम 20 (60, 20)
70 से कम 30 (70, 30)
80 से कम 36 (80, 36)
90 से कम 42 (90, 42)
100 से कम 50 (100, 50)

JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी 33
अब तोरण बिन्दुओं को ग्राफ पर अंकित करके मुक्त-हस्त से वक्र खींचते हैं। जैसे कि निम्न आकृति में दर्शाया गया है। इस प्राकर प्राप्त वक्र को “से कम प्रकार” का तोरण कहते हैं।

JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी

वस्तुनिष्ठ प्रश्न :

रिक्त स्थानों की पूर्ति कीजिए :

प्रश्न (क).

  1. ऐसे आँकड़े जिनका व्यवस्थितिकरण वर्गों के रूप में होता है, ……………… आँकड़े कहलाते हैं।
  2. यदि कोई प्रेक्षण वर्ग की उच्च सीमा में आता है, तो उसे अगले ……………… में लेते हैं।
  3. जिस प्रेक्षण की बारंबारता अधिकतम होती है वह उन प्रेक्षणों का ……………… कहलाता है।
  4. 100 प्रेक्षणों वाले एक बंटन के ‘से कम प्रकार’ का तोरण तथा ‘से अधिक प्रकार’ का तोरण बिन्दु (58, 50) पर प्रतिच्छेद करते हैं। इस बंटन का माध्यक ……………… है।
  5. माध्यक वर्ग वह वर्ग है जिसकी संचयी बारंबारता ……………… से अधिक तथा समीपतय होती है।

उत्तर:

  1. वर्गीकृत,
  2. अन्तराल,
  3. बहुलक,
  4. 58,
  5. \(\frac{n}{2}\)

निम्न में सत्य / असत्य बताइए :

प्रश्न (ख).

  1. अधिकतम बारंबारता वाले वर्ग को माध्यिका वर्ग कहते हैं।
  2. f0 बहुलक वर्ग से ठीक अगले वर्ग की बारंबारता होती है।
  3. संचयी बारंबारता दो प्रकार की होती है-‘से कम प्रकार’ तथा ‘से अधिक प्रकार’ की।
  4. सभी प्रेक्षणों के योगफल को, प्रेक्षणों की कुल संख्या से भाग देने पर माध्यक प्राप्त होता है।
  5. माध्यकं = 3 × बहुलक – 2 × बहुलक

उत्तर:

  1. असत्य,
  2. असत्य,
  3. सत्य,
  4. असत्य,
  5. असत्य

(ग) बहुविकल्पीय प्रश्न :

प्रश्न 1.
एक बंटन का माध्य तथा माध्यक क्रमशः 14 तथा 15 है। अतः बहुलक का मान होगा :
(A) 16
(B) 17
(C) 17
(D) 13
हल:
बहुलक 3 × माध्यक – 2 × माध्य
= 3 × 15 – 2 × 14
= 45 – 28
= 17
अत: सही विकल्प (B) है।

प्रश्न 2.
बारम्बारता बंटन के माध्य, मध्यिका तथा बहुलक के बीच निम्न सम्बन्ध है :
(A) बहुलक = 3 माध्य – 2 माध्यिका
(B) बहुलक = 3 मध्यिका – 2 माध्य
(C) बहुलक = 2 माध्यिका – 3 माध्य
(D) बहुलक = माध्यिका + 2 माध्य।
हल:
बारम्बारता बंटन के लिए माध्य, माध्यिका और बहुलक के बीच निम्नलिखित सम्बन्ध होता है-
बहुलक = 3 मध्यका – 2 माध्य
अत: सही विकल्प (B) है।

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प्रश्न 3.
यदि xi वर्गीकृत आँकड़ों के वर्गअन्तरालों के मध्य बिन्दु हैं, fi इनकी संगत बारम्बारताएँ हैं तथा माध्य \(\bar{x}\) है, तो Σ(fixi – \(\bar{x}\)) बराबर है :
(A) 0
(B) -1
(C) 1
(D) 2
हल:
सही विकल्प (A) है।

प्रश्न 4.
वर्गीकृत आँकड़ों की ‘से कम प्रकार’ और ‘से अधिक प्रकार’ की संचयी बारम्बारता वक्रों के प्रतिच्छेद बिन्दु के भुज से आँकड़ों का प्राप्त होना है :
(A) माध्य
(B) माध्यक
(C) बहुलक
(D) उपरोक्त सभी
हल:
सही विकल्प (B) है।

प्रश्न 5.
संचयी बारम्बारता सारणी का उपयोग होता है, ज्ञात करने में :
(A) माध्य
(B) बहुलक
(C) माध्यक
(D) सभी में।
हल:
संचयी बारम्बारता सारणी माध्यक ज्ञात करने के लिए सहायक होती है। अतः सही विकल्प (C) है।

प्रश्न 6.
दिए गए सूत्र \(\bar{X}\) = a + h\(\bar{x}\) में, ui का मान होगा :
(A) h(xi – a)
(B) \(\frac{x_i-a}{h}\)
(C) \(\frac{a-x_i}{h}\)
(D) \(\frac{x_i+a}{h}\)
हल:
ui = \(\frac{x_i-a}{h}\) होता है।
अत: सही विकल्प (B) होगा।

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प्रश्न 7.
निम्न बंटन पर विचार कीजिए-
JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी 34
माध्यक वर्ग और बहुलक वर्ग की निम्न सीमाओं का योग है :
(A) 15
(B) 25
(C) 30
(D) 35
हल:
दिए गए आँकड़ों में अधिकतम बारम्बारता 20 है। इसके संगत वर्ग अन्तराल 15 – 20 है । अत: बहुलक वर्ग = 15 – 20 होगा।
माध्यक के लिए,
JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी 35
यहाँ N = 66 ⇒ \(\frac{N}{2}=\frac{66}{2}\) = 33
33 से ठीक बड़ी संचयी बारम्बारता 37 के संगत वर्ग अन्तराल 10 – 55 है।
अतः माध्यक वर्ग = 10 – 15
अतः माध्यक वर्ग और बहुलक वर्ग की निम्न सीमाओं का योग 10 + 15 = 25
अत: सही विकल्प (B) है।

प्रश्न 8.
निम्नलिखित बारम्बारता बंटन में 25 वर्ष से कम आयु के विद्यार्थियों की संख्या है :
JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी 36
(A) 8
(B) 6
(C) 17
(D) 25
हल:

आयु (वर्षो में) विद्यार्थियों की संख्या
10 से कम 3
15 से कम 9
20 से कम 17
25 से कम 25
30 से कम 27

अतः उपर्युक्त सारणी में 25 वर्ष से कम आयु के विद्यार्थियों की संख्या 25 होगी।
अत: सही विकल्प (D) है।

प्रश्न 9.
बंटन :

प्राप्तांक विद्यार्थियों की संख्या
0 से अधिक या उसके बराबर 63
10 से अधिक या उसके बराबर 58
20 से अधिक या उसके बराबर 55
30 से अधिक या उसके बराबर 51
40 से अधिक या उसके बराबर 48
50 से अधिक या उसके बराबर 42

के लिए वर्ग 30 – 40 की बारम्बारता है :
(A) 3
(B) 4
(C) 48
(D) 51
हल:
दी गयी संचयी बारम्बारता सारणी को सामान्य बारम्बारता सारणी में परिवर्तित करेंगे।

प्राप्तांक विद्यार्थियों की संख्या
0 – 10 63 – 58 = 5
10 – 20 58 – 55 = 3
20 – 30 55 – 51 = 4
30 – 40 51 – 48 = 3
40 – 50 48 – 42 = 6

अतः वर्ग 30 – 40 की बारम्बारता 3 है।
अत: सही विकल्प (A) है।

JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी

प्रश्न 10.
यदि 5, 7, 9, x का समान्तर माध्य 9 हो, तो x का मान है :
(A) 11
(B) 15
(C) 18
(D) 16
हल:
JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी 37
⇒ 9 × 4 = 21 + x
⇒ 36 = 21 + x
∴ x = 36 – 21 = 15
अत: सही विकल्प (B) है।

प्रश्न 11.
बंटन :
JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी 38
के लिए, माध्यक वर्ग की उपरि सीमा और बहुलक वर्ग की निम्न सीमा का अन्तर है :
(A) 0
(B) 19
(C) 20
(D) 38
हल:
दिए आँकड़ों में अधिकतम बारम्बारता 20 है। इसके संगत वर्ग अन्तराल 125 – 145 है। अत: बहुलक वर्ग = 125 – 145 होगा।
माध्यक के लिए संचयी बारम्बारता सारणी

वर्ग बारम्बारता (fi) संचयी बारम्बारता (cf)
65 – 85 4 4
85 – 105 5 9
105 – 125 13 22
125 – 145 20 42
145 – 165 14 56
165 – 185 7 63
185 – 205 4 67
योग Σfi = 67

यहाँ N = 67 ⇒ \(\frac{N}{2}=\frac{67}{2}\) = 33.5
33.5 से ठीक बड़ी संचयी बारम्बारता 42 के संगत वर्ग अन्तराल 125 – 145 है। अतः माध्यक वर्ग = 125 – 145.
∴ माध्यक वर्ग की उपरि सीमा और बहुलक वर्ग की निम्न सीमा का अन्तर 145 – 125 = 20
अतः सही विकल्प (C) है।

प्रश्न 12.
चार छात्रों के सांख्यिकी में प्राप्तांक 53, 75, 42, 70 हैं। उनके प्राप्तांकों का समान्तर माध्य है :
(A) 42
(B) 64
(C) 60
(D) 56
हल:
JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी 39
= \(\frac{240}{4}\)
= 60
अतः सही विकल्प (C) है।

JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी

प्रश्न 13.
बंटन 3, 5, 7, 4, 2, 1, 4, 3, 4 का बहुलक है :
(A) 7
(B) 4
(C) 3
(D) 1
हल:
ऊपर दी गई सारणी को देखने से स्पष्ट होता है कि 4 की बारम्बारता सबसे अधिक (3 बार है)। अतः इसका बहुलक 4 होगा।
अत: सही विकल्प (B) है।

प्रश्न 14.
किसी स्कूल के छात्रों की संख्या उनकी आयु के अनुसार निम्न प्रकार है :
JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी 40
इसका बहुलक है :
(A) 41
(B) 12
(C) 3
(D) 17
हल:
ऊपर की सारणी से स्पष्ट होता है कि बारम्बारता 41 सबसे अधिक है तथा इसका संगत आयु वर्ग 12 है। अतः इसका बहुलक 12 होगा।
अत: सही विकल्प (B) है।

प्रश्न 15.
बंटन 2, 3, 4, 7, 5, 1 का माध्यक होगा :
(A) 4
(B) 7
(C) 11
(D) 3.5
हल:
पदों को आरोही क्रम में रखने पर 1, 2, 3, 4, 5, 7
यहाँ पदों की संख्या N = 6 जो कि सम है, अतः
JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी 41
JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी 42
अत: सही विकल्प (D) है।

JAC Class 10 Maths Important Questions Chapter 14 सांख्यिकी

प्रश्न 16.
बंटन 1, 3, 2, 5, 9 का माध्यक होगा :
(A) 3
(B) 4
(C) 2
(D) 20
हल:
पदों को आरोही क्रम में रखने पर, 1, 2, 3, 5, 9
यहाँ पदों की संख्या (N) = 5 है जो कि विषम है।
माध्यक = \(\frac{1}{2}\) वें पद का मान = \(\frac{1}{2}\) वें पद का मान
= \(\frac{1}{2}\) वें पद का मान
= 3 वें पद का मान = 3
अत: सही विकल्प (A) है।

JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 10 वृत्त Ex 10.1

Jharkhand Board JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 10 वृत्त Ex 10.1 Textbook Exercise Questions and Answers.

JAC Board Class 10 Maths Solutions Chapter 10 वृत्त Exercise 10.1

प्रश्न 1.
एक वृत्त की कितनी स्पर्श रेखाएँ हो सकती हैं ?
हल:
किसी वृत्त की परिधि पर स्थित प्रत्येक बिन्दु से एक स्पर्श रेखा खींची जा सकती है। परन्तु वृत्त की परिधि पर असंख्य बिन्दु होते हैं। इसलिए वृत्त पर असंख्य (अनन्त) स्पर्श रेखाएं खींच सकते हैं।

प्रश्न 2.
रिक्त स्थानों की पूर्ति कीजिए :
(i) किसी वृत्त की स्पर्श रेखा उसे ……………… बिंदु पर प्रतिच्छेद करती है।
(ii) वृत्त को दो बिंदुओं पर प्रतिच्छेद करने वाली रेखा को ……………… कहते हैं।
(iii) एक वृत्त की ……………… समांतर स्पर्श रेखाएँ हो सकती हैं।
(iv) वृत्त तथा उसकी स्पर्श रेखा के उभयनिष्ठ बिंदु को ………………. कहते हैं।
हल:
(i) केवल एक,
(ii) छेदक,
(iii) अधिकतम दो,
(iv) स्पर्श बिंदु

प्रश्न 3.
5 सेमी त्रिज्या वाले एक वृत्त के बिन्दु P पर स्पर्श रेखा PQ केन्द्र O से जाने वाली एक रेखा से बिन्दु Q पर इस प्रकार मिलती है कि OQ = 12 सेमी, PQ की लम्ब है।
(A) 12 सेमी
(B) 13 सेमी
(C) 8.5 सेमी
(D) \(\sqrt{119}\) सेमी।
हल:
OQ = 12 सेमी
OP = 5 सेमी
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 10 वृत्त Ex 10.1 1
∵ PQ एक स्पर्श रेखा है जो त्रिज्या OP पर लम्ब है।
समकोण ΔPOQ में, पाइथागोरस प्रमेय से,
OQ2 = PQ2 + OP2
(12)2 = PQ2 + (5)2
⇒ PQ2 = (12)2 – (5)2
⇒ PQ2 = 144 – 25
⇒ PQ2 = 119
∴ PQ = \(\sqrt{119}\) सेमी
अत: सही विकल्प (D) है।

प्रश्न 4.
एक वृत्त खींचिए और एक दी गई रेखा के समान्तर दो ऐसी रेखाएँ खींचिए कि उनमें से एक स्पर्श रेखा हो तथा दूसरी छेदक रेखा हो।
हल:
माना O केन्द्र का एक वृत्त है और PQ एक दी गई रेखा है। हमें PQ के समान्तर दो रेखाएँ (माना CD व AB) खींचनी हैं जिनमें CD स्पर्श रेखा और AB छेदक रेखा हो।
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 10 वृत्त Ex 10.1 2
रचना विधि : (i) रेखा PQ पर केन्द्र बिन्दु से लम्ब ON खींचा जो वृत्त को C पर काटे।
(ii) त्रिज्या OC के बिन्दु C पर लम्ब CD खींचा। CD स्पर्श रेखा है।
(iii) OC पर एक बिन्दु M से लम्ब AB खींचा। AB छेदक रेखा है।

JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 14 सांख्यिकी Ex 14.3

Jharkhand Board JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 14 सांख्यिकी Ex 14.3 Textbook Exercise Questions and Answers.

JAC Board Class 10 Maths Solutions Chapter 14 सांख्यिकी Exercise 14.3

प्रश्न 1.
निम्नलिखित बारम्बारता बंटन किसी मोहल्ले के 68 उपभोक्ताओं की बिजली की मासिक खपत दर्शाता है। इन आँकड़ों से माध्यक, माध्य और बहुलक ज्ञात कीजिए। इनकी तुलना भी कीजिए ।

मासिक खपत (इकाइयों में) उपभोक्ताओं की संख्या
65-85
85-105
105-125
125-145
145-165
165-185
185-205
4
5
13
20
14
8
4

हल :
माध्य के लिए :
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 14 सांख्यिकी Ex 14.3 - 1
यहाँ N = 68
∴ \(\frac{N}{2}=\frac{68}{2}\) = 34 से ठीक बड़ी संचयी बारम्बारता 42 के संगत वर्ग अन्तराल 125 – 145 है।
∴ माध्यक वर्ग = 125 – 145
अतः l = 125; N = 68; f = 20, C = 22 और h = 20
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 14 सांख्यिकी Ex 14.3 - 3

माध्य के लिए :

माना कल्पित माध्य (4) = 135, वर्ग अन्तराल (h) = 20
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 14 सांख्यिकी Ex 14.3 - 4

बहुलक के लिए :

दिए गए आँकड़ों में अधिकतम बारम्बारता 20 है। इसके संगत वर्ग अन्तराल 125-145 है।
∴ बहुलक वर्ग 125-145
∴ l = 125; f1 = 20; f0 = 13; f2 = 14 और h = 20
अतः दिए गए आँकड़ों का माध्यक = 137, माध्य = 137.05 तथा बहुलक = 135.77 (लगभग) मात्रक है।

JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 14 सांख्यिकी Ex 14.3

प्रश्न 2.
यदि नीचे दिए हुए बंटन का माध्यक 28.5 हो, तो x और y के मान ज्ञात कीजिए :
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 14 सांख्यिकी Ex 14.3 - 5
हल :
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 14 सांख्यिकी Ex 14.3 - 5
परन्तु बारम्बारताओं का योग Σfi = N = 60 है। अन्तिम संचयी बारम्बारता वर्ग बारम्बारताओं के योग के बराबर होता है।
∴ 45 + x + y = 60
⇒ x + y = 60 – 45
⇒ x + y = 15 …(i)
अब \(\frac{N}{2}=\frac{60}{2}\) = 30 तथा बंटन का माध्यक = 28.5 है,
जो कि वर्ग-अन्तराल 20 – 30 में स्थित है।
∴ माध्यक वर्ग = 20 – 30
∴ l = 20; f = 20; C = 5 + x और h = 10
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 14 सांख्यिकी Ex 14.3 - 7
x का मान समीकरण (i) में प्रतिस्थापित करने पर,
8 + y = 15 ⇒ y = 15 – 8 = 7
अत: x = 8 और y = 7

प्रश्न 3.
एक जीवन बीमा एजेण्ट 100 पॉलिसी धारकों की आयु के बंटन के निम्नलिखित आँकड़े ज्ञात करता है। माध्यक आयु परिकलित कीजिए, यदि पॉलिसी केवल उन्हीं व्याक्यिों को दी जाती है, जिनकी आयु 18 वर्ष या उससे अधिक हो, परन्तु 60 वर्ष से कम हो।

आयु (वर्षो में) पॉलिसी धारकों की संख्या
20 से कम
25 से कम
30 से कम
35 से कम
40 से कम
45 से कम
50 से कम
55 से कम
60 से कम
2
6
24
45
78
89
92
98
100

हल :
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 14 सांख्यिकी Ex 14.3 - 8
यहाँ N = 100
∴ \(\frac{N}{2}=\frac{100}{2}\) = 50 से ठीक बड़ी संचयी बारम्बारता 78 के संगत वर्ग अन्तराल 35 – 40 है।
∴ माध्यक वर्ग 35 – 40
∴ l = 35, \(\frac{N}{2}\) = 50, C = 45, f = 33 और h = 5
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 14 सांख्यिकी Ex 14.3 - 9
अतं : दिएा गएा आँकड़ों से माध्यक आयु 35.76 वर्ष है।

JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 14 सांख्यिकी Ex 14.3

प्रश्न 4.
एक पौधे की 40 पत्तियों की लम्बाइयाँ निकटतम मिलीमीटरों में मापी जाती हैं तथा प्राप्त आंकड़ों को अग्रलिखित सारणी के रूप में निरूपित किया जाता है:

लम्बाई (मिमी) पत्तियों की संख्या
118-126
127-135
136-144
145-153
154-162
163-171
172-180
3
5
9
12
5
4
2

पत्तियों की माध्यक लम्बाई ज्ञात कीजिए।
हल :
दिए गए वर्ग लगातार नहीं हैं। इसलिए पहले इसे लगातार (सतत) वर्ग में बदलेंगे।
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 14 सांख्यिकी Ex 14.3 - 10
यहाँ N = 40
∴ \(\frac{N}{2}=\frac{40}{2}\) = 20 से ठीक बड़ी संचयी बारम्बारता 29 के संगत वर्ग अन्तराल 144.5 – 153.5 है।
∴ माध्यक वर्ग = 144.5 – 153.5
l = 144.5, f = 12, C = 17 और h = 9
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 14 सांख्यिकी Ex 14.3 - 11
अतः पत्तियों की माध्यक लम्बाई 146.75 मिमी है।

प्रश्न 5.
निम्नलिखित सारणी 400 नीऑन लैम्पों के जीवनकालों (Life time) को प्रदर्शित करती है :

जीवनकाल (घण्टों में) लैम्पों की संख्या
1500 -2000
2000-2500
2500-3000
3000-3500
3500-4000
4000-4500
4500-5000
14
56
60
86
74
62
48

एक लैम्प का माध्यक जीवनकाल ज्ञात कीजिए।
हल :

जीवन काल (घण्टों में) लैम्पों की संख्या संचयी बारम्बारता (c.f.)
1500-2000
2000-2500
2500-3000
3000-3500
3500-4000
4000-4500
4500-5000
14
56
60
86
74
62
48
14=14
(14+56) = 70
(70+60) = 130
(130+86)=216
(216+74) = 290
(290+62) = 352
(352+48) = 400
योग Σf<sub>i</sub> = N = 400

योग N = 400
∴ \(\frac{N}{2}=\frac{400}{2}\) = 200 से ठीक बड़ी संचयी बारम्बारता 216 के संगत वर्ग अन्तराल 3000 – 3500 है:
∴ माध्यक वर्ग = 3000 – 3500
∴ l = 3000; \(\frac{N}{2}\) = 200; f = 86, C = 130 और h = 500
माध्यक = l + (\(\frac{\frac{N}{2}-C}{f}\)) × h = 3000 + (\(\frac{200-130}{86}\)) × 500
= 3000 + \(\frac{70 \times 500}{86}\)
= 3000 + 406.98 (लगभग) = 3406.98
अतः एक लैम्प का माध्यक जीवनकाल = 3406.98 घण्टे हैं।

JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 14 सांख्यिकी Ex 14.3

प्रश्न 6.
एक स्थानीय टेलीफोन निर्देशिका से 100 कुलनाम (surnames) लिए गए और उनमें प्रयुक्त अंग्रेजी वर्णमाला के अक्षरों की संख्या का निम्नलिखित बारम्बारता बंटन प्राप्त हुआ:
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 14 सांख्यिकी Ex 14.3 - 12
कुलनामों में माध्यक अक्षरों की संख्या ज्ञात कीजिए। कुलनामों में माध्य अक्षरों की संख्या ज्ञात कीजिए। साथ ही कुलनामों का बहुलक ज्ञात कीजिए।
हल :
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 14 सांख्यिकी Ex 14.3 - 13

माध्यक के लिए :
यहाँ N = 100
\(\frac{N}{2}=\frac{100}{2}\) = 50 से ठीक बड़ी संचयी बारम्बारता 76 के संगत वर्ग अन्तराल 7-10 है।
∴ माध्यक वर्ग 7 – 10
∴ l = 7, \(\frac{N}{2}\) = 50 , f = 40, C = 36 और h = 3
माध्यक = l + (\(\frac{\frac{N}{2}-C}{f}\)) × h = 7 + (\(\frac{50-36}{40}\)) × 3 = 7 + \(\frac{14 \times 3}{40}\)
= 7 + \(\frac {21}{20}\)
= 7 + 1.05 = 8.05
अत: माध्यक = 8.05

माध्य के लिए :

Σfixi = 832, Σfi = 100
माध्य (\(\bar{x}\)) = \(\frac{\sum f_i x_i}{\sum f_i}\) = \(\frac {832}{100}\) = 8.32
अतः माध्य अक्षरों की संख्या = 8.32 है।

बहुलक के लिए :

दिए गए आँकड़ों में अधिकतम बारम्बारता 40 है। इसके संगत वर्ग अन्तराल 7 – 10 है।
∴ बहुलक वर्ग = 7 – 10
∴ l = 7, f1 = 40, f0 = 30, f2 = 16 और h = 3
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 14 सांख्यिकी Ex 14.3 - 14
अतः कुलनामों में माध्यक अक्षरों की संख्या = 8.05, माध्य अक्षरों की संख्या 8.32 तथा बहुलक 7.88.

प्रश्न 7.
नीचे दिया हुआ बंटन एक कक्षा के 30 विद्यार्थियों के भार दर्शा रहा है। विद्यार्थियों का माध्यक भार ज्ञात कीजिए।
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 14 सांख्यिकी Ex 14.3 - 15
हल :
माध्यक के लिए संचयी बारम्बारता सारणी
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 14 सांख्यिकी Ex 14.3 - 16
यहाँ N = 30
\(\frac{N}{2}=\frac{30}{2}\) = 15 से ठीक बड़ी संचयी बारम्बारता 19 के संगत वर्ग अन्तराल 55-60 है।
∴ माध्यक वर्ग = 55 – 60
∴ l = 55, \(\frac{N}{2}\) = 15, C = 13, f = 6 और h = 5
माध्यक = l + (\(\frac{\frac{N}{2}-C}{f}\)) × h = 55 + (\(\frac{15-13}{6}\)) × 5
= 55 + \(\frac{2}{6}\) × 5 = 55 + \(\frac{5}{3}\) × 5 = 55 + \(\frac{5}{3}\) = 55 + \(\frac{5}{3}\) = 55 + 1.67 = 56.67 किग्रा (लगभग)
अतः विद्यार्थियों का माध्यक भार = 56.67 किग्रा (लगभग) है।

JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 9 त्रिकोणमिति के कुछ अनुप्रयोग Ex 9.1

Jharkhand Board JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 9 त्रिकोणमिति के कुछ अनुप्रयोग Ex 9.1 Textbook Exercise Questions and Answers.

JAC Board Class 10 Maths Solutions Chapter 9 त्रिकोणमिति के कुछ अनुप्रयोग Exercise 9.1

प्रश्न 1.
सर्कस का एक कलाकार एक 20 m लम्बी डोर पर चढ़ रहा है जो अच्छी तरह से तनी हुई है और भूमि पर सीधे लगे खम्भे के शिखर से बंधा हुआ है। यदि भूमि स्तर के साथ डोर द्वारा बनाया गया कोण 30° का हो, तो खम्भे की ऊँचाई ज्ञात कीजिए।
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 9 त्रिकोणमिति के कुछ अनुप्रयोग Ex 9.1 1
हल:
माना कि खम्भे की ऊँचाई AB = h मीटर
तथा डोरी की लम्बाई AC = 20 मीटर
भूमि स्तर के साथ डोरी द्वारा बनाया गया कोण 30° है,
अर्थात् ∠ACB = 30°
समकोण ΔABC में,
sin 30° = लम्ब / कर्ण = \(\frac{A B}{A C}\)
[∵ लम्ब व कर्ण में त्रिकोणमितीय अनुपात sin θ का होता है ]
\(\frac{1}{2}=\frac{h}{20}\)
⇒ 2h = 20
∴ h = \(\frac{20}{2}\) = 10 मीटर
अतः खम्भे की ऊँचाई 10 मीटर है।

JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 9 त्रिकोणमिति के कुछ अनुप्रयोग Ex 9.1

प्रश्न 2.
आँधी आने से एक पेड़ टूट जाता है और टूटा हुआ भाग इस तरह मुड़ जाता है कि पेड़ का शिखर जमीन को छूने लगता है और इसके साथ 30° का कोण बनाता है। पेड़ के पाद-बिन्दु की दूरी, जहाँ पेड़ का शिखर जमीन को छूता है, 8 मीटर है। पेड़ की ऊँचाई ज्ञात कीजिए ।
हल:
माना आँधी से पहले पेड़ की लम्बाई BD है।
आँधी के पश्चात् पेड़ A स्थान से टूटकर पेड़ का शिखर जमीन पर C बिन्दु पर पड़ता है।
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 9 त्रिकोणमिति के कुछ अनुप्रयोग Ex 9.1 2
अर्थात् AD = AC = h2 मीटर (माना)
और AB = h1 मीटर (माना)
BC = 8 मीटर
टूटा हुआ भाग जमीन से 30° का कोण बनाता है।
अत : ∠ACB = 30°
समकोण ΔABC में,
tan 30° = \(\frac{A B}{B C}\)
⇒ \(\frac{1}{\sqrt{3}}=\frac{h_1}{8}\)
⇒ \(\sqrt{3}\)h1 = 8
∴ h1 = \(\frac{8}{\sqrt{3}}\) मीटर
पुन: समकोण ΔABC में,
cos 30° = \(\frac{B C}{A C}\)
⇒ \(\frac{\sqrt{3}}{2}=\frac{8}{h_2}\)
⇒ h2\(\sqrt{3}\) = 16
⇒ h2 = \(\frac{16}{\sqrt{3}}\) मीटर
पेड़ की कुल लम्बाई (BD) = AB + AD
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 9 त्रिकोणमिति के कुछ अनुप्रयोग Ex 9.1 3
= 8\(\sqrt{3}\) = 8 × 1.732
= 13.86 मीटर
अतः पेड़ की ऊँचाई 13.86 मीटर या 8\(\sqrt{3}\) मीटर है।

प्रश्न 3.
एक ठेकेदार बच्चों को खेलने के लिए एक पार्क में दो फिसलनपट्टी लगाना चाहती है। 5 वर्ष से कम उम्र के बच्चों के लिए वह एक ऐसी फिसलनपट्टी लगाना चाहती है जिसका शिखर 1.5 मीटर की ऊँचाई पर हो और भूमि के साथ 30° के कोण पर झुका हुआ हो, जबकि इससे अधिक उम्र के बच्चों के लिए वह 3 मीटर की ऊँचाई पर एक अधिक ढाल की फिसलनपट्टी लगाना चाहती है, जो भूमि के साथ 60° का कोण बनाती हो। प्रत्येक स्थिति में फिसलनपट्टी की लम्बाई क्या होनी चाहिए?
हल:
स्थिति I. जब ठेकेदार 5 वर्ष से कम उम्र के बच्चों के लिए फिसलनपट्टी लगाता है तो उसकी ऊँचाई AB = 1.5 मीटर तथा फिसलनपट्टी का भूमि के साथ कोण ACB = 30° है।
माना फिसलनपट्टी की लम्बाई AC मीटर है।
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 9 त्रिकोणमिति के कुछ अनुप्रयोग Ex 9.1 4
समकोण ΔABC में,
sin 30° = \(\frac{A B}{A C}\)
⇒ \(\frac{1}{2}=\frac{1.5}{x}\)
⇒ x = 1.5 × 2
∴ AC = 3 मीटर
स्थिति II. जब ठेकेदार 5 वर्ष से अधिक उम्र के बच्चों के लिए फिसलनपट्टी लगाता है, तो उसकी ऊँचाई PQ = 3 मीटर होती है और फिसलनपट्टी का भूमि के साथ कोण 60° है अर्थात् ∠PRQ = 60°
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 9 त्रिकोणमिति के कुछ अनुप्रयोग Ex 9.1 5
माना फिसलनपट्टी की लम्बाई (PR) y मीटर है।
समकोण ΔPQR में,
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 9 त्रिकोणमिति के कुछ अनुप्रयोग Ex 9.1 6
अत: 5 वर्ष से कम उम्र के बच्चों के लिए फिसलनपट्टी की लम्बाई = 3 मीटर तथा इससे अधिक उम्र के बच्चों के लिए फिसलनपट्टी की लम्बाई = 2\(\sqrt{2}\) मीटर

JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 9 त्रिकोणमिति के कुछ अनुप्रयोग Ex 9.1

प्रश्न 4.
भूमि के एक बिन्दु से, जो मीनार के पाद-बिन्दु से 30 मीटर की दूरी पर है, मीनार के शिखर का उन्नयन कोण 30° है। मीनार की ऊँचाई ज्ञात कीजिए।
हल:
माना मीनार की ऊँचाई BC h मीटर है। मीनार के आधार B से 30 मीटर दूर भूमि पर स्थित बिन्दु A है अर्थात् AB = 30 मीटर मीनार के शिखर का उन्नयन कोण 30° है। अर्थात् ∠BAC = 30°
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 9 त्रिकोणमिति के कुछ अनुप्रयोग Ex 9.1 7
समकोण ΔABC में,
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 9 त्रिकोणमिति के कुछ अनुप्रयोग Ex 9.1 8
= 10 × 1.732
∴ h = 17.32 m (लगभग)
अतः मीनार की ऊँचाई 10\(\sqrt{3}\) मीटर या 17.32 मीटर

प्रश्न 5.
भूमि से 60 मीटर की ऊँचाई पर एक पतंग उड़ रही है। पतंग में लगी डोरी को अस्थायी रूप से भूमि के एक बिन्दु से बाँध दिया गया है। भूमि के साथ डोरी का झुकाव 60° है। यह मानकर कि डोरी में कोई ढील नहीं है, डोरी की लम्बाई ज्ञात कीजिए।
हल:
माना AX एक क्षैतिज रेखा है। रेखा पर स्थित बिन्दु C से 60 मीटर की ऊँचाई पर एक पतंग B उड़ रही है यह पतंग B भूमि पर स्थित एक बिन्दु A से तनी हुई डोरी AB द्वारा बँधी हुई है। डोरी AB का भूमि के साथ कोण CAB = 60° है।
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 9 त्रिकोणमिति के कुछ अनुप्रयोग Ex 9.1 9
समकोण ΔACB में,
sin 60° = \(\frac{B C}{A B}\)
= \(\frac{\sqrt{3}}{2}=\frac{60}{A B}\)
\(\sqrt{3}\)AB = 60 × 2
AB = \(\frac{120}{\sqrt{3}}\)
AB = \(\frac{120}{\sqrt{3}} \times \frac{\sqrt{3}}{\sqrt{3}}\)
= \(\frac{120}{3} \sqrt{3}\)
= 40\(\sqrt{3}\) मीटर
= 40 × 1.732 मीटर
= 69.28 मीटर
अतः डोरी की लम्बाई = 40\(\sqrt{3}\) मीटर या 69.28 मीटर।

JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 9 त्रिकोणमिति के कुछ अनुप्रयोग Ex 9.1

प्रश्न 6.
1.5 मीटर लम्बा एक लड़का 30 मीटर ऊँचे एक भवन से कुछ दूरी पर खड़ा है जब वह ऊंचे भवन की ओर जाता है तब उसकी आँख से भवन के शिखर का उन्नयन कोण 30° से 60° हो जाता है। बताइए कि वह भवन की ओर कितनी दूरी तक चलकर गया है?
हल:
माना PQ एक भवन है जिसकी ऊँचाई 30 मीटर हैं। भवन के आधार Q से x मीटर की दूरी पर बिन्दु R पर एक लड़का OR खड़ा है जिसकी ऊँचाई OR 1.5 मीटर है।
तब OS || RQ तथा OR || SQ
∴ SQ = OR = 1.5 मीटर
∴ PS = PQ – SQ
= 30 – 1.5 = 28.5 मीटर
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 9 त्रिकोणमिति के कुछ अनुप्रयोग Ex 9.1 10
लड़के की आँख से भवन के शिखर का उन्नयन कोण 30° है तथा लड़का भवन की ओर कुछ दूरी चलता है, तो भवन के शिखर का उन्नयन कोण 60° हो जाता है, तब
∠POS = 30° तथा ∠PTS = 60°
तब समकोण ΔPSO से,
tan 30° = \(\frac{P S}{O S}\)
⇒ \(\frac{1}{\sqrt{3}}=\frac{28.5}{O S}\)
⇒ \(\frac{1}{\sqrt{3}}=\frac{28.5}{x}\) (∵ OS = RQ = x मीटर)
⇒ x = 28.5\(\sqrt{3}\)
अतः OS = 28.5\(\sqrt{3}\)
माना लड़का कुछ दूरी चलकर बिन्दु 7 पर पहुँचता है जहाँ से उसकी आँख का कोण PTS, 60° हो जाता है। तब समकोण ΔPTS में,
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 9 त्रिकोणमिति के कुछ अनुप्रयोग Ex 9.1 11
अतः लड़के द्वारा भवन की ओर तय की गई दूरी 19\(\sqrt{3}\) मीटर है।

प्रश्न 7.
भूमि के एक बिन्दु से एक 20 मीटर ऊँचे भवन के शिखर पर लगी एक संचार मीनार के तल और शिखर के उन्नयन कोण क्रमश: 45° और 60° हैं। मीनार की ऊँचाई ज्ञात कीजिए।
हल:
माना कि BC एक भवन है, जिसकी ऊँचाई 20 मीटर है।
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 9 त्रिकोणमिति के कुछ अनुप्रयोग Ex 9.1 12
भवन के शिखर बिन्दु C पर एक संचार मीनार CD है।
संचार मीनार के तल C और शिखर D से उन्नयन कोण क्रमश: 45° और 60° हैं।
अर्थात् ∠CAB = 45° और ∠DAB = 60°
समकोण ΔABC में,
tan 45° = \(\frac{B C}{A B}\)
⇒ 1 = \(\frac{20}{A B}\)
∴ AB = 20 मीटर
पुन: समकोण ΔABD में,
tan 60° = \(\frac{B D}{A B}\)
\(\sqrt{3}\) = \(\frac{B D}{20}\)
∴ BD = 20\(\sqrt{3}\) मीटर
संचार मीनार की ऊँचाई CD = BD – BC
= 20\(\sqrt{3}\) – 20 = 20 (\(\sqrt{3}\) – 1)
= 20 (1.732 – 1)
= 20 × 0.732 = 14.64 मीटर
अतः संचार मीनार की ऊँचाई = 20 (\(\sqrt{3}\) – 1) मीटर या 14.64 मीटर है।

JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 9 त्रिकोणमिति के कुछ अनुप्रयोग Ex 9.1

प्रश्न 8.
एक पेडस्टल के शिखर पर एक 1.6 मीटर ऊँची मूर्ति लगी है। भूमि के एक बिन्दु से मूर्ति के शिखर का उन्नयन कोण 60° है और उसी बिन्दु से पेडस्टल के शिखर का उन्नयन कोण 45° है। पेडस्टल की ऊंचाई ज्ञात कीजिए।
हल:
माना पेडस्टल की ऊँचाई BC = h मीटर
दिया है: मूर्ति की ऊँचाई CD = 1.6 मीटर है।
क्षैतिज भूमि पर स्थित बिन्दु A से मूर्ति के शिखर D का उन्नयन कोण BAD = 60° तथा पेडस्टल के शिखर C का उन्नयन कोण BAC = 45° है।
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 9 त्रिकोणमिति के कुछ अनुप्रयोग Ex 9.1 13
समकोण ΔABC में,
tan 45° = \(\frac{B C}{A B}\)
⇒ 1 = \(\frac{h}{A B}\)
∴ AB = h मीटर
पुनः समकोण ΔABD में,
tan 60° = \(\frac{B D}{A B}\)
⇒ \(\sqrt{3}=\frac{B C+C D}{A B}\)
⇒ \(\sqrt{3}=\frac{h+1.6}{h}\)
⇒ \(\sqrt{3}\)h = h + 1.6
⇒ \(\sqrt{3}\)h – h = 1.6
⇒ h (\(\sqrt{3}\) – 1) = 1.6
∴ h = \(\frac{1.6}{\sqrt{3}-1} \times \frac{\sqrt{3}+1}{\sqrt{3}+1}\)
\(\frac{1.6(\sqrt{3}+1)}{3-1}\)
∴ h = \(\frac{1.6}{2}(\sqrt{3}+1)\)
= 0.8 (\(\sqrt{3}\) + 1) मीटर
अतः पेडस्टल की ऊँचाई = 0.8 (\(\sqrt{3}\) + 1) मीटर।

प्रश्न 9.
एक मीनार के पाद-बिन्दु से एक भवन के शिखर का उन्नयन कोण 30° है और भवन के पाद-बिन्दु से मीनार के शिखर का उन्नयन कोण 60° है। यदि मीनार 50 मीटर ऊँची हो, तो भवन की ऊँचाई ज्ञात कीजिए।
हल:
माना कि AB कोई मीनार है जिसकी ऊँचाई 50 मीटर है।
मीनार के पाद बिन्दु B से भवन की चोटी D का उन्नयन कोण 30° है जबकि भवन के आधार बिन्दु C से मीनार की चोटी 4 का उन्नयन कोण 60° है।
अर्थात् ∠CBD = 30° और ∠ACB = 60°
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 9 त्रिकोणमिति के कुछ अनुप्रयोग Ex 9.1 14
माना भवन की ऊँचाई CD = h मीटर
समकोण ΔABC में,
tan 60° = \(\frac{A B}{B C}\)
⇒ \(\sqrt{3}=\frac{50}{B C}\)
∴ BC = \(\frac{50}{\sqrt{3}}\)
पुन: समकोण ΔBCD में,
tan 30° = \(\frac{C D}{B C}\)
⇒ \(\frac{1}{\sqrt{3}}=\frac{h}{\frac{50}{\sqrt{3}}}\)
⇒ \(\frac{1}{\sqrt{3}}=\frac{\sqrt{3} h}{50}\)
⇒ \(\sqrt{3}\) × \(\sqrt{3}\)h = 50
⇒ 3h = 50
h = \(\frac{50}{3}=16 \frac{2}{3}\) मीटर
अतः भवन की ऊँचाई 16\(\frac{2}{3}\) मीटर है।

JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 9 त्रिकोणमिति के कुछ अनुप्रयोग Ex 9.1

प्रश्न 10.
एक 80 मीटर चौड़ी सड़क के दोनों ओर आमने-सामने समान लम्बाई वाले दो खम्भे लगे हुए हैं। इन दोनों खम्भों के बीच सड़क के एक बिन्दु से खम्भों के शिखर के उन्नयन कोण क्रमशः 60° और 30° हैं। खम्भों की ऊँचाई और खम्भों से बिन्दु की दूरी ज्ञात कीजिए।
हल:
माना BC और DE दो बराबर ऊँचाई के खम्भे हैं जिनकी ऊँचाई / मीटर है। इन दोनों खम्भों के बीच सड़क BD पर एक बिन्दु से खम्भों के शिखर के उन्नयन कोण क्रमश: 60° और 30° है।
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 9 त्रिकोणमिति के कुछ अनुप्रयोग Ex 9.1 15
अर्थात् ∠CAB = 60° और ∠DAE = 30°
BC = DE = h मीटर (माना)
BD = 80 मीटर
DA = x मीटर (माना)
∴ AB = BD – DA
AB = (80 – x) मीटर
समकोण ΔADE में,
tan 30° = \(\frac{E D}{D A}\)
⇒ \(\frac{1}{\sqrt{3}}=\frac{h}{x}\)
h = \(\frac{x}{\sqrt{3}}\) मीटर ….(i)
पुन: समकोण ΔABC में,
tan 60° = \(\frac{1}{2}\)
⇒ \(\frac{\sqrt{3}}{1}=\frac{h}{80-x}\)
h = (80 – x)\(\sqrt{3}\) …(ii)
समीकरण (i) व (ii) से
\(\frac{x}{\sqrt{3}}=\sqrt{3}(80-x)\)
⇒ x = \(\sqrt{3}\) × \(\sqrt{3}\) (80 – x)
⇒ x = 3(80 – x)
⇒ x = 240 – 3x
⇒ x + 3x = 240
⇒ 4x = 240
∴ x = \(\frac{240}{4}\) = 60 मीटर
AD = 60 मीटर
और AB = 80 – 60 = 20 मीटर
समीकरण (i) से,
h = \(\frac{60}{\sqrt{3}} \times \frac{\sqrt{3}}{\sqrt{3}}\)
= \(\frac{60}{3} \sqrt{3}\)
= 20\(\sqrt{3}\)
अर्थात् h = 20 × 1.732
= 34.64 मीटर।
अतः खम्भे की ऊँचाई 34.64 मीटर है बिन्दु की खम्भों से दूरी क्रमश: 20 मीटर और 60 मीटर है।

प्रश्न 11.
एक नहर के एक तट पर एक टीवी टॉवर ऊर्ध्वाधरत: खड़ा है। टॉवर के ठीक सामने दूसरे तट के एक अन्य बिन्दु से टॉवर के शिखर का उन्नयन कोण 60° है। इसी तट पर इस बिन्दु से 20 मी दूर और इस बिन्दु को मीनार के पाद से मिलाने वाली रेखा पर स्थित एक अन्य बिन्दु से टॉवर के शिखर का उन्नयन कोण 30° है (देखिए आकृति)। टॉवर की ऊँचाई और नहर की चौड़ाई ज्ञात कीजिए।
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 9 त्रिकोणमिति के कुछ अनुप्रयोग Ex 9.1 16
हल:
माना नहर की चौड़ाई BC = x मीटर है।
तथा टीवी टॉवर की ऊँचाई AB = h मीटर है।
भिन्न-भिन्न स्थितियों में टॉवर के शिखर के उन्नयन कोण क्रमश: 30° और 60° हैं।
समकोण ΔABC में,
tan 60° = \(\frac{A B}{B C}\)
⇒ \(\sqrt{3}=\frac{h}{x}\)
∴ h = x\(\sqrt{3}\) मीटर …(i)
पुनः समकोण ΔABD में,
⇒ tan 30° = \(\frac{A B}{B D}=\frac{A B}{D C+B C}\)
⇒ \(\frac{1}{\sqrt{3}}=\frac{h}{20+x}\)
⇒ \(\sqrt{3}\)h = 20 + x
⇒ \(\sqrt{3}\) × x\(\sqrt{3}\) = 20 + x [समीकरण (i) से]
⇒ 3x = 20 + x
⇒ 3x – x = 20
⇒ 2x = 20
∴ x = \(\frac{20}{2}\)
अत: BC = 10 मीटर
समी. (i) में x का मान प्रतिस्थापन करने पर,
h = 10\(\sqrt{3}\)
h = 10 × 1.732 = 17.32 मीटर
AB = 17.32 मीटर
अतः टावर की ऊँचाई = 17.32 मीटर
तथा नहर की चौड़ाई = 10 मीटर

JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 9 त्रिकोणमिति के कुछ अनुप्रयोग Ex 9.1

प्रश्न 12.
7 मीटर ऊँचे भवन के शिखर से एक केबल टॉवर के शिखर का उन्नयन कोण 60° है और इसके पाद का अवनमन कोण 45° है। टॉवर की ऊँचाई ज्ञात कीजिए।
हल:
माना AB एक केबल टॉवर है। उसी धरातल में एक भवन CD है जिसकी ऊँचाई 7 मीटर है।
केबल टॉवर के शिखर को उन्नयन कोण और पाद का अवनमन कोण क्रमश: 60° और 45° हैं।
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 9 त्रिकोणमिति के कुछ अनुप्रयोग Ex 9.1 17
अर्थात ∠ACE = 60°
और ∠ECB = 45°
BD || CE, CD || BE
∴ CD = BE = 7 मीटर
अब समकोण त्रिभुज CBD में,
tan 45° = \(\frac{C D}{D B}\)
⇒ 1 = \(\frac{7}{D B}\)
∴ DB = 7 मीटर
CE = DB = 7 मीटर
पुन: समकोण त्रिभुज AEC में,
tan 60° = \(\frac{A E}{C E}\)
⇒ \(\sqrt{3}=\frac{A E}{7}\)
∴ AE = 7\(\sqrt{3}\) मीटर
तब टॉवर AB की ऊँचाई = AE + EB
= 7\(\sqrt{3}\) + 7
= 7\(\sqrt{3}\) + 1) मीटर
अतः केबल टॉवर की ऊँचाई = 7(\(\sqrt{3}\) + 1) मीटर ।

प्रश्न 13.
समुद्र तल से 75 मीटर ऊँची लाइट हाउस के शिखर से देखने पर दो समुद्री जहाजों के अवनमन कोण 30° और 45° हैं। यदि लाइट हाउस के एक ही ओर एक जहाज दूसरे जहाज के ठीक पीछे हो, तो दो जहाजों के बीच की दूरी ज्ञात कीजिए।
हल:
माना 75 मीटर ऊँचे एक प्रकाश स्तम्भ PQ के शिखर P से, A और B जहाजों के अवनमन कोण क्रमश: 30° और 45° हैं।
∴ ∠SPA = 30° = ∠PAQ (एकान्तर कोण)
तथा ∠SPB = 45° = ∠PBQ (एकान्तर कोण)
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 9 त्रिकोणमिति के कुछ अनुप्रयोग Ex 9.1 18
माना जहाजों के बीच की दूरी AB = x मीटर
समकोण ΔPQB में,
tan 45° = \(\frac{P Q}{B Q}\)
⇒ 1 = \(\frac{75}{B Q}\)
∴ BQ = 75 मीटर
पुन: समकोण ΔPQA में,
tan 30° = \(\frac{P Q}{A Q}=\frac{P Q}{A B+B Q}\)
⇒ \(\frac{1}{\sqrt{3}}=\frac{75}{x+75}\)
⇒ x + 75 = 75\(\sqrt{3}\)
x = 75\(\sqrt{3}\) – 75
= 75 (\(\sqrt{3}\) – 1) मीटर
= 75 × 0.732 = 54.90 मीटर
अतः दो जहाजों के बीच की दूरी 75 (\(\sqrt{3}\) – 1) या 54.90 मीटर है।

JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 9 त्रिकोणमिति के कुछ अनुप्रयोग Ex 9.1

प्रश्न 14.
1.2 मीटर लम्बी एक लड़की भूमि से 88.2 मीटर की ऊँचाई पर एक क्षैतिज रेखा में हवा में उड़ रहे गुब्बारे को देखती है। किसी भी क्षण लड़की की आँख से गुब्बारे का उन्नयन कोण 60° है। कुछ समय बाद उन्नयन कोण घटकर 30° हो जाता है (देखिए आकृति)। इस अन्तराल के दौरान गुब्बारे द्वारा तय की गई दूरी ज्ञात कीजिए ।
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 9 त्रिकोणमिति के कुछ अनुप्रयोग Ex 9.1 19
हल:
माना 1.2 मीटर लम्बी लड़की की आँख ‘A’ है। भूमि से 88.2 मीटर की ऊँचाई पर उड़ रहे गुब्बारे की विभिन्न दूरियों पर उन्नयन कोण क्रमश: 60° और 30° हैं।
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 9 त्रिकोणमिति के कुछ अनुप्रयोग Ex 9.1 20
∠BAE = 60° और ∠DAC = 30°
BE = CD = 88.2 – 1.2 = 87 मीटर
समकोण ΔABE में,
tan 60° = \(\frac{B E}{A B}\)
⇒ \(\sqrt{3}=\frac{87}{x}\)
⇒ x = \(\frac{87}{\sqrt{3}}\) ….(1)
पुन: समकोण ΔACD में,
tan 30° = \(\frac{C D}{A C}\)
⇒ \(\frac{1}{\sqrt{3}}=\frac{87}{x+y}\)
⇒ x + y = 87\(\sqrt{3}\)
⇒ x = 87\(\sqrt{3}\) – y ….(2)
समीकरण (1) व (2) से
\(\frac{87}{\sqrt{3}}\) = 87\(\sqrt{3}\) – y
87 = 87 × 3 – \(\sqrt{3}\)y
\(\sqrt{3}\)y = 87 × 3 – 87
\(\sqrt{3}\)y = 261 – 87
\(\sqrt{3}\)y = 174
y = \(\frac{174}{\sqrt{3}}\)
y = \(\frac{174}{\sqrt{3}} \times \frac{\sqrt{3}}{\sqrt{3}}\)
y = \(\frac{174 \sqrt{3}}{3}\)
y = 58\(\sqrt{3}\) मीटर
अतः गुब्बारे द्वारा तय की गई दूरी = 58\(\sqrt{3}\) मीटर

प्रश्न 15.
एक सीधा राजमार्ग एक मीनार के पाद तक जाता है। मीनार के शिखर पर खड़ा एक आदमी एक कार को 30° के अवनमन कोण पर देखता है जो कि मीनार के पाद की ओर एकसमान चाल से जाती है। छः सेकण्ड बाद कार का अवनमन कोण 60° हो गया। इस बिन्दु से मीनार के पाद तक पहुँचने में कार द्वारा लिया गया समय ज्ञात कीजिए।
हल:
माना BCD एक सीधा राजमार्ग है जिसके बिन्दु D पर, AD मीनार खड़ी है जिसकी ऊँचाई h मीटर है। मीनार के शिखर 4 से एक कार B का अवनमन कोण 30° है। 6 सेकण्ड बाद कार का अवनमन कोण 60° हो जाता है।
∵ 6 सेकण्ड में कार द्वारा तय की गई दूरी = BC समकोण ΔABD से,
tan 30° = \(\frac{A D}{B D}\)
⇒ \(\frac{1}{\sqrt{3}}=\frac{h}{B D}\)
BD = \(\sqrt{3}\)h …..(i)
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 9 त्रिकोणमिति के कुछ अनुप्रयोग Ex 9.1 21
पुन: समकोण ΔACD में,
tan 60° = \(\frac{A D}{C D}\)
⇒ \(\sqrt{3}=\frac{h}{C D}\)
∴ h = \(\sqrt{3}\)CD …(ii)
समी (i) मैं h का मान रखने पर
BD = \(\sqrt{3}\) · \(\sqrt{3}\)CD
⇒ BD = 3CD (∵ BD = BC + CD)
⇒ BC + CD = 3CD
⇒ BC = 3CD – CD
⇒ BC = 2CD
⇒ CD = \(\frac{1}{2}\)BC
चूँकि कार एक समान चाल से चल रही है तथा CD दूरी BC की आधी है।
अत: CD दूरी चलने में लगा समय = \(\frac{1}{2}\) × BC दूरी चलने में लगा समय
= \(\frac{1}{2}\) × 6 = 3 सेकण्ड
अतः कार को मीनार के पाद तक पहुँचने में लगा समय = 3 सेकण्ड ।

JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 9 त्रिकोणमिति के कुछ अनुप्रयोग Ex 9.1

प्रश्न 16.
मीनार के आधार से और एक सरल रेखा में 4 मीटर और 9 मीटर की दूरी पर स्थित दो बिन्दुओं से मीनार के शिखर के उन्नयन कोण पूरक कोण हैं। सिद्ध कीजिए कि मीनार की ऊँचाई 6 मीटर है।
हल:
माना CD एक मीनार है जिसकी ऊँचाई h मीटर है।
JAC Class 10 Maths Solutions Chapter 9 त्रिकोणमिति के कुछ अनुप्रयोग Ex 9.1 22
मीनार के आधार से 4 मीटर दूरी पर बिन्दु B है तथा 9 मीटर दूरी पर बिन्दु A है।
माना ∠DBC = 6 है तो
इसका पूरक ∠DAB = 90° – 6 होगा।
समकोण ΔDCB में,
tan θ = \(\frac{D C}{B C}\)
⇒ tan θ = \(\frac{h}{4}\) …(i)
पुन: समकोण ΔDCA में,
tan (90° – θ) = \(\frac{D C}{A C}\)
⇒ cot θ = \(\frac{h}{9}\)
\(\frac{1}{\tan \theta}=\frac{h}{9}\) …(ii)
समी (i) व (ii) का गुणा करने पर
tan θ × \(\frac{1}{\tan \theta}=\frac{h}{4} \times \frac{h}{9}\)
⇒ \(1=\frac{h^2}{36}\)
⇒ h2 = 36
⇒ h = \(\sqrt{36}\)
∴ h = 6 मीटर
अतः मीनार की ऊँचाई = 6 मीटर।

JAC Class 10 Science Solutions Chapter 15 हमारा पर्यावरण

Jharkhand Board JAC Class 10 Science Solutions Chapter 15 हमारा पर्यावरण Textbook Exercise Questions and Answers.

JAC Board Class 10 Science Solutions Chapter 15 हमारा पर्यावरण

Jharkhand Board Class 10 Science हमारा पर्यावरण Textbook Questions and Answers

अभ्यास प्रश्न (पृष्ठ संख्या-297)

प्रश्न 1.
निम्न में से कौन-से समूहों में केवल जैव निम्नीकरणीय पदार्थ हैं-
(a) घास, पुष्प तथा चमड़ा
(b) घास, लकड़ी तथा प्लास्टिक
(c) फलों के छिलके, कंक एवं नींखू का रस
(d) केक, लकड़ी एवं घास
उत्तर:
(a) घास, पुष्प तथा चमड़ा।

प्रश्न 2.
निम्न में से कौन आहार श्रंखला का निर्माण करते हैं-
(a) घास, गेहूँ तथा आम
(b) घास, बकरी तथा मानव
(c) बकरी, गाय तथा हाथी
(d) घास, मछली तथा बकरी
उत्तर:
(b) घास, बकरी तथा मानव।

प्रश्न 3.
निम्न में से कौन पर्यावरण-मित्र व्यवहार कहलाते हैं-
(a) बाजार जाते समय सामान के लिए कपछे का थैला ले जाना
(b) कार्य समाप्त हो जाने पर लाइट (बलंज) तथा पंखे का स्विच बन्द करना
(c) माँ द्वारा स्कूटर से वियालय छोड़े के बजाय तुम्तारे विद्यालय तक पैदल जाना
(d) उपरोक्त सभी
उत्तर:
(d) उपरोक्त सभी।

प्रश्न 4.
क्या होगा यदि हम एक पोषी स्तर के सभी जीवों को समाप्त कर दें (मार डालें)?
उत्तर:
खाद्य श्रृंखला के सभी पोषी स्तरों के जीव भोजन के लिए एक-दूसरे पर निर्भर करते हैं। यदि किसी एक पोषी स्तर के सभी जीव मार दिए जाएँ तो पूरी खाद्य श्रृंखला नष्ट हो जायगी। ऐसा इसलिए होता है क्योंकि इससे खाद्य शृंखला में ऊर्जा का प्रवाह रुक जाता है।

JAC Class 10 Science Solutions Chapter 15 हमारा पर्यावरण

प्रश्न 5.
क्या किसी पोषी स्तर के सभी सदस्यों को हटाने का प्रभाव भिन्न-भिन्न पोषी स्तरों के लिए अलग-अलग होगा? क्या किसी पोषी स्तर के जीवों को पारितंत्र को प्रभावित किए बिना हटाना संभव है?
उत्तर:
अलग-अलग नहीं होते। यह सभी पर समान प्रभाव डालता होता नहीं सभी पोषी स्तरों के लिए प्रभाव है। किसी पोषी स्तर के जीवों को पारितंत्र को प्रभावित किए बिना हटाना संभव नहीं है। इनका हटाना पारितः पारितंत्र में विभिन्न प्रकार के प्रभाव डालता है तथा असंतुलन करता है।

प्रश्न 6.
जैविक आवर्धन (Biological magnification) क्या है? क्या पारितंत्र के विभिन्न स्तरों पर जैविक आवर्धन का प्रभाव भी भिन्न-भिन्न होगा?
उत्तर:
जब कोई हानिकारक रसायन जैसे डी.डी.टी. किसी खाद्य श्रृंखला में प्रवेश करता है तो इसका सान्द्रण धीरे-धीरे प्रत्येक पोषी स्तर में बढ़ता जाता है। इस परिघटना को जैविक आवर्धन कहते हैं। इस आवर्धन का स्तर अलग-अलग पोषी स्तरों पर भिन्न-भिन्न होगा।
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प्रश्न 7.
हमारे द्वारा उत्पादित अजैव निम्नीकरणीय कचरे से कौन-सी समस्याएँ उत्पन्न होती हैं?
उत्तर:
अजैव निम्नीकरणीय कचरे के ढेर पर्यावरण में बहुत लम्बे समय तक रहते हैं और नष्ट नहीं होते। अतः वे बहुत-सी समस्याएँ उत्पन्न करते हैं। जैसे-

  • ये जल प्रदूषण करते हैं जिससे जल पीने योग्य नहीं रहता।
  • ये भूमि प्रदूषण करते हैं जिससे भूमि की सुन्दरता नष्ट होती है।
  • ये नालियों में पानी के प्रवाह को रोकते हैं।
  • ये वायुमण्डल को भी विषैला बनाते

प्रश्न 8.
यदि हमारे द्वारा उत्पादित सारा कचरा जैव निम्नीकरणीय हो तो क्या इनका हमारे पर्यावरण पर कोई प्रभाव नहीं पड़ेगा?
उत्तर:
जैव निम्नीकरणीय अपशिष्ट लम्बे समय तक नहीं रहते हैं। अतः उनका हानिकारक प्रभाव वातावरण पर पड़ता तो है पर केवल कुछ समय लिए ही रहता है। ये पदार्थ लाभदायक पदार्थों में बदले जा सकते हैं तथा सरल पदार्थों में तोड़े जा सकते हैं। अतः हमारे वातावरण पर इनका भी प्रभाव पड़ता है लेकिन केवल कुछ समय तक ही रहता है।

प्रश्न 9.
ओजोन परत की क्षति हमारे लिए चिंता का विषय क्यों है? इस क्षति को सीमित करने के लिए क्या कदम उठाए गए हैं?
उत्तर:
ओजोन परत की क्षति हमारे लिए अत्यंत चिंता विषय है क्योंकि यदि क्षति अधिक होती है तो अधिक -से-अधिक पराबैंगनी विकिरणें पृथ्वी पर आएँगी जो हमारे लिए निम्न प्रकार हानिकारक प्रभाव डालती हैं।

  • इनका प्रभाव त्वचा पर पड़ता है जिससे त्वचा के कैंसर की संभावना बढ़ जाती है।
  • पौधों में वृद्धि दर कम हो जाती है।
  • ये सूक्ष्म जीवों तथा अपघटकों को मारती हैं इससे पारितंत्र में असंतुलन उत्पन्न हो जाता है।
  • ये पौधों में पिगमेंटों को नष्ट करती हैं।

ओजोन परत की क्षति कम करने के उपाय :

  • एरोसोल तथा क्लोरोफ्लोरो कार्बन यौगिक का कम से कम उपयोग करना।
  • सुपरसोनिक विमानों का कम से कम उपयोग करना।
  • संसार में नाभिकीय विस्फोटों पर नियंत्रण करना।

Jharkhand Board Class 10 Science हमारा पर्यावरण InText Questions and Answers

पाठगत प्रश्न (पृष्ठ संख्या – 292)

प्रश्न 1.
पोषी स्तर क्या हैं? एक आहार श्रृंखला का उदाहरण दीजिए तथा इसमें विभिन्न पोषी स्तर बताइए।
उत्तर:
आहार श्रृंखला का प्रत्येक चरण अथवा कड़ी एक पोषी स्तर बनाते हैं।
उदाहरण – दी गई आहार श्रृंखला में चार पोषी स्तर हैं-
JAC Class 10 Science Solutions Chapter 15 हमारा पर्यावरण 2

प्रश्न 2.
पारितंत्र में अपमार्जकों की क्या भूमिका है?
उत्तर:
पारितंत्र में अपमार्जक का कार्य है कि वह जंतु मृत शरीरों को विघटित करके सरल पदार्थ में न दें। यह मृत कार्बनिक पदार्थों का अपघटन कर निम्न भूमिका निभाते हैं-

  • यह पृथ्वी की सतह को साफ करते हैं तथा नई पीढ़ी के लिए स्थान उपलब्ध कराते हैं।
  • यह जटिल कार्बनिक पदार्थों को सरल अकार्बनिक पदार्थों में बदल देते हैं जो भू-रासायनिक चक्र में शामिल हो जाते हैं तथा पौधों द्वारा पुनः उपयोग में लाए जाते हैं।

पाठगत प्रश्न (पृष्ठ संख्या-295)

प्रश्न 1.
क्या कारण है कि कुछ पदार्थ जैव निम्नीकरणीय होते हैं और कुछ अजैव निम्नीकरणीय?
उत्तर:
कुछ पदार्थों का जीवाणु अथवा दूसरे मृतजीवियों (saprophytes) द्वारा अपघटन हो जाता है परंतु कुछ पदार्थों का जैविक प्रक्रम द्वारा अपघटन नहीं हो पाता है। अतः सब्जियों के अपशिष्ट, जंतुओं के अपशिष्ट, पत्ते आदि जैव निम्नीकरणीय हैं क्योंकि जीवाणु और कवक जैसे सूक्ष्मजीव इन्हें जटिल से सरल कार्बनिक पदार्थों में बदल देते हैं जबकि प्लास्टिक, पॉलीथीन आदि अजैव निम्नीकरणीय हैं क्योंकि इनका अपघटन नहीं हो पाता है।

प्रश्न 2.
ऐसे दो तरीके सुझाइए जिनमें जैव निम्नीकरणीय पदार्थ पर्यावरण को प्रभावित करते हैं।
उत्तर:
जैव निम्नीकरणीय पदार्थ पर्यावरण को निम्न दो तरीकों से प्रभावित करते हैं-

  • पौधों तथा जंतुओं के अवशेष के अपघटन (decomposition) से वातावरण दूषित होता है तथा दुर्गंध (foul smell) फैलती है, जिससे आस-पास रहने वाले लोगों को परेशानी होती है।
  • कूड़े-कचरे के ढेर पर अनेक प्रकार की मक्खियाँ, मच्छर आदि पैदा होते हैं, जो कई प्रकार के रोगों के वाहक होते हैं।
    मीथेन गैस, हाइड्रोजन सल्फाइड गैस, CO2 गैस अपघटन प्रक्रम में निकलते हैं, जिससे प्रदूषण बढ़ता है।

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प्रश्न 3.
ऐसे दो तरीके बताइए जिनमें अजैव निम्नीकरण पदार्थ पर्यावरण को प्रभावित करते हैं।
उत्तर:

  • अजैव निम्नीकरणीय पदार्थों, जैसे- प्लास्टिक, पॉलीथीन, पीड़कनाशक (DDT) एवं रसायन आदि का अपघटन नहीं होता। ये पदार्थ लम्बे समय तक पर्यावरण में बने रहते हैं तथा जल एवं मृदा प्रदूषण फैलाते हैं।
  • अजैव निम्नीकरणीय रासायनिक उर्वरक के अत्यधिक प्रयोग से मिट्टी या तो अम्लीय या क्षारीय हो जाती है, जिससे उर्वरा शक्ति घट जाती है।
  • DDT जैसे पीड़कनाशक खाद्यान्न, सब्जियों, फलों आदि के माध्यम हमारे शरीर में पहुँच जाते हैं तथा हमारे स्वास्थ्य को हानि पहुँचाते हैं।

पाठगत प्रश्न (पृष्ठ संख्या – 296)

प्रश्न 1.
ओजोन क्या है तथा यह किसी पारितंत्र को किस प्रकार प्रभावित करती है?
उत्तर:
ओजोन ऑक्सीजन का एक अपर रूप है। इसका एक अणु ऑक्सीजन के तीन परमाणुओं से मिलकर बना होता है। इसका अणुसूत्र O3 है।

यह ऑक्सीजन के तीन अणुओं की सूर्य के प्रकाश (sun rays) की उपस्थिति में अभिक्रिया द्वारा बनती है।
JAC Class 10 Science Solutions Chapter 15 हमारा पर्यावरण 3
ओजोन पृथ्वी की सतह पर एक आवरण बनाती है जो पराबैंगनी विकिरणों से बचाती है। यह पराबैंगनी विकिरण हमारे लिए बहुत हानिकारक है। इस प्रकार यह पारितंत्र को नष्ट होने से बचाती है।

प्रश्न 2.
आप कचरा निपटान की समस्या कम करने में क्या योगदान कर सकते हैं? किन्हीं दो तरीकों का वर्णन कीजिए।
उत्तर:

  • पदार्थ दो प्रकार के होते हैं- जैव निम्नीकरणीय तथा अजैव निम्नीकरणीय। इनमें से हमें जैव निम्नीकरणीय पदार्थों का अधिक उपयोग करना चाहिए।
  • जैव निम्नीकरणीय पदार्थों को खाद में बदल देना चाहिए तथा अजैव निम्नीकरणीय अपशिष्टों को चक्रण के लिए फैक्ट्री में भेज देना चाहिए।

क्रिया-कलाप – 15.1

  • संभवत: आपने एक जल जीवशाला (aquarium) देखी होगी। आइए इसे बनाने का प्रयास करते हैं।
  • जल जीवशाला बनाते समय हमें किन बातों का ध्यान रखना होगा ? मछलियों को तैरने के लिए पर्याप्त स्थान (एक बड़ा जार भी ले सकते हैं) जल, ऑक्सीजन एवं भोजन।
  • हम एक वायु पंप (वातित्र) द्वारा ऑक्सीजन पम्प कर सकते हैं तथा मछली का भोजन बाजार में उपलब्ध होता है।

क्रिया-कलाप के प्रश्नोत्तर

प्रश्न 1.
यदि हम इसमें कुछ पौधे लगा दें तो यह एक स्वनिर्वाह तंत्र बन जाएगा। क्या आप सोच सकते हैं कि यह कैसे होता है? एक जल जीवशाला मानव निर्मित पारितंत्र का उदाहरण है।
उत्तर:
पौधे प्रकाश संश्लेषण की क्रिया में O2  गैस छोड़ते हैं। यह O2 पौधों तथा जन्तुओं की श्वसन क्रिया में उपयोग की जाती है इस क्रिया में CO2 गैस निकलती CO2 प्रकाश संश्लेषण में काम आती है। इस प्रकार की जल जीवशाला आत्मनिर्भर बन जाती है।

प्रश्न 2.
क्या हम जल जीवशाला बनाने के उपरांत इसे ऐसे ही छोड़ सकते हैं? यदा-कदा इसकी सफाई की क्या आवश्यकता है? क्या हमें इसी प्रकार तालाबों एवं झीलों की सफाई भी करनी चाहिए? क्यों और क्यों नहीं?
उत्तर:
हम जल जीवशाला को ऐसे ही नहीं छोड़ सकते। इसे कभी-कभी साफ करने की आवश्यकता है क्योंकि यह पौधों तथा जन्तुओं की जैव प्रक्रियाओं द्वारा प्रदूषित हो जाती है। इसी प्रकार हमें तालाबों की सफाई की भी आवश्यकता है क्योंकि ये प्राकृतिक जल जीवशाला हैं। ये भी जीवों की प्रक्रियाओं द्वारा प्रदूषित होते रहते हैं।

क्रिया-कलाप के प्रश्नोत्तर

क्रिया-कलाप – 15.2

प्रश्न 1.
जल जीवशाला बनाते समय क्या आपने इस बात का ध्यान रखा कि ऐसे जलीय जीवों को साथ न रखें जो दूसरों को खा जाएँ। अन्यथा क्या हुआ होता? समूह बनाइए और चर्चा कीजिए कि उपर्युक्त समूहों में जीव एक-दूसरे पर किस प्रकार निर्भर करते हैं?
उत्तर:
यदि हम जल जीवशाला में ऐसे जीव या जन्तु रखें जो एक-दूसरे को खा जाते हैं वो जल जीवशाला नष्ट हैं क्योंकि वे एक-दूसरे को खा जाते हैं अतः विशेष ध्यान रखना चाहिए।

समूहों की एक-दूसरे पर निर्भरता – पादप, सूक्ष्म जीव तथा हरे शैवाल हरे पौधे उत्पादकों का समूह होता है। जो कि उपभोक्ता समूह (जन्तु सूक्ष्मजीव, जन्तु मछली आदि को O2 तथा भोजन प्रदान करते हैं। जन्तु का समूह CO2 अपमार्जक जन्तुओं के अपशिष्ट पदार्थों तथा मृतक शरीर को सरल पदार्थों में बदल देते हैं जोकि पौधे करते हैं।

प्रश्न 2.
जलीय जीवों के नाम उसी क्रम में लिखिए जिसमें एक जीव दूसरे जीव को खाता है तथा एक ऐसी श्रृंखला की स्थापना कीजिए जिसमें कम-से-कम तीन चरण हों।
उत्तर:
शैवाल → डाएटम → मछली

JAC Class 10 Science Solutions Chapter 15 हमारा पर्यावरण

प्रश्न 3.
क्या आप किसी एक समूह को सबसे अधिक महत्त्व का मानते हैं? क्यों अथवा क्यों नहीं?
उत्तर:
प्रथम पोषी स्तर में पौधे आते हैं ये स्वपोषी होते हैं। बिना पौधों के खाद्य श्रृंखला नहीं चल सकती अतः पौधों को विशेष महत्त्व दिया जाता है।

क्रिया-कलाप के प्रश्नोत्तर

क्रिया-कलाप – 15.3

प्रश्न 1.
समाचार-पत्रों में तैयार खाद्य सामग्री या भोज्य पदार्थों में पीड़क एवं रसायनों की मात्रा के विषय में प्राय: ही समाचार छपते रहते हैं। कुछ राज्यों ने इन पदार्थों पर रोक भी लगा दी है। इस प्रकार की रोक के औचित्य पर चर्चा कीजिए।
उत्तर:
हाँ, पीड़क तथा रसायनों पर रोक लगाना जरूरी है।

प्रश्न 2.
आपके विचार में इन खाद्य पदार्थों में पीड़कनाशियों का स्रोत क्या है? क्या यह पीड़कनाशी अन्य खाद्य स्रोतों के माध्यम से हमारे शरीर में पहुँच सकते हैं?
उत्तर:
विभिन्न फसलों को रोग एवं पीड़कों से बचाने के लिए पीड़कनाशक (Pesticides) एवं रसायन का प्रयोग किया जाता है, जो हमारे खाद्यान्न गेहूँ, चावल, सब्जियाँ, फल, माँस में पहुँच जाते हैं तथा मनुष्य में सर्वाधिक मात्रा में संचित हो जाते हैं। हाँ, ये अन्य खाद्य स्रोतों के माध्यम से भी हमारे शरीर में पहुँच सकते हैं।

प्रश्न 3.
किन उपायों द्वारा शरीर में इन पीड़कनाशियों की मात्रा कम की जा सकती है। चर्चा कीजिए।
उत्तर:

  • पीड़कनाशियों का उपयोग कम-से-कम करें।
  • पीड़कनाशियों जैसे D.D.T. के स्थान पर नीम जैसे प्राकृतिक पीड़कनाशी का प्रयोग करें।

क्रिया-कलाप के प्रश्नोत्तर

क्रिया-कलाप – 15.4

प्रश्न 1.
पुस्तकालय, इंटरनेट अथवा समाचार-पत्रों से पता लगाइए कि कौन-से रसायन ओजोन परत के अपक्षय के लिए उत्तरदायी हैं?
उत्तर:
मुख्यत: क्लोरोफ्लोओरो कार्बन (CFCs) द्वारा ओजोन परत में अपक्षय होता है।

प्रश्न 2.
पता लगाइए कि इन पदार्थों के उत्पादन एवं उत्सर्जन के नियमन सम्बन्धी कानून ओजोन क्षरण कम करने में कितने सफल रहे हैं। क्या पिछले कुछ वर्षों में ओजोन छिद्र के आकार में कुछ परिवर्तन आया है।
उत्तर:
हाँ, 1987 में संयुक्त राष्ट्र पर्यावरण कार्यक्रम (UNEP) में सर्वानुमति बनी कि CFCs के उत्पादन को 1986 के स्तर पर ही सीमित रखा जाए, जिससे ओजोन-छिद्र के आकार में हाल के वर्षों में कमी हुई।

क्रिया-कलाप – 15.5

  • अपने घर से कचरा एकत्र कीजिए। इसमें पूरे दिन में उत्पन्न कूड़ा-कचरा, जैसे कि रसोई का कूड़ा (संदूषित भोजन, सब्जियों के छिलके, चाय की उपयोग की गई पत्तियाँ, दूध की खाली थैली तथा खाली डिब्बे), रद्दी कागज, दवा की खाली बोतल / स्ट्रिप्स, बबल पैक, पुराने फटे कपड़े तथा टूटे जूते आदि सकते हैं।
  • इसे विद्यालय के बगीचे में एक गड्ढे में दबा दीजिए। यदि ऐसा स्थान उपलब्ध न हो तो इस कचरे को किसी पुरानी बाल्टी अथवा गमले में एकत्र करके उसे 15 em मोटी मिट्टी की गर्त से ढक दीजिए।
  • इसे नम रखिए तथा 15 दिनों के अंतराल पर इसका अवलोकन करते रहिए।

क्रिया-कलाप के प्रश्नोत्तर

प्रश्न 1.
वह कौन-से पदार्थ हैं जो लम्बे समय बाद भी अपरिवर्तित रहते हैं?
उत्तर:
दूध के पैकेट खाली डिब्बे, खाली दवा की बोतलें, स्ट्रिप्स तथा टूटे जूते।

प्रश्न 2.
वे कौन-से पदार्थ हैं जिनके स्वरूप एवं संरचना में परिवर्तन आता है?
उत्तर:
रसोई का कूड़ा, खराब भोजन, सब्जियों के छिलके, चाय की उपयोग की गयी पत्तियाँ, रद्दी कागज, पुराने फटे कपड़े।

प्रश्न 3.
जिन पदार्थों के स्वरूप में समय के साथ परिवर्तन आया है, उनमें कौन-से पदार्थ अतिशीघ्र परिवर्तित हुए हैं?
उत्तर:
संदूषित भोजन तथा सब्जियों के छिलके।

क्रिया-कलाप – 15.6
पुस्तकालय अथवा इंटरनेट द्वारा ‘जैव निम्नीकरणीय’ एवं ‘अजैव निम्नीकरणीय’ पदार्थों के विषय में अधिक जानकारी प्राप्त कीजिए।

क्रिया-कलाप के प्रश्नोत्तर

प्रश्न 1.
अजैव निम्नीकरणीय पदार्थ कितने समय तक पर्यावरण में इसी रूप में बने रह सकते हैं?
उत्तर:
ये पदार्थ निष्क्रिय होते हैं तथा पर्यावरण में लम्बे समय तक रहते हैं। ये पदार्थ दशक से शताब्दी तक में नष्ट होते हैं।

प्रश्न 2.
आजकल ‘जैव निम्नीकरणीय प्लास्टिक’ उपलब्ध हैं। इन पदार्थों के विषय में और अधिक जानकारी प्राप्त कीजिए तथा पता लगाइए कि क्या उनसे पर्यावरण को हानि हो सकती है अथवा नहीं।
उत्तर:
आजकल बहुत-सी जैव प्लास्टिक समाचारों में कुछ हैं- फैब्रिक बहुलक जैव निम्नीकरणीय प्लास्टिक अपेक्षाकृत जैव अनिम्नीकरणीय प्लास्टिक से कम हानि पहुँचाते हैं। फिर भी इनका अधिक उत्पादन व उपयोग लम्बे समय तक पदार्थों के चक्रण को प्रभावित करेगा और हैं इनमें से इनके अपघटक उत्पाद भूमि तथा जल प्रदूषण कर सकते हैं।

क्रिया-कलाप के प्रश्नोत्तर

क्रिया-कलाप – 15.7

प्रश्न 1.
पता लगाइए कि घरों में उत्पादित कचरे का क्या होता है? क्या किसी स्थान से इसे एकत्र करने का कोई प्रबंध है?
उत्तर:
हाँ, कचरे एक विशेष स्थान पर एकत्र करने का प्रबन्ध है।

प्रश्न 2.
पता लगाइए कि स्थानीय निकायों (पंचायत, नगरपालिका, आवास कल्याण समिति) द्वारा इसका निपटान किस प्रकार किया जाता है? क्या वहाँ जैव अपघटित तथा अजैव अपघटित कचरे को अलग-अलग करने की व्यवस्था है?
उत्तर:
जैव अपघटित तथा अजैव अपघटित कचरे की अलग व्यवस्था है तथा इनका निपटान अलग-अलग तरीकों से किया जाता है।

जैव अपघटित कचरे को खाद में बदल दिया जाता है। अजैव अपघटित कचरे तथा पदार्थों को पुनः चक्रण के लिए भेज दिया जाता है जिसमें बहुत अधिक समय (वर्षों) लगता है। यह गड्ढों, नीचे धँसी भूमि (Low land area) आदि को भरने में काम आता है।

प्रश्न 3.
गणना कीजिए कि एक दिन में घर से कितना कचरा उत्पादित होता है?
उत्तर:
लगभग 2 kg से 4kg रोजाना।

प्रश्न 4.
इसमें से कितना कचरा जैव निम्नीकरणीय है?
उत्तर:
लगभग 2 kg से 3 kg रोजाना।

प्रश्न 5.
गणना कीजिए कि कक्षा में प्रतिदिन कितना कचरा उत्पादित होता है?
उत्तर:
1\(\frac { 1 }{ 2 }\) kg से 2kg रोजाना।

JAC Class 10 Science Solutions Chapter 15 हमारा पर्यावरण

प्रश्न 6.
इसमें कितना कचरा जैव निम्नीकरणीय है?
उत्तर:
1 kg से 1\(\frac { 1 }{ 2 }\) kg रोजाना।

प्रश्न 7.
इस कचरे के निपटान के कुछ उपाय सुझाइये।
उत्तर:
कक्षा के कचरे में अधिकतर कागज, फलों के छिलके, बनी हुई सब्जी तथा ब्रेड के टुकड़े होते हैं। ये अधिकतर जैव अपघटित पदार्थ हैं और इनका कम्पोस्ट बनाकर स्कूल बगीचे में उपयोग किया जा सकता है।

क्रिया-कलाप के प्रश्नोत्तर

क्रिया-कलाप – 15.8

प्रश्न 1.
पता लगाइए कि आपके क्षेत्र में मल व्ययन की क्या व्यवस्था है? क्या वहाँ इस बात का प्रबंध है कि स्थानीय जलाशय एवं जल के अन्य स्रोत अनउपचारित वाहित मल से प्रभावित न हों ?
उत्तर:
शहर के विभिन्न भागों से प्रदूषित जल को इकट्ठा किया जाता है तथा इसे जल चक्रण केन्द्रों पर भेज दिया जाता है। यह सीवेज को एक बड़े टैंक में एकत्र किया जाता है तथा आधुनिक तकनीकी से इसका उपचार किया जाता है जैसे ग्राइडिंग, सैटलिंग, उदासीनीकरण, जैविक उपचार तथा क्लोरीनीकरण आदि उचित उपचार के बाद जल को नदी अथवा दूसरे स्रोतों में छोड़ दिया जाता है जहाँ इसका पुनः चक्रण किया जाता है।

प्रश्न 2.
अपने क्षेत्र में पता लगाइए कि स्थानीय उद्योग अपने अपशिष्ट (कूड़े-कचरे एवं तरल अपशिष्ट) के निपटान का क्या प्रबंध करते हैं? क्या वहाँ इस बात का प्रबंधन है जिससे सुनिश्चित हो सके कि इन पदार्थों से भूमि तथा जल का प्रदूषण नहीं होगा ?
उत्तर:
विभिन्न औद्योगिक इकाइयाँ अपने अपशिष्ट जल का उपचार विभिन्न तरीकों से करते हैं। इसके बाद इसे नदी आदि में छोड़ दिया जाता है। उपचार की विधियाँ अपशिष्ट जल में उपस्थित रसायनों पर निर्भर करती हैं।

क्रिया-कलाप के प्रश्नोत्तर

क्रिया-कलाप – 15.10

प्रश्न 1.
इंटरनेट अथवा पुस्तकालय की सहायता से. पता लगाएँ कि इलेक्ट्रॉनिक वस्तुओं के निपटान के समय किन खतरनाक वस्तुओं से आपको सुरक्षापूर्वक छुटकारा पाना है? ये पदार्थ पर्यावरण को किस प्रकार प्रभावित करते हैं?
उत्तर:
हानिकारक व खतरनाक पदार्थ – इलेक्ट्रॉनिक आइटम तार, काँच के टुकड़े, प्लास्टिक आदि के साथ लैंड, सिलिकॉन तथा कैडमियम भी होते हैं। ये बहुत विषैले होते हैं। ये मानव व दूसरे जन्तुओं की जनसंख्या को प्रभावित करते हैं। ये जल व भूमि प्रदूषण के कारण होता है। इनके कारण फेफड़े, परिसंचरण एवं वृक्क की गम्भीर बीमारी उत्पन्न होती हैं।

पर्यावरण में इन रसायनों का जैविक आवर्धन होता है तथा यह अधिक मात्रा में मानव शरीर में एकत्र हो जाते हैं। परिणामस्वरूप शरीर की मेटाबोलिज्म प्रभावित होती है जिससे गम्भीर बीमारियाँ हो जाती हैं।

प्रश्न 2.
पता लगाइए कि प्लास्टिक का पुनः चक्रण किस प्रकार होता है? क्या प्लास्टिक के पुनः चक्रण का पर्यावरण पर कोई समाघात होता है?
उत्तर:
प्लास्टिक के चक्रण में प्लास्टिक को पिघलाकर कुछ रसायनों जैसे सल्फर तथा एस्फाल्ट में मिलाकर सड़क बनाने के काम आता है। इस प्रक्रिया में हानिकारक गैसें वायु में मिल जाती हैं तथा वायु प्रदूषण होता है। कभी-कभी प्लास्टिक को विलायकों में घोल दिया जाता है तब यह रंगहीन हो जाता है या विभिन्न रंगों में मिला देते हैं। अन्त में प्लास्टिक अलग कर लिया जाता है तथा पुनः चक्रण को भेज देते हैं। इस प्रकार विलायक वाष्पित हो जाता है और वायु प्रदूषण फैलता है।

JAC Class 10 Science Important Questions Chapter 4 कार्बन एवं इसके यौगिक

Jharkhand Board JAC Class 10 Science Important Questions Chapter 4 कार्बन एवं इसके यौगिक Important Questions and Answers.

JAC Board Class 10 Science Important Questions Chapter 4 कार्बन एवं इसके यौगिक

अतिलघु उत्तरीय प्रश्न

प्रश्न 1.
निम्नलिखित यौगिकों के संरचना सूत्र लिखिए-
(i) मेथेन
(iii) एथिलीन
(v) बेन्जीन
(vii) ऐसीटिक एसिड।
उत्तर:
JAC Class 10 Science Important Questions Chapter 4 कार्बन एवं इसके यौगिक 1

प्रश्न 2.
(i) एथेनॉल (ii) ऐसीटिक एसिड के के हाइड्रोकार्बन भाग तथा क्रियात्मक समूह भाग के संरचना सूत्र अलग-अलग लिखिए।
उत्तर:
JAC Class 10 Science Important Questions Chapter 4 कार्बन एवं इसके यौगिक 2

प्रश्न 3.
(i) एथिलीन (ii) एथिल ऐल्कोहॉल (iii) ऐसीटिक एसिड के आई. यू. पी. ए. सी. नाम लिखिए।
उत्तर:

  • एथीन
  • एथेनॉल
  • एथेनोइक एसिड

प्रश्न 4.
एथिलीन की सजातीय श्रेणी का नाम तथा सामान्य सूत्र लिखिए।
उत्तर:
एल्कीन श्रेणी: CnH2n

प्रश्न 5.
एथिलीन में कार्बन परमाणुओं के बीच कैसा बंध होता है: एकल, द्विक् अथवा त्रिक्?
उत्तर:
द्विक् – बंध (double bond), – C = C –

प्रश्न 6.
C2H6O तथा C2H4O2 अणुसूत्रों में से कौन-सा सूत्र ऐल्कोहॉल का है तथा कौन-सा कार्बोक्सिलिक एसिड का?
उत्तर:
C2H6O – ऐल्कोहॉल (C2H5OH)
C2H4O2 – कार्बोक्सिलिक अम्ल (CH3COOH)।

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प्रश्न 7.
कैसे प्राप्त कीजियेगा-
(i) एथिलीन से एथेन
(ii) ऐसीटिलीन से एथिलीन
(iii) मेथिल आयोडाइड से मेथेन
(iv) एथिल ऐल्कोहॉल से एथिलीन
(v) एथिलीन से एथेनॉल
(vi) एथिलीन से फॉर्मेल्डिहाइड
(vii) मेथेन से एथेन
(viii) मेथेन से फॉर्मेल्डिहाइड या मेथेनॉल
(ix) एथिलीन से एथिलीन ग्लायकॉल
(x) ऐसीटिक अम्ल से मेथेन
(xi) एथिलीन से एथिल ब्रोमाइड
(xii) एथेनॉल से डाईएथिल ईथर
(xiii) एथेनॉल से एसिटल्डिहाइड
(xiv) ऐसीटिक एसिड से एथिल ऐसीटेट
(xv) तेल या वसा से साबुन
(xvi) ऐसीटिक अम्ल से एथेनॉल
(xvii) एथिल ऐल्कोहॉल से क्लोरोफॉर्म
(xviii) एथिलीन से मस्टर्ड गैस
उत्तर:
(i) एथिलीन से एथेन- एथिलीन को
निकिल की उपस्थिति में 200-300°C पर हाइड्रोजन में प्रवाहित करने पर एथेन गैस प्राप्त होती है।
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(ii) ऐसीटिलीन को 200°C ताप पर निकिल की उपस्थिति में हाइड्रोजन से संयोग कराने पर एथिलीन तथा बाद में एथेन मिलता है।
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(iii) मेथिल आयोडाइड के Zn-Cu युग्म तथा एथिल ऐल्कोहॉल की अभिक्रिया से प्राप्त नवजात हाइड्रोजन द्वारा उपचयन से प्राप्त करते हैं।
2C2H5OH + Zn → (C2H5O)2 Zn+ 2H
C3I + 2H → CH4 + HI

(iv) एथिल ऐल्कोहॉल की वाष्प को गर्म एलुमिना पर 350°C 380°C पर प्रवाहित करने पर एथिलीन प्राप्त होती है।
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(v) एथिलीन की सान्द्र H2SO4 से क्रिया कराने पर एथिल हाइड्रोजन सल्फेट बनता है जिसमें जल मिलाने पर एथिल ऐल्कोहॉल प्राप्त होती है।
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एथिलीन ओजोनाइड की जल से क्रिया कराने पर यह विच्छेदित होकर फॉर्मेल्डिहाइड देता है।
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(viii) मेथेन, ओजोन के साथ क्रिया कर फॉर्मेल्डिहाइड बनाता है।
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(x) CH3COOH + NaOH → CH3COON a + H2O
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(xi) एथिलीन एवं हाड्रो ब्रोमिक एसिड की योगात्मक क्रिया द्वारा :
C2H4 + Br → C2H5Br

(xii) सान्द्र H2SO4 द्वारा 140°C पर निर्जलीकरण से-
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(xiii) 300°C पर गर्म किये गये क्यूप्रिक ऑक्साइड पर एथेनॉल वाष्प प्रवाहित करने से।
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(xiv) सान्द्र H2SO4 की उपस्थिति में एथेनॉल से क्रिया द्वारा
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(xv) तेल या वसा को क्षार (NaOH / KOH) के साथ गर्म करने से।
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प्रश्न 8.
केवल समीकरण देकर बताइए, क्या होता है जब-
(i) एथिलीन तथा हाइड्रोजन को उच्च ताप पर निकिल पर प्रवाहित किया जाता है।
(ii) मेथेन का ओजोन से ऑक्सीकरण किया जाता है।
(iii) एथिलीन की क्रिया क्षारीय पोटैशियम परमैगनेट से होती है।
(iv) एथिलीन की क्रिया HOCI से होती है।
(v) एथिलीन की क्रिया ओजोन से होती है।
(vi) मेथेन की क्रिया सान्द्र नाइट्रिक एसिड से होती है।
(vii) मेथेन को वायु में जलाया जाता है।
(viii) (a) एथिलीन (b) एथेनॉल को वायु में जलाया जाता है।
(ix) सोडियम ऐसीटेट को कॉस्टिक सोडा तथा चूना के मिश्रण के साथ गर्म किया जाता है।
(x) एथिल ऐल्कोहॉल को सोडियम धातु के साथ क्रिया करते हैं।
उत्तर:
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प्रश्न 9.
एल्कीनों का सामान्य सूत्र क्या है?
उत्तर:
CnH2n.

प्रश्न 10.
एक कार्बनिक यौगिक कालिख ज्वाला के साथ जलता है। क्या यह संतृप्त है अथवा असंतृप्त?
उत्तर:
असंतृप्त।

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प्रश्न 11.
एथेनॉल की सोडियम से अभिक्रिया लिखो।
उत्तर:
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प्रश्न 12.
किन्हीं दो ऑक्सीकरण कारक उदाहरण दीजिए।
उत्तर:

  • क्षारीय पोटैशियम परमँगनेट (KMnO4)।
  • अम्लीकृत पोटैशियम डाइक्रोमेट (K2Cr2O7)

प्रश्न 13.
निम्न अभिक्रिया से क्या प्राप्त होता है?
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उत्तर:
असंतृप्त हाइड्रोकार्बन बनाने के लिए अभिक्रिया: 443 केल्विन (K) तापमान पर एथेनॉल को अत्यधिक सांद्र सल्फ्यूरिक अम्ल के साथ गर्म करने पर एथेनॉल का निर्जलीकरण होकर एथीन बनता है।
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इस अभिक्रिया में सल्फ्यूरिक अम्ल निर्जलीकारक के रूप में काम करता है जो एथेनॉल से जल को अलग कर देता है।

प्रश्न 14.
कार्बनिक यौगिकों में (i) योगात्मक, (ii) प्रतिस्थापन क्रिया का एक उदाहरण समीकरण द्वारा दीजिए।
उत्तर:
JAC Class 10 Science Important Questions Chapter 4 कार्बन एवं इसके यौगिक 18

प्रश्न 15.
किन्हीं दो असंतृप्त हाइड्रोकार्बन के संरचना सूत्र तथा उनके नाम लिखिए।
उत्तर:
JAC Class 10 Science Important Questions Chapter 4 कार्बन एवं इसके यौगिक 19

प्रश्न 16.
किसी ऐरोमैटिक हाइड्रोकार्बन का नाम तथा संरचना सूत्र लिखिए।
उत्तर:
JAC Class 10 Science Important Questions Chapter 4 कार्बन एवं इसके यौगिक 20

प्रश्न 17.
एथिलीन से मस्टर्ड गैस के निर्माण का समीकरण लिखिए।
उत्तर:
JAC Class 10 Science Important Questions Chapter 4 कार्बन एवं इसके यौगिक 21

प्रश्न 18.
‘बहुलीकरण’ क्रिया का एक उदाहरण दीजिए।
उत्तर:
JAC Class 10 Science Important Questions Chapter 4 कार्बन एवं इसके यौगिक 22

प्रश्न 19.
कच्चे फलों को पकाने के लिए किस गैस का उपयोग किया जाता है? नाम तथा संरचना सूत्र लिखिए।
उत्तर:
एथिलीन C2H4

प्रश्न 20.
एन्जाइम क्रिया से ग्लूकोस से एथेनॉल बनने की क्रिया का समीकरण लिखिए।
उत्तर:
JAC Class 10 Science Important Questions Chapter 4 कार्बन एवं इसके यौगिक 23

प्रश्न 21.
‘सिरका’ में कौन-सा एसिड होता है? नाम तथा सूत्र लिखिए।
उत्तर:
ऐसीटिक एसिड: CH3COOH।

प्रश्न 22.
ऐसीटिक एसिड के अणु में कितने हाइड्रोजन परमाणु होते हैं? इसमें से कितने परमाणु इसकी अम्लीय क्रिया भाग लेते हैं?
उत्तर:
4 हाइड्रोजन परमाणु केवल एक।

प्रश्न 23.
ऐसीटिक एसिड की क्षारकता कितनी है?
उत्तर:
एक।

प्रश्न 24.
एथेनॉल (C2H5OH) में (-OH) समूह होता है। क्या यह क्षारक (Alkali) है? कारण देकर बताइए।
उत्तर:
किसी क्षारक जैसे NaOH का -OH समूह आयन (OH) के रूप में होता है जो किसी अम्ल के H+ आयन से क्रिया करके H2O बनाता है। परन्तु एथेनॉल, C2H5OH का आयनीकरण नहीं होता- अतः इसकी किसी अम्ल से क्रिया H+ से नहीं होती। अतः यह क्षारक नहीं है।

[टिप्पणी : C2H5OH की CH3COOH से क्रिया में एथेनॉल का H परमाणु CH3COOH के -OH समूह क्रिया करके जल बनाता है।]

प्रश्न 25.
ऐसीटिक एसिड के आयनीकरण का समीकरण लिखिए।
उत्तर:
CH3COOH → H+ + CH3COO

प्रश्न 26.
अणुसूत्र लिखिए-

  1. सोडियम पामिटेट
  2. सोडियम स्टियरेट
  3. सोडियम ओलिएट

उत्तर:

  1. C15H31COONa
  2. C17H35COONa
  3. C17H31COONa

प्रश्न 27.
‘साबुनीकरण’ क्रिया के अभिकर्मकों तथा उत्पादों के नाम लिखिए।
अथवा
साबुन के निर्माण की रासायनिक अभिक्रिया समीकरण द्वारा दर्शाएँ। इस अभिक्रिया का नाम भी लिखिए।
उत्तर:
JAC Class 10 Science Important Questions Chapter 4 कार्बन एवं इसके यौगिक 24

लघु उत्तरीय प्रश्न

प्रश्न 1.
उन यौगिकों के नाम लिखिए जिन पर जिंक (Zn) की अभिक्रिया से एथिलीन प्राप्त की जा सकती है।
उत्तर:
एथिलीन डाईहैलाइड / क्लोराइड / ब्रोमाइड / आयोडाइड अथवा 1, 2 – डाई हैलोएथेन
JAC Class 10 Science Important Questions Chapter 4 कार्बन एवं इसके यौगिक 25

प्रश्न 2.
आवश्यक समीकरण देकर मेथेन तथा एथिलीन पर ओजोन की अभिक्रिया लिखिए।
उत्तर:
JAC Class 10 Science Important Questions Chapter 4 कार्बन एवं इसके यौगिक 26

प्रश्न 3.
मेथेन तथा एथिलीन के दहन की अभिक्रियाएँ लिखिए।
उत्तर:

  • CH4 + 2O2 → CO2 + 2H2O
  • C2H4 + 3O2 → 2CO2 + 2H2O

प्रश्न 4.
दहन अभिक्रिया किसे कहते हैं? क्या ये ऑक्सीकरण अभिक्रियाएँ भी होती हैं?
उत्तर:
कार्बन या कार्बनिक यौगिकों को वायु में जलाने से CO2, ऊष्मा एवं प्रकाश मुक्त होती है, जिसे दहन कहा जाता है।
जैसे-
C + O2 → CO2 + ऊष्मा एवं प्रकाश
CH4 + 2O2 → CO2 + 2H2O ऊष्मा एवं प्रकाश हाँ, ये ऑक्सीकरण अभिक्रियाएँ भी हैं।

प्रश्न 5.
संकलन अभिक्रिया किसे कहते हैं? एक उदाहरण द्वारा स्पष्ट कीजिए।
उत्तर:
पैलेडियम अथवा निकिल जैसे उत्प्रेरकों की उपस्थिति में असंतृप्त हाइड्रोकार्बन का हाइड्रोजन के योग द्वारा संतृप्त हाइड्रोकार्बन में बदलना संकलन अभिक्रिया कहलाती है।
JAC Class 10 Science Important Questions Chapter 4 कार्बन एवं इसके यौगिक 27

प्रश्न 6.
प्रतिस्थापन अभिक्रिया किसे कहते हैं? एक उदाहरण देकर स्पष्ट कीजिए।
उत्तर:
जब
संतृप्त हाइड्रोकार्बन के हाइड्रोजन परमाणुओं को एक-एक करके क्लोरीन के परमाणुओं द्वारा प्रतिस्थापित ( हटाते) हैं, तो इसे प्रतिस्थापन अभिक्रिया कहते हैं।
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इसी प्रकार आगे भी Cl2 से अभिक्रिया होती है, तथा CCl4 (कार्बन टेट्राक्लोराइड) बनता है।

प्रश्न 7.
एथेनॉल के ऑक्सीकरण की अभिक्रिया लिखिए। क्षारीय KMnO4 को ऑक्सीकारक क्यों कहते हैं।
उत्तर:
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क्योंकि क्षारीय KMnO4 एथाइल ऐल्कोहॉल (एथेनॉल) में ऑक्सीकरण जोड़कर उसे एथेनॉइक अम्ल में आक्सीकृत कर देते हैं, इसलिए उसे ऑक्सीकारक कहा जाता है।

प्रश्न 8.
एथिलीन की बहुलीकरण क्रियाएँ लिखिऐ।
उत्तर:
JAC Class 10 Science Important Questions Chapter 4 कार्बन एवं इसके यौगिक 30

प्रश्न 9.
‘असंतृप्त’ तथा ‘संतृप्त’ प्रइड्रोकार्बनों का अन्तर एक-एक उदाहरण देकर समझाइए।
उत्तर:
असंतृप्त हाइड्रोकार्बनों में C पर माणुओं के बीच द्विक् (double) अथवा त्रिक् (triple) बंध होते हैं, जैसे
एथीन (H2C = CH2) ऐसीटिलीन (HC ≡CH) संतृप्त हाइड्रोकार्बन में C परमाणुओं के बीच केवल एकल बंध होता है जैसे एथेन (H3C – CH3)।

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प्रश्न 10.
‘डायास्टेस’, ‘माल्टेस’ तथा ‘जाथमेज’ क्या होते हैं? एथिल ऐल्कोहॉल के औद्योगिक निर्माण में इनका क्या कार्य है? रासायनिक समीकरण देकर बताइए।
उत्तर:
डायास्टेस, माल्टेस तथा जायमेज, एन्जाइम (विशेष प्रकार के नाइट्रोजनी कार्बनिक यौगिक) होते हैं जिनका उपयोग स्टार्च तथा शर्करा से ऐल्कोहॉल बनाने में किया जाता है-
JAC Class 10 Science Important Questions Chapter 4 कार्बन एवं इसके यौगिक 31
एथिल ऐल्कोहॉल के निर्माण की औद्योगिक faferat (Industrial Methods of Forma- tion of Ethyl Alcohol)-
1. एथीन के जल अपघटन से-एथीन गैस को लगभग 80°C ताप एवं 30 वायुमण्डल दाब पर सान्द्र सल्फ्यूरिक अम्ल (H2SO4) में अवशोषित किया जाता है। इसमें एथिल हाइड्रोजन सल्फेट बनता है।
JAC Class 10 Science Important Questions Chapter 4 कार्बन एवं इसके यौगिक 32
एथिल हाइड्रोजन सल्फेट को जल के साथ गर्म करने से एथेनॉल बनता है।
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2. स्टार्च या शीरा (Molasses) से स्टार्च [C6H10O5)n]को माल्ट निष्कर्ष (malt extract), जिसमें डायास्टेस (rliastase) एन्जाइम होता है के साथ 60°C पर गर्म किया जाता है। इससे स्टार्च का परिवर्तन माल्टोज शर्करा (raaltose sugar) में हो जाता है।
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अब माल्टोज विलयन अथवा शीरा का 20% विलयन यीस्ट (yeast) के साथ मिलाकर 30°C पर 4 दिनों तक रखा जाता है यीस्ट में उपस्थित एन्जाइम माल्टेज (Maltase) तथा जायमेज (zymase), माल्टोज शर्करा को पहले ग्लूकोस (glucose) में, तत्पश्चात् एथेनॉल में बदल देते हैं।
JAC Class 10 Science Important Questions Chapter 4 कार्बन एवं इसके यौगिक 35

प्रश्न 11.
सोडियम की एथेनॉल से क्रिया का आवश्यक समीकरण लिखिए। यह क्रिया, सोडियम की जल से अभिक्रिया से क्या समानता है? समीकरण देकर समझाइए।
उत्तर:
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दोनों अभिक्रियाओं में सोडियम परमाणु -OH समूह से H को विस्थापित कर देता है तथा -O. Na समूह बनाता है।

प्रश्न 12.
एथेनॉल की सान्द्र सल्फ्यूरिक एसिड से अभिक्रिया के समीकरण लिखिए, जब अभिक्रिया में (i) एथेनॉल का, (ii) सल्फ्यूरिक एसिड का आधिक्य हो।
उत्तर:
JAC Class 10 Science Important Questions Chapter 4 कार्बन एवं इसके यौगिक 37

प्रश्न 13.
‘एस्टरीकरण’ (esterification) अभिक्रिया एक उदाहरण देकर समझाइए। यह क्रिया ‘उदासीनीकरण’ से समान प्रतीत होते हुए भी किस प्रकार भिन्न होती है। एस्टरीकरण पर संक्षिप्त टिप्पणी लिखिए। उत्तर:
एस्टरीकरण में किसी ऐल्कोहॉल (जैसे एथेनॉल) तथा किसी अम्ल (जैसे ऐसीटिक एसिड) की पारस्परिक क्रिया से एस्टर तथा जल बनता है।
उदाहरण-
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उदासीनीकरण में कोई एसिड किसी क्षार से क्रिया करके लवण तथा जल बनाता है :
उदाहरण-
JAC Class 10 Science Important Questions Chapter 4 कार्बन एवं इसके यौगिक 39
दोनों अभिक्रियाओं में जल का अणु बनता है परन्तु एस्टरीकरण में एसिड के -OH समूह से ऐल्कोहॉल के H परमाणु का निर्माण होता हैं तथा एस्टर में (CH3COO) तथा (C2H5)+ आयन नहीं होते हैं।

इसके विपरीत उदासीनीकरण में ऐसिड के H+ आयन का संयोग क्षार के OH आयन से होकर जल बनता है तथा लवण में (CH3COO) तथा Na+ आयन होते हैं।

प्रश्न 14.
एथेनॉल से ऐसीटिक एसिड का सीधा निर्माण कैसे किया जाता है? आवश्यक समीकरण देकर बताइए।
उत्तर:
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प्रश्न 15.
‘साबुन’ की रासायनिक प्रकृति, उदाहरण देकर स्पष्ट कीजिए।
उत्तर:
‘साबुन’ (soap ) उच्च अणुभार के वसीय अम्लों के सोडियम अथवा पोटैशियम लवण होते हैं।
जैसे-

  • C15H31COO.Na ( सोडियम पामिटेट)
  • C17H33COO.K (पोटैशियम स्टियरेट)
  • C17H31COO.Na (सोडियम ओलिएट)

प्रश्न 16.
उदाहरण देकर ‘साबुनीकरण’ का अर्थ समझाइए।
अथवा
साबुनीकरण पर टिप्पणी लिखिए।
उत्तर:
साबुनीकरण- तेल अथवा वसा (जो उच्च अणुभार के कार्बोक्सिलिक एसिडों के ग्लिसरॉल से संयोग से बने एस्टर होते हैं) पर क्षार की अभिक्रिया (जल अपघटन) से साबुन (उच्च अणुभार के एवं कार्बोक्सिलिक एसिडों के सोडियम / पोटैशियम बनने की अभिक्रिया को ‘साबुनीकरण’ कहते हैं।
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सामान्यीकृत रूप से किसी एस्टर के क्षार द्वारा जल-अपघटन को ही साबुनीकरण कहते हैं।
जैसे-
JAC Class 10 Science Important Questions Chapter 4 कार्बन एवं इसके यौगिक 42

प्रश्न 17.
श्रेष्ठ साबुन के क्या गुण होने चाहिए?
उत्तर:
श्रेष्ठ साबुन के निम्नलिखित गुण होने चाहिए-

  • साबुन में किसी प्रकार का स्वतन्त्र क्षार नहीं होना चाहिए।
  • साबुन चिकना (खुरदुरा नहीं) होना चाहिए।
  • साबुन भंगुर (Brittle) नहीं होना चाहिए।
  • साबुन ऐल्कोहॉल (एथेनॉल) में विलेय होना चाहिए।

प्रश्न 18.
साबुन घोलने पर जल के पृष्ठ तनाव पर क्या प्रभाव पड़ता है? यह कपड़े की सफाई करने में किस प्रकार सहायक होता है?
उत्तर:
साबुन घोलने पर जल का पृष्ठ तनाव कम हो जाता है पृष्ठ तनाव कम हो जाने से साबुन युक्त जल, कपड़े के तन्तुओं के भीतर आसानी से प्रवेश करके तेल/ वसा का कोलॉइडी विलयन बना लेता है तथा जल में मिश्रित मैल/ धूल के कण जल के साथ बह कर कपड़े से निकल जाते हैं।

प्रश्न 19.
साबुन क्या है? किसी एक साबुन का सूत्र व नाम लिखिए।
अथवा
साबुन पर पर संक्षिप्त टिप्पणी लिखिए।
उत्तर:
साबुन- उच्च अणुभार के कार्बनिक एसिडों (जिन्हें वसीय एसिड भी कहते हैं) के सोडियम अथवा पोटैशियम लवणों को साबुन (soap) कहते हैं।
जैसे-

  • सोडियम पामिटेट – C15H31. COO Na
  • सोडियम स्टियरेट – C17H33.COO.Na
  • सोडियम ओलिएट – C17H31.COO.Na
  • पोटैशियम पामिटेट – C15H31.COO.K
  • पोटैशियम स्टियरेट – C17H33.COO.K
  • पोटैशियम ओलिएट – C17H31.COO.K

प्रश्न 20.
क्या होता है, जब-
(i) मेथिल सायनाइड का तनु अम्ल से जल अपघटन किया जाता है।
(ii) एसिटामाइड की नाइट्स अम्ल से क्रिया होती है।
(iii) एथिल एल्कोहाल को सान्द्र सल्फ्यूरिक अम्ल के साथ 160°C – 170°C तक गर्म किया जाता है।
उत्तर:
JAC Class 10 Science Important Questions Chapter 4 कार्बन एवं इसके यौगिक 43

प्रश्न 21.
क्या होता है जबकि –
(i) ऐसीटिक अम्ल को P2O5 के साथ गर्म किया जाता है।
(ii) एथिलीन सल्फर मोनो क्लोराइड के साथ
(iii) एथिल एल्कोहॉल की अधिक मात्रा को सान्द्र सल्फ्यूरिक अम्ल के साथ गर्म किया जाता है।
उत्तर:
JAC Class 10 Science Important Questions Chapter 4 कार्बन एवं इसके यौगिक 44

दीर्घ उत्तरीय प्रश्न

प्रश्न 1.
एथिलीन से एथिल ऐल्कोहॉल बनाने की विधि का रासायनिक समीकरण दीजिए। एथिल ऐल्कोहॉल की निम्न अभिक्रियाओं को स्पष्ट कीजिए-
(i) अमोनिया से
(ii) फॉस्फोरस पेण्टाक्लोराइड से
(iii) हैलोफॉर्म अभिक्रिया।
उत्तर:
एथिलीन से एथिल एल्कोहॉल – एथिलीन की क्रिया सान्द्र H2SO4 से 80°C ताप व 30 वायुमण्डल दाब पर कराने पर प्राप्त यौगिक को जल के साथ गर्म करने पर एथिल ऐल्कोहॉल बनता है-
JAC Class 10 Science Important Questions Chapter 4 कार्बन एवं इसके यौगिक 45

प्रश्न 2.
मृदु एवं कठोर साबुन क्या होते हैं? इसकी स्वच्छीकारक क्रिया को समझाइए।
अथवा
मृदु साबुन पर संक्षिप्त टिप्पणी लिखिए।
उत्तर:
कठोर साबुन सोडियम साबुन कठोर साबुन कहलाते हैं। जैसे – C17H35COONa (सोडियम स्टियरेट)

मृदु साबुन – पोटैशियम साबुन मुलायम या मृदा साबुन कहलाते हैं।

जैसे – C12H35COOK (पोटैशियम स्टियरेट)

साबुन की सफाई प्रक्रिया – साबुन के अणु के दो भिन्न भाग होते हैं। एक भाग हाइड्रोकार्बन शृंखला का होता हैं जो अध्रुवीय (non-polar) होता है तथा तेल या वसा में विलेय होता है तथा दूसरा भाग कार्बोक्सिलेट आयन होता है जो ध्रुवीय (polar) तथा जल में विलेय होता है।

उदाहरणत:
एक साबुन सोडियम के दो भाग निम्नवत् हैं-
जब साबुन को जल में डाला जाता है तो साबुन के बना लेते हैं कि उनका कार्बोक्सिल समूह जल के भीतर अणु जल के बाह्य तल पर एक अणु मोटी ऐसी पर्त समाया रहता है तथा हाइड्रोकार्बन श्रृंखला जल के तल के ऊपर हाइड्रोकार्बन की पर्त बना लेती है।

अब जब किसी मैले कपड़े को जाता है तो कपड़े धूल, धुआँ आदि के सूक्ष्म कणों से युक्त तेल / वसा के कणों को अपने में घोल लेता है। इस डुबोया क्रिया में मैल युक्त तेल की बूँद एक गोले के रूप में होती है जिसमें तेल में विलेय हाइड्रोकार्बन शृंखलाएँ फँसी रहती हैं तथा जल में विलेय कार्बोक्सिलेट आयन इस बूँद के पृष्ठ के चारों ओर एक जल स्नेही (hydrophilic ) पर्त बना लेते हैं। (चित्र B) इससे तेल की सूक्ष्म बूँदों का यह समूह (micelles) जल में घुलकर उसके साथ कपड़े से अलग होकर बह जाता है। यदि जल में साबुन न धुला हो तो मैल युक्त तैलीय बूँदें जलरोधी (hydrophobic) होने के कारण कपड़े से ही चिपकी रहती हैं तथा जल में नहीं घुलतीं।
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ऐसा पाया गया है, कि साबुन के अणु जल के बाह्य पृष्ठ पर ही एकत्र होने के कारण उसके पृष्ठ तनाव (surface tension) को घटा देते हैं, जिससे जल में झाग (सूक्ष्म बूँदों का समूह ) बनता है पृष्ठ तनाव कम हो जाने के कारण साबुन युक्त जल का झाग कपड़े के तन्तुओं के भीतर आसानी से प्रवेश करके तेल / वसा का कोलॉइडी विलयन (emulsion) बना लेता है। जल में धुली हुई मैल युक्त ये तेल-बूँदें जल के साथ बहकर कपड़े से निकल जाती है।

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प्रश्न 3.
स्टार्च से एथिल ऐल्कोहॉल के निर्माण में होने वाली अभिक्रियाओं के समीकरण लिखिए। इससे केवल समीकरण दीजिए। आयोडोफॉर्म तथा डाइएथिल ईथर कैसे प्राप्त करेंगे?
उत्तर:
स्टार्च से एथिल ऐल्कोहॉल-
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(i) एथिल ऐल्कोहॉल से आयोडोफॉर्म-
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(ii) एथिल ऐल्कोहॉल से डाईएथिल ईथर-
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प्रश्न 4.
परिशुद्ध ऐल्कोहॉल, परिशोधित स्पिरिट तथा विकृत स्पिरिट क्या होते हैं? एथिल ऐल्कोहॉल के चार मुख्य उपयोग लिखिए।
उत्तर:

  • परिशुद्ध ऐल्कोहॉल – 100 प्रतिशत शुद्ध ऐल्कोहॉल परिशुद्ध ऐल्कोहॉल कहलाता है।
  • परिशोधित स्पिरिट – 93-95 प्रतिशत शुद्ध ऐल्कोहॉल परिशोधित स्पिरिट कहलाता है।
  • विकृत स्पिरिट – परिशोधित स्पिरिट जिसमें मेथिल एल्कोहॉल और अन्य विषैले पदार्थ मिले होते हैं विकृत स्पिरिट कहलाता है।

एथिल ऐल्कोहॉल के उपयोग (Uses of Ethyl Alcohol) इसके निम्नलिखित उपयोग हैं-

  • विलायक के रूप में,
  • ऐसीटिक अम्ल, क्लोरोफॉर्म आदि के निर्माण में,
  • पूतिनाशक के रूप में,
  • मादक पेय के रूप में।

प्रश्न 5.
निम्नलिखित परीक्षणों के आधारभूत कारण सुझाइए।
(a) कार्बन से बने यौगिकों की संख्या अत्यंत अधिक है।
(b) जब ज्वाला पर खाना बनाने वाले बर्तन काले पड़ने लगें तो गैस बर्नरों के वायु छिद्रों में समयोजन करना पड़ता है।
(c) संश्लेषित अपमार्जकों के उपयोग से जल प्रदूषित हो जाता है।
उत्तर:
(a) कार्बन से बने यौगिकों की संख्या अत्यंत अधिक चतु: संयोजकता, शृंखलन तथा समावयवता के कारण होते हैं। चतुःसंयोजकता का तात्पर्य है इसकी संयोजकता 4 है, जिसके कारण बड़ी संख्या में अन्य चार परमाणु जुड़ सकते हैं। कार्बन परमाणु का कार्बन के साथ जुड़ना श्रृंखलन तथा समान अणुसूत्र परंतु भिन्न-भिन्न संरचना के कारण भी इसके यौगिकों की संख्या अधिक होती है, जिन्हें समावयवता कहते हैं।

(b) वायु छिद्र अवरुद्ध होने के कारण ईंधन को पर्याप्त मात्रा में ऑक्सीजन की आपूर्ति नहीं हो पाती है तथा पूर्ण दहन नहीं होता है, जिससे धुआँ निकलता है और ईंधन व्यर्थ होता है। अतः गैस बर्नरों के छिद्रों को समायोजित करना पड़ता है ताकि पर्याप्त मात्रा में ऑक्सीजन समृद्ध मिश्रण का दहन हो सकें।

(c) डिटरजेंट (संश्लेषित अपमार्जक) अजैव-विघटनीय (Non-biodegradable) होते हैं, जिसके कारण जल प्रदूषित होता है तथा जलीय जीव-जन्तु एवं जलीय परितंत्र प्रभावित होता है।

प्रश्न 6.
(a) सिरका क्या होता है? (b) एक रासायनिक समीकरण लिखकर वर्णन कार्बोनेट, एथेनॉइक अम्ल से अभिक्रिया करता है। कीजिए कि क्या होता है, जब सोडियम हाइड्रोजन
उत्तर:
(a) एसीटिक अम्ल का 5 8% विलयन सिरका कहलाता है।

(b) एथेनॉइक अम्ल, सोडियम हाइड्रोजन कार्बोनेट से अभिक्रिया करके, सोडियम एसीटेट, कार्बन डाइऑक्साइड और जल बनाता है।
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प्रश्न 7.
संतृप्त और असंतृप्त हाइड्रोकार्बन में क्या अन्तर है? प्रत्येक के लिए एक-एक उदाहरण दीजिए।
उत्तर:
संतृप्त और असंतृप्त हाइड्रोकार्बन में निम्नलिखित अन्तर पाये जाते हैं-

संतृप्त हाइड्रोकार्बन असंतृप्त हाइड्रोकार्बन
1. इसमें दो कार्बन परमाणुओं के बीच एकल आबंध या बंध (Single bond) होता है। 1. इसमें कार्बन-कार्बन के बीच द्वि-आबंध या त्रि-आबंध होते हैं।
2. यह नीली जवाला के साथ जलती है। 2. एक कज्जली धुएँ के साथ (Sooty flame) जलती है।
3. इसमें प्रतिस्थापन अभिक्रिया होती है। 3. इसमें संकलन अभिक्रिया होती है।
4. यह अपेक्षाकृत कम अभिक्रियाशील होते हैं।
जैसे-मेथेन (Methane): CH4
एथेन (Ethane): C2H6
4. यह अधिक अभिक्रियाशील होते हैं।
जैसे-एथीन (Ethene): C2H4 या
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एथाइन (Ethyne): C2H2
या H – C ≡ C – H

प्रश्न 8.
समावयवता की व्याख्या कीजिए। समावयवियों की कोई चार विशेषताएँ लिखिए। ब्यूटेन के संभव समावयवियों की संरचना चित्रित कीजिए।
उत्तर:
समावयवता – समावयव एक ऐसा गुण है, जिसमें दो या दो से अधिक कार्बनिक यौगिकों के अणुसूत्र हैं। ऐसे समान होते हैं परन्तु संरचना भिन्न-भिन्न होती कार्बनिक यौगिकों को समावयव कहते हैं तथा इस परिघटना को समावयवता कहते हैं।

समावयवियों की चार विशेषताएँ:

  • समावयवियों के अणुसूत्र समान होते हैं।
  • समावयवियों के संरचना सूत्र भिन्न-भिन्न होते हैं।
  • समावयवियों के भौतिक गुण भिन्न होते हैं।
  • समावयवियों के रासायनिक गुण भिन्न होते हैं।
    ब्यूटेन (C4H10) के दो समावयव होते हैं:
    JAC Class 10 Science Important Questions Chapter 4 कार्बन एवं इसके यौगिक 52

प्रश्न 9.
हाइड्रोकार्बन क्या हैं? (a) संतृप्त सामान्य सूत्र लिखिए तथा प्रत्येक प्रकार के एक हाइड्रोकार्बन (b) असंतृप्त हाइड्रोकार्बनों का नाम तथा हाइड्रोकार्बन की संरचना को दर्शाइए। किसी असंतृप्त हाइड्रोकार्बन को किस प्रकार संतृप्त बनाया जा सकता है?
उत्तर:
केवल कार्बन और हाइड्रोजन वाले कार्बनिक यौगिकों को हाइड्रोकार्बन कहते हैं।
(a) संतृप्त हाइड्रोकार्बन-वे कार्बनिक यौगिक जिनमें कार्बन कार्बन के बीच एकल आबंध (-) हो संतृप्त हाइड्रोकार्बन कहलाते हैं, इसे एल्केन कहते हैं।
सामान्य सूत्र – CnH2n + 2
जहाँ n = 1, 2, 3, ….
जब n = 1, तो CH4 मेथेन, जब = 2
जब C2H6 एथेन
जब n = 3, तो C3H8 प्रोपेन
इसी प्रकार, ब्यूटेन, पेन्टेन, हेक्सेन, ऑक्टेन इत्यादि।
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(b) असंतृप्त हाइड्रोकार्बन-
(i) एल्कीन-वे असंतृप्त हाइड्रोकार्बन जिसमें एक या एक से अधिक द्वि-आबंध (=) हो।
सामान्य सूत्र – CnH2n
जहाँ n = 2, 3, 4,
जब = 2 तो C2H4 एथीन
JAC Class 10 Science Important Questions Chapter 4 कार्बन एवं इसके यौगिक 54
सामान्य नाम – एथिलीन
IUPAC नाम एथीन

(ii) एल्काइन – ऐसे असंतृप्त हाइड्रोकार्बन जिसमें या एक से अधिक त्रि-आबंध कार्बन कार्बन के बीच हो।
सामान्य सूत्र – CnH2n-2 जहाँ, n = 2, 3, 4 है।
जब n = 2, C2H2
JAC Class 10 Science Important Questions Chapter 4 कार्बन एवं इसके यौगिक 55
सामान्य नाम एसीटिलीन
IUPAC नाम एथाइन
असंतृप्त हाइड्रोकार्बन को संतृप्त हाइड्रोकार्बन में संकलन अभिक्रिया द्वारा बदला जाता है। इसमें पैलेडियम, Ni जैसे उत्प्रेरकों की उपस्थिति भी अनिवार्य होती है।
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यह अभिक्रिया हाइड्रोजनीकरण अभिक्रिया भी कहलाती है।

प्रश्न 10.
रासायनिक दृष्टि से अपमार्जक क्या हैं? सफाई के लिए अपमार्जकों के उपयोग के दो लाभ एवं दो हानियों की सूची बनाइए। उन स्थानों पर भी, जहाँ जल में कैल्सियम आयन होते हैं, घुलाई के लिए
उत्तर:
अपमार्जकों के उपयुक्त होने का कारण लिखिए। कार्बोक्सिलिक अम्ल श्रृंखला के अमोनियम एवं रासायनिक दृष्टि से अपमार्जक लंबी सल्फोनेट लवण होते हैं।

लाभ-

  • अपमार्जक कठोर जल के साथ भी कार्य करते हैं तथा झाग उत्पन्न करता है जबकि साबुन कठोर जल के साथ ठीक से कार्य नहीं करता है।
  • अपमार्जक साबुन की तुलना में अच्छे सफाई एजेंट हैं।

हानियाँ-

  • कुछ अपमार्जक जैवविघटनीय (biodegradable) नहीं होते अर्थात् बैक्टीरिया द्वारा इनका विघटन नहीं हो पाता है जिससे जल प्रदूषण बढ़ता है।
  • जलीय पौधे जैसे एलगे ( algae) की वृद्धि हो जाती है, जिससे जल में ऑक्सीजन की कमी (deoxy-genation of water) होती है और जलीय जीव मर जाते हैं। कैल्सियम तथा मैग्नीशियम आयन वाले जल में भी अपमार्जक धुलाई के लिए उपयुक्त होते हैं, क्योंकि अपमार्जक के आवेशित सिरा कैल्सियम और मैग्नीशियम आयनों के साथ अघुलनशील पदार्थ (Scum) नहीं बनाते हैं। इस तरह अपमार्जक कठोर जल के साथ भी प्रभावी (effective) बने रहते हैं।

प्रश्न 11.
किण्वन विधि द्वारा एथिल ऐल्कोहॉल कैसे प्राप्त करोगे? सम्बन्धित अभिक्रिया लिखिए एवं इसके चार रासायनिक गुणधर्म लिखिए। अथवा किण्वन विधि द्वारा एथिल एल्कोहॉल से ऐसीटिक अम्ल बनाने की विधि का रासायनिक समीकरण सहित वर्णन कीजिए। इसकी निम्न के साथ रासायनिक अभिक्रिया लिखिए।
(i) PCl5
(ii) CH3OH
(iii) NaOH
(iv) NH3
(v) Cl2
उत्तर:
किण्वन विधि द्वारा एथिल ऐल्कोहॉल (Ethyl Method)- Alcohal by Fermentation-
सुक्रोज में यीस्ट (Yeast) मिलाकर विलयन को 30-35° के बीच ताप पर रख दिया जाता है तो यीस्ट में उपस्थित इन्वर्टेस एन्जाइम शर्करा को ग्लूकोज और फ्रक्टोज में परिवर्तित कर देता है।
JAC Class 10 Science Important Questions Chapter 4 कार्बन एवं इसके यौगिक 57
यीस्ट में उपस्थित दूसरा एन्जाइम जाइमेज ग्लूकोज और फ्रक्टोज मिश्रण को एथेनॉल में परिवर्तित कर देता है।
JAC Class 10 Science Important Questions Chapter 4 कार्बन एवं इसके यौगिक 58
किण्वन विधि द्वारा एथिल एल्कोहॉल से एसीटिक अम्ल (Acetic Acid by Ethyl Alcohol) –
अम्लीकृत पोटैशियम डाइक्रोमेट से एथेनाल को अम्लीकृत पोटैशियम डाइक्रोमेट विलयन से साथ क्रिया कराने पर, एथेनॉल का ऑक्सीकरण होकर एसीटिक अम्ल बनता है।

रासायनिक गुण (Chemical Properties) –
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1. PCl5 से अभिक्रिया :
C2H5-OH + PCl5 → C2H5Cl+ POCl3 + HCl

2. CH3OH से अभिक्रिया :
CH3CH2OH + O → CH3CHO + H2O
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3. NaOH से अभिक्रियाः
JAC Class 10 Science Important Questions Chapter 4 कार्बन एवं इसके यौगिक 61

4. NH3 से अभिक्रिया :
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5. Cl2 से अभिक्रिया :
C2H5OH + Cl2 → CH3CHO + 2HCl
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प्रश्न 12.
साबुन क्या है? एक साबुन का सूत्र लिखिए। इसके निर्माण में प्रयुक्त होने वाले पदार्थों के नाम लिखिए। साबुन के निर्माण की किसी एक विधि का वर्णन कीजिए। अच्छे साबुन में कौन-से गुण होने चाहिए?
अथवा
साबुनीकरण पर संक्षिप्त टिप्पणी लिखिए।
उत्तर:
साबुन तथा साबुनीकरण (Soaps and Saponification) – उच्च अणुभार के कार्बनिक एसिडों (जिन्हें वसीय एसिड (fatty acids) भी कहते हैं) के सोडियम अथवा पोटैशियम लवणों को साबुन (soap) कहते हैं। ये एसिड मुख्यतः

  • पामीटिक एसिड (C15H31COOH)
  • स्टियरिक एसिड (C17H33COOH) तथा
  • ओलिक एसिड (C17H31COOH) हैं।

इनके सोडियम तथा पोटैशियम लवण निम्नवत् होते हैं-

सोडियम पामीटेट (Sodium Palmitate) C15H31COONa
सोडियम स्टियरेट (Sodium Stearate) C17H33COONa
सोडियम ओलिएट (Sodium Oleate) C17H31COONa
पोटैशियम पामीटेट (Potassium Palmitate) C15H31 COO.K
पोटैशियम स्टियटेट (Potassium Stearate) C17H33COO.K
पोटैशियम ओलिएट (Potassium Oleate) C17H31COO.K

सोडियम लवणों को कठोर साबुन (Hard soap ) तथा पोटैशियम लवणों को मृदु साबुन (Soft soap ) कहते हैं।

साबुन का निर्माण तेलों (oils) अथवा वसाओं (fats) पर कास्टिक सोडा (NaOH) अथवा कास्टिक पोटाश (KOH) की क्रिया से होता है तेल (जैसे नारियल का तेल, तिल का तेल, मछुआ का तेल आदि) तथा वसा (जैसे जानवरों की चर्बी ) उपर्युक्त वसीय एसिडों तथा ग्लिसरॉल ( ग्लिसरीन ) के संयोग से बने यौगिक होते हैं. जिन्हें ग्लिसराइड (glycerides) कहते हैं। तेलों तथा अभिक्रिया को निम्नवत् लिखा जा सकता है-
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तेल या वसा पर क्षार की अभिक्रिया से साबुन बनने की क्रिया की साबुनीकरण (soaponification) कहते हैं। हमारे प्रयोग में आने वाले कपड़ा धोने के साबुन

(4) द्रव साबुन (Liquid soap)- कठोर साबुन होते हैं। नहाने, दाढ़ी बनाने आदि के साबुन मृदु साबुन होते हैं।
श्रेष्ठ साबुन के गुण (Properties of Quality Soap):

  • साबुन खुरदरा नहीं वरन चिकना होना चाहिए।
  • साबुन में किसी प्रकार का अप्रयुक्त (स्वतन्त्र) क्षार नहीं होना चाहिए।
  • साबुन ऐल्कोहॉल में विलेय होना चाहिए।
  • साबुन भंगुर (Brittle) नहीं होना चाहिए अर्थात् प्रयोग करते समय चटखना या टूटना नहीं चाहिए।

विशेष प्रकार के साबुन (Soap of Special Type) :
(1) पारदर्शी साबुन (Transparent Soap ) – वास्तव में ये प्रकाश के लिए पारभासी (transluscent) होते हैं, इनमें कुछ ग्लिसरॉल तथा ऐल्कोहॉल मिला रहता है जो इन्हें पारभासी बनाता है।
(विज्ञापनों में बहुधा पारभासिता को साबुन की शुद्धता का सूचक कहा जाता है, जो भ्रामक तथा निरर्थक प्रचार है।)

(2) औषधियुक्त साबुन (Medicated Soap ) – इनमें त्वचा के रोगों के उपचार अथवा निवारण हेतु कोई कीटनाशक पदार्थ जैसे नीम का तेल, 0.5% फिनॉल (कार्बोलिक साबुन में) मिला रहता है।

(3) शेविंग साबुन (Shaving soap ) – इनमें ग्लिसरॉल तथा गोंद (gum) मिला रहता है जो झाग को शीघ्र सूखने से रोकता है। इनमें 70 से 85% तक जल होता है। इन्हें नारियल के तेल पर कास्टिक पोटाश की क्रिया से बनाया जाता है।

कपड़ा धोने के साबुन तथा नहाने के साबुन में अन्तर
(Differences between Bath Soap and Wash Soap)

कपड़ा धोने का साबुन नहाने का साबुन
1. घटिया किस्म के तेल या वसा से बनाये जाते हैं। 1. उच्च कोटि का तेल (लाई) का प्रयोग किया जाता है।
2. कपड़ा धोने के साबुन में पूरक पदार्थ जैसे-स्टार्च, सोडियम सिलिकेट आदि मिलाये जाते हैं। 2. नहाने के साबुन में पूरक पदार्थ नहीं मिलाये जाते हैं।
3. प्रायः अरुचिकर गन्ध को दबाने के लिए सामान्य प्रकार की सुगन्ध मिलाते हैं। 3. इसमें अच्छे प्रकार की सुगन्ध (Perfumes) मिलाये जाते हैं।
4. कपड़ा धोने के साबुन में हानिकारक क्षार मिला होता है। 4. नहाने के साबुन में हानिकारक क्षार की मात्रा नहीं होती।
5. यह प्रायः कठोर होता है, क्योंकि इसे कास्टिक सोडा से बनाते हैं। 5. यह प्रायः मृदु होता है, क्योंकि इसे कास्टिक पोटाश से बनाते हैं।

बहुविकल्पीय प्रश्न

1. एथीन की हाइड्रोजन ब्रोमाइड के साथ अभिक्रिया है-
(a) योगात्मक
(b) बहुलीकरण
(c) संघनन
(d) प्रतिस्थापन
उत्तर:
(a) योगात्मक

2. C2H5OH का नाम है-
(a) मेथेनॉल
(b) एथनॉल
(c) मेथेनल
(d) एथेनल
उत्तर:
(b) एथनॉल

3. निम्न में से मेथेनाइक अम्ल है-
(a) CH3OH
(b) C2H5COOH
(c) C2H5OH
(d) HCOOH
उत्तर:
(d) HCOOH

4. एल्कोहॉल में क्रियात्मक समूह है-
(a) – OH
(b) – CHO
(c) – COOH
(d) > C = 0
उत्तर:
(a) – OH

5. एल्कोहॉल निम्न के साथ हाइड्रोजन गैस उत्पन्न करते हैं-
(a) Zn के साथ
(b) Fe के साथ
(c) Al के साथ
(d) Na के साथ
उत्तर:
(d) Na के साथ

6. कार्बनिक अम्लों में उपस्थित क्रियात्मक समूह है-
(a) – OH
(b) – CHO
(c) – COOH
(d) > C = 0
उत्तर:
(c) – COOH

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7. एथनॉल को एसीटिक अमल के साथ सान्द्र सल्फ्यूरिक अमल की उपस्थिति में गर्म किया जाता है, उत्पाद होगा-
(a) एल्डीहाइड
(b) मिथाइल एसीटेट
(c) एथायल एसीटेट
(d) एसीटिक एनहाइड्राइड
उत्तर:
(c) एथायल एसीटेट

8. कौन-सा कथन असत्य है-
(a) अपमार्जक प्रदूषण की दृष्टि से सुरक्षित है।
(b) साबुन प्रदूषण की दृष्टि से सुरक्षित है।
(c) अपमार्जक कठोर जल में प्रभावशाली है
(d) साबुन कठोर जल में प्रभावशाली नहीं है।
उत्तर:
(a) अपमार्जक प्रदूषण की दृष्टि से सुरक्षित है।

9. साबुन है-
(a) सल्फोनिक अम्लों के सोडियम लवण जिनमें 10 से 16 कार्बन हैं
(b) वसा अम्लों के सोडियम लवण जिनमें 16 से 18 कार्बन हैं
(c) ट्राइहाइड्रॉक्सी ऐल्कोहॉल के सोडियम लवण
(d) उपर्युक्त सभी।
उत्तर:
(b) वसा अम्लों के सोडियम लवण जिनमें 16 से 18 कार्बन हैं

10. ऐसीटिक एसिड में क्रियात्मक समूह है-
(a) > C = 0
(b) – OH
(c) – COOH
(d) – CHO
उत्तर:
(c) – COOH

11. C2H5.HSO4 को 160°C 170°C ताप तक गर्म करने पर बनता है-
(a) CH4
(b) C2H6
(c) C2H4
(d) (C2H5)2O
उत्तर:
(c) C2H4

12. ठण्डे जल से क्रिया करके मेथेन बनाता है-
(a) कैल्सियम कार्बोनेट
(b) कैल्सियम कार्बाइड
(c) एलुमिनियम कार्बोनेट
(d) एलुमिनियम कार्बाइड
उत्तर:
(d) एलुमिनियम कार्बाइड

13. डीजल तेल में कार्बन परमाणुओं की संख्या है-
(a) C3-C5
(b) C16-C18
(c) C11-C16
(d) C4-C11
उत्तर:
(b) C16-C18

14. किसी एल्कीन का सूत्र है-
(a) C4H10
(b) C4H6
(c) C4H8
(d) C4H12
उत्तर:
(c) C4H8

15. एथेनोइक एसिड (आई. यू. पी. ए. सी. प्रणाली में) का साधारण नाम है-
(a) फॉर्मिक एसिड
(b) ऐसीटिक एसिड
(c) प्रोपियोनिक एसिड
(d) ऐसीटोन
उत्तर:
(b) ऐसीटिक एसिड

16. ब्यूटेनोन में क्रियात्मक समूह है-
(a) > C = 0
(b) CHO
(c) – OH
(d) – COOH
उत्तर:
(a) > C = 0

17. पैलेडियम अथवा निकिल उत्प्रेरक की उपस्थिति में तेल, हाइड्रोजन से अभिकृत कराने पर बसा देते हैं।
यह उदाहरण है, एक-
(a) संकलन अभिक्रिया
(b) प्रतिस्थापन अभिक्रिया का
(c) विस्थापन अभिक्रिया का
(d) ऑक्सीकरण अभिक्रिया का
उत्तर:
(a) संकलन अभिक्रिया

18. निम्नलिखित यौगिकों में से किसमें – OH एक क्रियात्मक समूह है।
(a) ब्यूटेनोन
(b) ब्यूटेनॉल
(c) ब्यूटेनोइक अम्ल
(d) ब्यूटेनल
उत्तर:
(b) ब्यूटेनॉल

19. साबुन के अणु में होता है-
(a) जलरागी शीर्ष तथा जलविरागी पूँछ
(b) जलविरागी शीर्ष तथा जलरागी पूँछ
(c) जलविरागी शीर्ष तथा जलविरागी पूँछ
(d) जलरागी शीर्ष तथा जलरागी पूँछ
उत्तर:
(b) जलविरागी शीर्ष तथा जलरागी पूँछ

JAC Class 10 Science Important Questions Chapter 4 कार्बन एवं इसके यौगिक

20. अपमार्जक के बारे में क्या सत्य है?
(a) लंबी कार्बोक्सिलिक अम्ल श्रंखला के अमोनियम एवं सल्फेट लवण होते हैं।
(b) कार्बोनिक अम्ल का सोडियम लवण है।
(c) ये जैवविघटनीय होते हैं।
(d) इसमें से कोई नहीं।
उत्तर:
(a) लंबी कार्बोक्सिलिक अम्ल श्रंखला के अमोनियम एवं सल्फेट लवण होते हैं।

21. सिरका एक विलयन है-
(a) एल्कोहॉल में 40%-50% ऐसीटिक अम्ल
(b) एल्कोहॉल में 5%-50% ऐसीटिक अम्ल
(c) जल 5%-8% ऐसीटिक अम्ल
(d) जल में 40%-50% ऐसीटिक अम्ल
उत्तर:
(c) जल 5%-8% ऐसीटिक अम्ल

22. निम्नलिखित में से कौन एक समजातीय श्रेणी से संबंधित नहीं है?
(a) CH4
(b) C2H6
(c) C3H8
(d) C4H8
उत्तर:
(d) C4H8

23. यौगिक CH3 – CH2 – CHO का नाम है-
(a) प्रोपेनल
(b) प्रोपेनोल
(c) एथेनॉल
(d) एथेनल
उत्तर:
(a) प्रोपेनल

24. CH2 – CH2 – O – CH2 – CH2Cl में
उपस्थित विषम परमाणु है-
(i) ऑक्सीजन
(ii) कार्बन
(iii) हाइड्रोजन
(iv) क्लोरीन
(a) (i) तथा (ii)
(b) (ii) तथा (iii)
(c) (iii) तथा (iv)
(d) (i) तथा (iv)
उत्तर:
(d) (i) तथा (iv)

25. सामान्य सूत्र CnH2n+2 वाले हाइड्रोकार्बन हैं-
(a) एल्केन
(b) एल्कीन
(c) एल्काइन
(d) एल्काइल
उत्तर:
(a) एल्केन

26. निम्नलिखित में से कौन सहसंयोजक आबंध को परिभाषित करता है?
(a) इलेक्ट्रॉनों का स्थानान्तरण होता है।
(b) इलेक्ट्रॉनों की साझेदारी होती है।
(c) कुछ इलेक्ट्रॉनों की साझेदारी होती है तथा कुछ का स्थानान्तरण होता है।
(d) इनमें से कोई नहीं।
उत्तर:
(b) इलेक्ट्रॉनों की साझेदारी होती है।

27. कार्बोक्सिल अम्ल के सोडियम लवण हैं-
(a) अपमार्जक
(b) साबुन
(c) डिटरजेंट
(d) शैम्पू
उत्तर:
(b) साबुन

28. वायुमंडल में कार्बन निम्नलिखित में से किस रूप में रहता है?
(a) केवल कार्बन मोनोक्साइड
(b) अल्प मात्रा में कार्बन मोनोक्साइड तथा कार्बन
(c) केवल कार्बन डाइऑक्साइड
(d) कोयला
उत्तर:
(b) अल्प मात्रा में कार्बन मोनोक्साइड तथा कार्बन

29. JAC Class 10 Science Important Questions Chapter 4 कार्बन एवं इसके यौगिक 65
उपर्युक्त अभिक्रिया में क्षारीय KMnO4 किस रूप में कार्य करता है?
(a) अपचायक
(b) ऑक्सीकारक
(c) उत्प्रेरक
(d) निर्जलीकारक
उत्तर:
(a) अपचायक

रिक्त स्थानों की पूर्ति कीजिए

  1. उच्च अणुभार वाले हाइड्रोकार्बनों को गर्म करके निम्नतर हाइड्रोकार्बनों में तोड़ने की प्रक्रिया ……………….. कहलाती है।
  2. एक कार्बनिक यौगिक का वह भाग जो उसके गुणों को निर्धारित करता है ……………….. कहलाता है।
  3. ……………….. की उपस्थिति में एक असंतृप्त हाइड्रोकार्बन में हाइड्रोजन के योग की क्रिया हाइड्रोजनीकरण कहलाती है।
  4. – COOH ऐसे यौगिक जिनके अणुसूत्र तो समा होते हैं लेकिन संरचना सूत्र भिन्न होते हैं ……………… कहलाते हैं।
  5. क्रियात्मक समूह वाले कार्बनिक यौगिक ……………… कहलाते हैं।
  6. ……………… का सामान्य सूत्र CnH2n+1OH है।

उत्तर:

  1. भंजन
  2. क्रियात्मक समूह
  3. उत्प्रेरक
  4. समावयव
  5. कार्बनिक या कार्बोक्सिलिक अम्ल
  6. ऐल्कोहॉल।

JAC Class 10 Science Solutions Chapter 13 विद्युत धारा का चुम्बकीय प्रभाव

Jharkhand Board JAC Class 10 Science Solutions Chapter 13 विद्युत धारा का चुम्बकीय प्रभाव Textbook Exercise Questions and Answers.

JAC Board Class 10 Science Solutions Chapter 13 विद्युत धारा का चुम्बकीय प्रभाव

Jharkhand Board Class 10 Science विद्युत धारा का चुम्बकीय प्रभाव Textbook Questions and Answers

अभ्यास प्रश्न (पृष्ठ संख्या-269-270)

प्रश्न 1.
निम्नलिखित में से कौन किसी लंबे विद्युत धारावाही तार के निकट चुम्बकीय क्षेत्र का सही वर्णन करता है ?
(a) चुम्बकीय क्षेत्र की क्षेत्र रेखाएँ तार के लम्बवत् होती हैं।
(b) चुम्बकीय क्षेत्र की क्षेत्र रेखाएँ तार के समान्तर होती हैं।
(c) चुम्बकीय क्षेत्र की क्षेत्र रेखाएँ अरीय होती हैं जिनका उद्भव तार से होता है।
(d) चुम्बकीय क्षेत्र की संकेन्द्री क्षेत्र रेखाओं का केन्द्र तार होता है।
उत्तर:
(d) चुम्बकीय क्षेत्र की संकेन्द्री क्षेत्र रेखाओं का केन्द्र तार होता है।

प्रश्न 2.
वैद्युतचुम्बकीय प्रेरण की परिघटना-
(a) किसी वस्तु को आवेशित करने की प्रक्रिया है।
(b) किसी कुण्डली में विद्युत धारा प्रवाहित होने के कारण चुम्बकीय क्षेत्र उत्पन्न करने की प्रक्रिया है।
(c) कुण्डली तथा चुम्बक के बीच आपेक्षिक गति के कारण कुण्डली में प्रेरित विद्युत धारा उत्पन्न करना है।
(d) किसी विद्युत मोटर की कुण्डली को घूर्णन कराने की प्रक्रिया
उत्तर:
(c) कुण्डली तथा चुम्बक के बीच आपेक्षिक गति के कारण कुण्डली में प्रेरित विद्युत धारा उत्पन्न करना है।

प्रश्न 3.
विद्युत धारा उत्पन्न करने की युक्ति को कहते हैं-
(a) जनित्र
(b) गैल्वेनोमीटर
(c) ऐमीटर
(d) मोटर
उत्तर:
(a) जनित्र

प्रश्न 4.
किसी ac जनित्र तथा de जनित्र में एक मूलभूत अंतर यह है कि
(a) ac जनित्र में विद्युत चुम्बक होता है जबकि de मोटर स्थायी चुम्बक होता है।
(b) de जनित्र उच्च वोल्टता का जनन करता है।
(c) ae जनित्र उच्च वोल्टता का जनन करता है।
(d) ae जनित्र में सर्पी वलय होते हैं जबकि de जनित्र में दिक्परिवर्तक होता है।
उत्तर:
(d) ac जनित्र में सर्पों वलय होते हैं जबकि de जनित्र में दिक्परिवर्तक होता है।

प्रश्न 5.
लघुपथन के समय परिपथ में विद्युत धारा का मान
(a) बहुत कम हो जाता है।
(b) परिवर्तित नहीं होता।
(c) बहुत अधिक बढ़ जाता है।
(d) निरंतर परिवर्तित होता है।
उत्तर:
(c) बहुत अधिक बढ़ जाता है।

JAC Class 10 Science Solutions Chapter 13 विद्युत धारा का चुम्बकीय प्रभाव

प्रश्न 6.
निम्नलिखित प्रकथनों में कौन-सा सही है तथा कौन-सा गलत है, इसे प्रकथन के सामने अंकित कीजिए-
(a) विद्युत मोटर यांत्रिक ऊर्जा को विद्युत ऊर्जा में रूपांतरित करता है।
(b) विद्युत जनित्र वैद्युत चुम्बकीय प्रेरण के सिद्धान्त पर कार्य करता है।
(c) किसी लम्बी वृत्ताकार विद्युत धारावाही कुण्डली के केन्द्र पर चुम्बकीय क्षेत्र समान्तर सीधी क्षेत्र रेखाएँ होता है।
(d) हरे विद्युतरोधन वाला तार प्रायः विद्युन्मय तार होता है।
उत्तर:
(a) असत्य
(b) सत्य
(c) सत्य
(d) असत्य।

प्रश्न 7.
चुम्बकीय क्षेत्र को उत्पन्न करने के दो तरीकों की सूची बनाइए।
उत्तर:

  • एक प्राकृतिक चुम्बक के चारों तरफ चुम्बकीय क्षेत्र होता है।
  • एक धारावाही सीधा चालक के चारों तरफ चुम्बकीय क्षेत्र होता है।
  • एक धारावाही परिनालिका के चारों तरफ चुम्बकीय क्षेत्र होता है।

प्रश्न 8.
परिनालिका चुम्बक की भाँति कैसे व्यवहार करती है? क्या आप किसी छड़ चुम्बक की सहायता से किसी विद्युत धारावाही परिनालिका के उत्तर ध्रुव तथा का दक्षिण ध्रुव का निर्धारण कर सकते हैं?
उत्तर:
पास-पास लिपटे विद्युतरोधी ताँबे के तार की आकृति की अनेक फेरों वाली कुण्डली को परिनालिका कहते हैं। धारावाही परिनालिका का एक सिरा दक्षिणी ध्रुव एवं दूसरा सिरा उत्तरी ध्रुव की तरह कार्य करता है। परिनालिका के अन्दर चुम्बकीय क्षेत्र रेखाएँ परस्पर समानान्तर होती हैं। इसका मतलब है कि परिनालिका के केन्द्र पर विद्युत क्षेत्र सबसे अधिक होता है तथा सभी जगह एकसमान होता है।
JAC Class 10 Science Solutions Chapter 13 विद्युत धारा का चुम्बकीय प्रभाव 1
हाँ, परिनालिका के उत्तरी ध्रुव एवं दक्षिणी ध्रुव की पहचान दिक्सूचक से कर सकते हैं। यदि दिक्सूचक की सुई का उत्तरी ध्रुव परिनालिका की ओर आकर्षित होता है। तो यह सिरा दक्षिणी ध्रुव होता है। इसी प्रकार उत्तरी ध्रुव की भी पहचान की जा सकती है।

प्रश्न 9.
किसी चुम्बकीय क्षेत्र में स्थित विद्युत धारावाही चालक पर आरोपित बल कब अधिकतम होता है?
उत्तर:
जब किसी धारावाही चालक को चुम्बकीय क्षेत्र में रखा जाता है तो उस पर कार्यरत बल के लिए निम्नलिखित होता है-
F = BIL sin θ
B = चुम्बकीय क्षेत्र
I= धारा की शक्ति
L = चालक की लम्बाई
θ = धारावाही चालक एवं चुम्बकीय क्षेत्र की दिशा के बीच का कोण।
अतः F का मान जब θ = 90° होगा तो अधिकतम होगा अर्थात् चालक एवं चुम्बकीय क्षेत्र दोनों एक-दूसरे के लम्बवत हैं।

प्रश्न 10.
मान लीजिए आप किसी चैम्बर में अपनी पीठ को किसी एक दीवार से लगाकर बैठे हैं। कोई इलेक्ट्रॉन पुंज आपके पीछे की दीवार से सामने वाली दीवार की ओर क्षैतिजतः गमन करते हुए किसी प्रबल चुम्बकीय क्षेत्र द्वारा आपके दायीं ओर विक्षेपित हो जाता है। चुम्बकीय क्षेत्र की दिशा क्या है?
उत्तर:
चुम्बकीय क्षेत्र उस समतल के लम्बवत् दिशा में होगा जिस समतल में इलेक्ट्रॉन का प्रवाह एवं बल एक-दूसरे के लम्बवत् हो।

प्रश्न 11.
विद्युत मोटर का नामांकित आरेख खींचिए। इसका सिद्धान्त तथा कार्यविधि स्पष्ट कीजिए। विद्युत मोटर में विभक्त विलय का क्या महत्त्व है?
उत्तर:
सिद्धान्त – जब कोई विद्युत धारावाही चालक किसी चुम्बकीय क्षेत्र में इस प्रकार रखा जाता है कि चालक में प्रवाहित विद्युत धारा की चुम्बकीय क्षेत्र के लम्बवत् हो तो वह चालक एक बल का अनुभव करता है। इस बल के कारण वह चालक गति करने लग है।

कार्यविधि-बैटरी से से चलकर चालक ब्रुश X से होते हुए विद्युत धारा कुण्डली ABCD मैं प्रवेश करती है तथा चालक बुश Y से होते हुए बैटरी के दूसरे टर्मिनल वापस भी आ जाती है। कुण्डली में विद्युत धारा इसकी भुजा AB A से B की ओर तथा भुजा CD में C से D की ओर प्रवाहित। होती है।

अतः AB तथा CD में विद्युत धारा का दिशाएँ परस्पर विपरीत होती हैं। चुम्बकीय क्षेत्र में रखे विद्युत धारावाही चालक पर प बल की दिशा बल इसे अधोमुखी धकेलता है, जबकि भुजा CD पर आरोपित बल इसे उपरिमुखी धकेलता है। इस प्रकार किसी अक्ष पर घूमने के लिए स्वतंत्र कुण्डली तथा धुरी वामावर्त घूर्णन करते हैं। आधे घूर्णन में Q का संपर्क बुश X से होता है तथा P का संपर्क बुश Y से होता है। अतः कुडंली में विद्युत धारा उत्क्रमित होकर पथ DCBA के अनुदिश प्रवाहित होती है।
JAC Class 10 Science Solutions Chapter 13 विद्युत धारा का चुम्बकीय प्रभाव 2
विभक्त वलय का महत्त्व – विद्युत मोटर में विभक्त वलय दिक्परिवर्तक का कार्य करता है। विद्युत धारा के उत्क्रमित होने पर दोनों भुजाओं AB तथा CD पर आरोपित बलों की दिशाएँ भी उत्क्रमित हो जाती हैं। इस प्रकार कुण्डली की भुजा AB जो पहले अधोमुखी धकेली गई थी, अब उपरिमुखी धकेली जाती है तथा कुण्डली की भुजा CD जो पहले उपरिमुखी धकेली गई, अब अधोमुखी धकेली जाती है। अतः कुण्डली तथा धुरी उसी दिशा में अब आधा घूर्णन और पूरा कर लेती हैं। प्रत्येक आधे घूर्णन के पश्चात् विद्युत धारा के उत्क्रमित होने का क्रम दोहराता रहता है जिसके फलस्वरूप कुण्डली तथा धुरी का निरंतर घूर्णन होता रहता है।

प्रश्न 12.
ऐसी कुछ युक्तियों के नाम लिखिए जिनमें विद्युत मोटर उपयोग किए जाते हैं।
उत्तर:

  • कूलर
  • पंखा
  • एअरकंडीशनर,
  • पंप में विद्युत मोटर का उपयोग किया जाता है।

प्रश्न 13.
कोई विद्युतरोधी ताँबे के तार की कुण्डली किसी गैल्वेनोमीटर से संयोजित है। क्या होगा यदि कोई छड़ चुम्बक
(i) कुण्डली में धकेला जाता है?
(ii) कुण्डली के भीतर से बाहर खींचा जाता है?
(iii) कुण्डली के भीतर स्थिर रखा जाता है?
उत्तर:
(i) इस स्थिति में कुण्डली में प्रेरित धारा उत्पन्न होती है।

  • यदि उत्तरी ध्रुव कुण्डली में धकेलते हैं तो कुण्डली धारा की दिशा घड़ी की सुई की विपरीत दिशा में होती है।
  • यदि कुण्डली में दक्षिणी ध्रुव धकेलते हैं तो कुण्डली धारा की दिशा घड़ी की सुई की दिशा में होती है।

(ii) यदि कुण्डली से दक्षिणी ध्रुव चुम्बक को बाहर निकालोगे तो कुण्डली में धारा वामावर्ती दिशा में तथा यदि उत्तरी ध्रुव बाहर निकालोगे तो कुण्डली में धारा दक्षिणावर्ती दिशा में उत्पन्न होती है।

(iii) इस स्थिति में कुण्डली में धारा उत्पन्न नहीं होती है।

JAC Class 10 Science Solutions Chapter 13 विद्युत धारा का चुम्बकीय प्रभाव

प्रश्न 14.
दो वृत्ताकार कुण्डली A तथा B एक-दूसरे के निकट स्थित हैं। यदि कुण्डली A में विद्युत धारा में कोई परिवर्तन करें, तो क्या कुण्डली B में कोई विद्युत धारा प्रेरित होगी? कारण लिखिए।
उत्तर:
हाँ, प्रेरित धारा उत्पन्न होगी। कुण्डली A में धारा परिवर्तन के कारण A से होकर गुजरने में चुम्बकीय क्षेत्र रेखाओं की संख्या में परिवर्तन होने के कारण B में धारा प्रेरित होती है।

प्रश्न 15.
निम्नलिखित की दिशा को निर्धारित करने वाला नियम लिखिए-
(i) किसी विद्युत धारावाही सीधे चालक के चारों ओर उत्पन्न चुम्बकीय क्षेत्र
(ii) किसी चुम्बकीय क्षेत्र में, क्षेत्र के लम्बवत् स्थित, विद्युत धारावाही सीधे चालक पर आरोपित बल तथा
(iii) किसी चुम्बकीय क्षेत्र में किसी कुण्डली के घूर्णन करने पर उस कुण्डली में उत्पन्न प्रेरित विद्युत धारा।
उत्तर:
(i) किसी धारावाही चालक के चारों ओर चुम्बकीय क्षेत्र की दिशा मैक्सवेल के दक्षिण- हस्त नियम से ज्ञात किया जाता है।
मैक्सवेल का दक्षिण- हस्त नियम- यदि धारावाही चालक को दाहिने हाथ में इस प्रकार पकड़ें कि अँगूठा चालक में प्रवाहित धारा की दिशा को निर्देशित करे तो चालक को पकड़ने वाली अंगुलियों की दिशा चुम्बकीय क्षेत्र की दिशा होती है।

(ii) चुम्बकीय क्षेत्र में धारावाही चालक पर बल की दिशा फ्लेमिंग के वामहस्त नियम से ज्ञात की जाती है। इस नियम के अनुसार यदि बाएँ हाथ की प्रथम तीन अंगुलियों को एक-दूसरे के लम्बवत् इस प्रकार रखा जाए कि तर्जनी चुम्बकीय क्षेत्र की दिशा में एवं मध्यमा धारा की अंगूठे की दिशा चालक पर आरोपित बल दिशा प्रेरित की दिशा को दर्शाता है।

(iii) चुम्बकीय क्षेत्र में गतिशील चालक में उत्पन्न दिशा ज्ञात करने के लिए फ्लेमिंग के दाहिने हस्त के नियम इस नियम का उपयोग किया जाता है।
इस नियम के अनुसार यदि दाएँ हाथ की प्रथम तीन अंगुलियों को एक-दूसरे के लम्बवत् इस प्रकार रखें कि तर्जनी चुम्बकीय क्षेत्र की दिशा एवं अंगूठा चालक में गति की दिशा को दर्शांता है तो चालक में प्रेरित धारा की दिशा मध्यमा द्वारा सूचित होती है।

प्रश्न 16.
नामांकित आरेख खींचकर किसी विद्युत जनित्र का मूल सिद्धान्त तथा कार्यविधि स्पष्ट कीजिए। इसमें बुशों का क्या कार्य है?
उत्तर:
विद्युत जनित्र का सिद्धान्त-विद्युत जनित्र विद्युत चुम्बकीय प्रेरण के सिद्धान्त पर कार्य करता है अर्थात् परिवर्तनशील चुम्बकीय क्षेत्र के कारण चालक में विद्युत धारा प्रेरित होती है। फ्लेमिंग के दाएँ हस्त के नियम से प्रेरित धारा की दिशा ज्ञात करते हैं। विद्युत जनित्र में आर्मेचर शक्तिशाली चुम्बकों के ध्रुवों के बीच घुमाया जाता है जिसके कारण आर्मेचर से गुजरने वाली चुम्बकीय क्षेत्र रेखाओं की संख्या में परिवर्तन होता है तथा प्रेरित धारा उत्पन्न होती है।
JAC Class 10 Science Solutions Chapter 13 विद्युत धारा का चुम्बकीय प्रभाव 3
बनावट –

  • ABCD आर्मेचर अपने अक्ष के चारों तरफ घूर्णनशील होता है।
  • आर्मेचर पर अवरोधी ताँबे की तार की लपेटें होती हैं।
  • ताँबे की तारों की दो सिरे धातु के बने दो वलय S1 एवं S2 से जुड़े होते हैं। ये दोनों वलय स्थिर दो कार्बन ब्रुश B1 एवं B2 के सम्पर्क में रहते हैं।
  • दोनों ख़ुशों का सम्पर्क गैल्वेनोमीटर (G) से होता है।

कार्यविधि –

  • आर्मेचर को यांत्रिक रूप से दो शक्तिशाली चुम्बकों के ध्रुवों के बीच घुमाया जाता है।
  • दो वलय भी घूमते हैं किन्तु दोनों वलय अलग-अलग दोनों कार्बन बुशों के सम्पर्क में रहते हैं।
  • गति के समय जब AB भुजा ऊपर एवं CD नीचे की तरफ रहती है, आर्मेचर में धारा की दिशा A से B एवं CD होती है।
  • यदि आर्मेचर की भुजा CD ऊपर एवं AB नीचे हों तो फ्लेमिंग के दाएँ हस्त के नियम से धारा की दिशा D से C एवं B से A की तरफ हो जाती है।

इस प्रकार आर्मेचर के एक घूर्णन में धारा की दिशा दो बार परिवर्तित होती है। अतः इस यंत्र द्वारा प्रत्यावर्ती धारा उत्पन्न होती है।

प्रश्न 17.
किसी विद्युत परिपथ में लघुपथन कब होता है?
उत्तर:
जब घरेलू विद्युत परिपथ में विद्युतमन्य तार एवं उदासीन तार एक-दूसरे के सम्पर्क में आ जाते हैं तो परिपथ मैं धारा का मान बहुत अधिक हो जाता है। इस घटना को लघुपथन कहते हैं।

प्रश्न 18.
भूसंपर्क तार का क्या कार्य है? धातु के आवरण वाले विद्युत साधित्रों को भूसंपर्कित करना क्यों आवश्यक है?
उत्तर:
किसी विद्युत उपकरण के धात्विक भाग को तार की मदद से पृथ्वी के सम्पर्क करने वाले तार को भूसम्पर्क तार कहते हैं। यह तार सुरक्षा यंत्र के रूप में विद्युत परिपथ में उपयोग में लाया जाता है। यदि किसी भी प्रकार से उपकरण में विद्युत धारा आ जाती है तो यह पृथ्वी को स्थानांतरित हो जाती है जिसके फलस्वरूप कोई दुर्घटना होने से बच जाती है।

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पाठगत प्रश्न (पृष्ठ संख्या-250)

प्रश्न 1.
चुम्बक के निकट लाने पर दिक्सूचक की सुई विक्षेपित क्यों हो जाती है?
उत्तर:
वास्तव में दिक्सूचक की सुई एक छोटा छड़ चुम्बक ही होती है। किसी दिक्सूचक की सूई के दोनों सिरे लगभग उत्तर और दक्षिण दिशाओं की ओर संकेत करते हैं। उत्तर दिशा की ओर संकेत करने वाले सिरे का उत्तरोमुखी ध्रुव अथवा उत्तर ध्रुव कहते हैं। दूसरा सिरा जो दक्षिण दिशा की ओर संकेत करता है उसे दक्षिणोमुखी ध्रुव अथवा दक्षिण ध्रुव कहते हैं।

हम जानते हैं कि चुम्बकों में सजातीय ध्रुवों में परस्पर प्रतिकर्षण तथा विजातीय ध्रुवों में परस्पर आकर्षण होता है। अतः चुम्बक के निकट लाने पर दिक्सूचक की सूई विक्षेपित हो जाती है।

पाठगत प्रश्न (पृष्ठ संख्या – 255)

प्रश्न 1.
किसी छड़ चुम्बक के चारों ओर चुम्बकीय क्षेत्र रेखाएँ खींचिए।
उत्तर:
किसी छड़ चुम्बक के चारों ओर चुम्बकीय क्षेत्र रेखाएँ-
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प्रश्न 2.
चुम्बकीय क्षेत्र रेखाओं के गुणों की सूची बनाइए।
उत्तर:
चुम्बकीय क्षेत्र रेखाओं के गुण निम्नलिखित हैं-

  • चुम्बकीय क्षेत्र रेखाएँ चुम्बक के उत्तर ध्रुव से प्रकट होती हैं तथा दक्षिण ध्रुव पर विलीन हो जाती हैं।
  • चुम्बक के भीतर चुम्बकीय क्षेत्र रेखाओं की दिशा उसके दक्षिण ध्रुव से उत्तर ध्रुव की ओर होती है।
  • चुम्बकीय क्षेत्र रेखाएँ एक बंद वक्र बनाती हैं।
  • जहाँ पर चुम्बकीय क्षेत्र रेखाएँ अपेक्षाकृत अधिक निकट होती हैं वहाँ चुम्बकीय क्षेत्र अधिक प्रबल होता है।
  • दो चुम्बकीय क्षेत्र रेखाएँ कहीं भी एक-दूसरे को नहीं काटती हैं।

प्रश्न 3.
दो चुम्बकीय क्षेत्र रेखाएँ एक-दूसरे को प्रतिच्छेद क्यों नहीं करतीं?
उत्तर:
क्योंकि यदि वे ऐसा करें तो इसका अर्थ यह होगा कि प्रतिच्छेद बिंदु पर दिक्सूची को रखने पर उसकी सुई दो दिशाओं की ओर संकेत करेगी जो संभव नहीं हो सकता।

पाठगत प्रश्न (पृष्ठ संख्या – 256-57)

प्रश्न 1.
मेज के तल में पड़े तार के वृत्ताकार पाश पर विचार कीजिए। मान लीजिए इस पाश में दक्षिणावर्त विद्युत धारा प्रवाहित हो रही है। दक्षिण- हस्त अंगुष्ठ नियम को लागू करके पाश के भीतर तथा बाहर चुम्बकीय क्षेत्र की दिशा ज्ञात कीजिए।
JAC Class 10 Science Solutions Chapter 13 विद्युत धारा का चुम्बकीय प्रभाव 5
उत्तर:
दक्षिण-हस्त अंगुष्ठ नियम के अनुसार यदि आप चालक तार को पकड़े हुए हैं तब अँगूठा विद्युत धारा की दिशा की ओर संकेत करता है, जबकि अँगुलियाँ चालक के चारों ओर चुम्बकीय क्षेत्र रेखाओं की दिशा को निरूपित करती हैं।

स्पष्टत: वृत्ताकार पाश (लूप) के अंदर चुम्बकीय क्षेत्र रेखाओं की दिशा कागज के तल (मेज के तल) के लम्बवत् अंदर की ओर होगी तथा पाश के बाहर चुम्बकीय क्षेत्र की दिशा पाश (मेज) के तल के लम्बवत् ऊपर की ओर होगी।

प्रश्न 2.
किसी दिए गए क्षेत्र में चुम्बकीय क्षेत्र एकसमान है। इसे निरूपित करने के लिए आरेख खींचिए।
उत्तर:
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प्रश्न 3.
सही विकल्प चुनिए-किसी विद्युत धारावाही सीधी लम्बी परिनालिका के भीतर चुम्बकीय क्षेत्र
(a) शून्य होता है।
(b) इसके सिरे की ओर जाने पर घटता है।
(c) इसके सिरे की ओर जाने पर बढ़ता है।
(d) सभी बिंदुओं पर समान होता है।
उत्तर:
(d) सभी बिंदुओं पर समान होता है।

पाठगत प्रश्न (पृष्ठ संख्या – 259)

प्रश्न 1.
किसी प्रोटॉन का निम्नलिखित में से कौन-सा गुण किसी चुम्बकीय क्षेत्र में मुक्त गति करते समय परिवर्तित हो जाता है? (यहाँ एक से अधिक सही उत्तर हो सकते हैं।
(a) द्रव्यमान, (b) चाल, (c) वेग, (d) संवेग।
उत्तर:
(c) वेग, (d) संवेग।

प्रश्न 2.
क्रियाकलाप 13.7 में हमारे विचार से छड़ AB का विस्थापन किस प्रकार प्रभावित होगा यदि
(i) छड AB प्रवाहित विद्युत धारा में वृद्धि हो जाए।
(ii) अधिक प्रबल नाल चुम्बक प्रयोग किया जाए और
(iii) छड़ AB की लम्बाई में वृद्धि कर दी जाए?
उत्तर:
हम जानते हैं कि F = B X I X L
जहाँ F = चुम्बकीय क्षेत्र में धारावाही चालक पर लगने वाला बल
B = चुम्बकीय क्षेत्र तथा
L = चालक तार (छड़) की लम्बाई
अत: (i) F ∝ I; इसलिए छड़ AB के विस्थापन में वृद्धि होगी।

JAC Class 10 Science Solutions Chapter 13 विद्युत धारा का चुम्बकीय प्रभाव

प्रश्न 3.
पश्चिम की ओर प्रक्षेपित कोई धनावेशित कण (अल्फ्त-कण) किसी चुम्बकीय क्षेत्र द्वारा उत्तर की ओर विक्षेपित हो जाता है। चुम्बकीय क्षेत्र की दिशा क्या है?
(a) दक्षिण की ओर
(b) पूर्व की ओर
(c) अधोमुखी
(d) उपरिमुखी
उत्तर:
(d) उपरिमुखी।

पाठगत प्रश्न (पृष्ठ संख्या – 261)

प्रश्न 1.
फ्लेमिंग का वामहस्त नियम लिखिए।
उत्तर:
फ्लेमिंग का वामहस्त नियम- इस नियम के अनुसार अपने बाएँ हाथ की तर्जनी, मध्यमा और अँगूठे को
JAC Class 10 Science Solutions Chapter 13 विद्युत धारा का चुम्बकीय प्रभाव 7
इस प्रकार फैलाइए कि ये तीनों एक-दूसरे के परस्पर लम्बवत् हों। यदि तर्जनी चुम्बकीय क्षेत्र की दिशा और मध्यमा चालक में प्रवाहित विद्युत धारा की दिशा प्रदर्शित करें तो अँगूठा चालक की गति की दिशा अथवा चालक पर आरोपित बल की दिशा की ओर संकेत करेगा।

प्रश्न 2.
विद्युत मोटर का क्या सिद्धान्त है?
उत्तर:
एक विद्युत मोटर इस सिद्धान्त पर कार्य करती है कि जब एक धारावाही चालक को किसी चुम्बकीय क्षेत्र में रखा जाता है, तो उस चालक पर एक यांत्रिक बल लगता है। चालक पर आरोपित बल की दिशा फ्लेमिंग के वामहस्त नियम द्वारा प्राप्त की जाती है।

प्रश्न 3.
विद्युत मोटर में विभक्त वलय की क्या भूमिका है?
उत्तर:
विद्युत मोटर में विभक्त वलय कॉमुटेटर का कार्य करता है। धारा की दिशा परिवर्तन के कारण आर्मेचर पर लगने वाले बल की भी दिशा परिवर्तित हो जाती है। इस प्रकार कुण्डली पर लगने वाला घूर्णी बल कुण्डली में घूर्णन उत्पन्न करता है।

पाठगत प्रश्न (पृष्ठ संख्या – 264)

प्रश्न 1.
किसी कुण्डली में विद्युत धारा प्रेरित करने के विभिन्न ढंग स्पष्ट कीजिए।
उत्तर:
निम्नलिखित ढंग से किसी कुण्डली में विद्युत धारा उत्पन्न की जा सकती है-

  • कुण्डली एवं चुम्बक को आपेक्षिक गति में लाकर।
  • एक धारावाही कुण्डली एवं एक सामान्य कुण्डली में सापेक्षिक गति उत्पन्न करके।
  • दो कुण्डलियों में से किसी एक में धारा के मान को परिवर्तित करके।

पाठगत प्रश्न (पृष्ठ संख्या – 265-266)

प्रश्न 1.
विद्युत जनित्र का सिद्धान्त लिखिए।
उत्तर:
विद्युत जनित्र विद्युत चुम्बकीय प्रेरण पर आधारित होता है। विद्युत जनित्र में यांत्रिक ऊर्जा विद्युत ऊर्जा में परिवर्तित होती है।

प्रश्न 2.
दिष्टधारा के कुछ स्रोतों के नाम लिखिए।
उत्तर:
दिष्टधारा के कुछ मुख्य स्रोत हैं-

  • विद्युत रासायनिक सेल
  • स्टोरेज सेल
  • dc जनित्र

प्रश्न 3.
प्रत्यावर्ती विद्युत धारा उत्पन्न करने वाले स्त्रोतों के नाम लिखिए।
उत्तर:
पॉवर स्टेशन आदि।

प्रश्न 4.
सही विकल्प का चयन कीजिए-
ताँबे के तार की एक आयताकार कुण्डली किसी चुम्बकीय क्षेत्र में घूर्णी गति कर रही है। इस कुण्डली में प्रेरित विद्युत धारा की दिशा में कितने परिभ्रमण के पश्चात परिवर्तन होता है।
(a) दो
(b) एक
(c) आधे
(d) चौथाई
उत्तर:
(c) आधे।

पाठगत प्रश्न (पृष्ठ संख्या – 267)

प्रश्न 1.
विद्युत परिपथ तथा साधित्रों में सामान्यतः उपयोग होने वाले दो सुरक्षा उपायों के नाम लिखिए।
उत्तर:
विद्युत परिपथ तथा साधित्रों में सामान्यतः सुरक्षा उपाय के तौर पर उपयोग होने वाले दो सुरक्षा उपाय निम्नलिखित हैं-

  • भू-संपर्क तार (Earthwire) एवं
  • फ्यूज

प्रश्न 2.
2kW शक्ति अनुमतांक का एक विद्युत तंदूर किसी घरेलू विद्युत परिपथ (220V) में प्रचालित किया जाता है जिसका विद्युत धारा अनुमतांक 5A है, इससे आप किस परिणाम की अपेक्षा करते हैं? स्पष्ट कीजिए।
उत्तर:
हम अपेक्षा करते हैं कि विद्युत धारा आपूर्ति बंद हो जाएगी तथा फ्यूज तार ओवर लोडिंग के कारण पिघल जाएगा क्योंकि विद्युत धारा की 5A दर 2kW शक्ति वाले विद्युत तंदूर के लिए बहुत ही कम है।

प्रश्न 3.
घरेलू विद्युत परिपथों में अतिभारण से बचाव के लिए क्या सावधानी बरतनी चाहिए?
उत्तर:
घरेलू विद्युत परिपथों में अतिभारण से बचाव के लिए निम्न सावधानियाँ बरतनी चाहिए-

  • एक ही सॉकेट बहुत से उपकरण नहीं लगाने चाहिए और
  • तारों को इंसुलेटिड करके लगाना चाहिए ताकि वे आपस में एक-दूसरे को न छू सकें।

क्रिया-कलाप-13.1

  • ताँबे का एक सीधा मोटा तार लीजिए तथा इसे चित्र में दर्शाए अनुसार विद्युत परिपथ के दो बिंदुओं X तथा Y के बीच रखिए। (तार XY कागज की सतह के लम्बवत रखा है।)
  • इस ताँबे के तार के निकट क्षैतिज रूप में एक छोटी दिक्सूचक रखिए। इसकी सुई की स्थिति नोट कीजिए।
  • प्लग में कुंजी लगाकर विद्युत परिपथ में विद्युत धारा प्रवाहित कराइए।
  • दिक्सूचक सुई की स्थिति में परिवर्तन का प्रेक्षण कीजिए।

अवलोकन-सूई विक्षेपित हो जाती है। इसका यह अर्थ है कि ताँबे के तार से प्रवाहित विद्युत धारा ने एक चुम्बकीय प्रभाव उत्पन्न किया है।
JAC Class 10 Science Solutions Chapter 13 विद्युत धारा का चुम्बकीय प्रभाव 8

क्रिया-कलाप-13.2

  • किसी चिपचिपे पदार्थ का उपयोग करके ड्राइंग बोर्ड पर एक सफेद कागज लगाइए।
  • इसके बीचों बीच एक छड़ चुम्बक रखिए।
  • छड़ चुम्बक के चारों ओर एकसमान रूप से कुछ लौह-चूर्ण छितराइए (चित्र)। इस कार्य के लिए नमकछितरावक का उपयोग किया जा सकता है।
  • अब बोर्ड को धीरे से थपथपाइए।
    JAC Class 10 Science Solutions Chapter 13 विद्युत धारा का चुम्बकीय प्रभाव 9

क्रिया-कलाप के प्रश्नोत्तर

प्रश्न 1.
आप क्या प्रेक्षण करते हैं?
उत्तर:
लौह-चूर्ण चित्र में दर्शाए गए पैटर्न के अनुसार व्यवस्थित हो जाते हैं।

प्रश्न 2.
यह पैटर्न क्या निदर्शित करता है?
उत्तर:
लौह-चूर्ण एक बल का अनुभव करता है, जो उस चुम्बक के चारों ओर होता है। इसे चुम्बकीय क्षेत्र कहते हैं।

JAC Class 10 Science Solutions Chapter 13 विद्युत धारा का चुम्बकीय प्रभाव

प्रश्न 3.
लौह-चूर्ण किस स्थान पर अधिक आकर्षित होता है?
उत्तर:
दोनों ध्रुवों पर।

क्रिया-कलाप- 13.3

  • एक छड़ चुम्बक तथा एक छोटी दिक्सूची लीजिए।
  • किसी चिपचिपे पदार्थ से ड्राइंग बोर्ड पर चिपकाए गए सफेद कागज के बीचोंबीच इस चुम्बक को रखिए।
  • चुम्बक की सीमा रेखा अंकित कीजिए।
  • दिक्सूची को चुम्बक के उत्तर ध्रुव के निकट ले जाइए। यह कैसे व्यवहार करता है? दिक्सूची का दक्षिण ध्रुव चुम्बक के उत्तर ध्रुव की ओर संकेत करता है। दिक्सूची का उत्तर ध्रुव चुम्बक के उत्तर ध्रुव से दूर की ओर संकेत करता है।
  • दिक्सूची के दोनों सिरों की स्थितियाँ नुकीली पेंसिल से अंकित कीजिए।
  • दिक्सूची को इस प्रकार रखिए कि इसका दक्षिण ध्रुव उस स्थिति पर आ जाए जहाँ पहले उत्तर ध्रुव की स्थिति को अंकित किया था। उत्तर ध्रुव की इस नयी स्थिति को अंकित कीजिए।
  • चित्र में दर्शाए अनुसार चुम्बक के दक्षिण ध्रुव पर पहुँचने तक इस क्रिया को दोहराते जाइए।
    JAC Class 10 Science Solutions Chapter 13 विद्युत धारा का चुम्बकीय प्रभाव 10
  • अब कागज पर अंकित बिंदुओं को इस प्रकार मिलाइए कि एक निष्कोण वक्र प्राप्त हो जाए। यह वक्र एक चुम्बकीय क्षेत्र रेखा को निरूपित करता है। उपर्युक्त प्रक्रिया को दोहरा कर जितनी संभव हो सके क्षेत्र रेखाएँ खींचिए। आपकों चित्र में दर्शाए जैसा पैटर्न प्राप्त होगा। ये रेखाएँ चुम्बक के चारों ओर के चुम्बकीय क्षेत्र को निरूपित करती हैं। इन्हें चुम्बकीय क्षेत्र रेखाएँ कहते हैं।
    JAC Class 10 Science Solutions Chapter 13 विद्युत धारा का चुम्बकीय प्रभाव 11
  • किसी चुम्बकीय क्षेत्र रेखा के अनुदिश गमन करते समय दिक्सूची के विक्षेप का प्रेक्षण कीजिए। चुम्बक के ध्रुवों के निकट जाने पर सुई के विक्षेप में वृद्धि होती जाती है।

क्रिया-कलाप के प्रश्नोत्तर

प्रश्न 1.
किसी चुम्बक द्वारा उत्पन्न चुम्बकीय क्षेत्र की दिशा किसी बिन्दु पर किस प्रकार ज्ञात कर सकते हैं?
उत्तर:
चुम्बकीय क्षेत्र के उस बिन्दु पर दिक्सूचक सूई को रखते हैं। दिक्सूचक सूई के उत्तरी ध्रुव की दिशा चुम्बकीय क्षेत्र की दिशा को दर्शाती है।

प्रश्न 2.
चुम्बकीय क्षेत्र रेखाओं की दिशा क्या होती है?
उत्तर:
चुम्बक के चुम्बकीय क्षेत्र की दिशा चुम्बक के उत्तरी ध्रुव से दक्षिण ध्रुव की ओर बंद वक्र के समान होती है।

प्रश्न 3.
चुम्बकीय क्षेत्र रेखाएँ अधिक संख्या में कहाँ होती हैं?
उत्तर:
चुम्बकीय क्षेत्र रेखाएँ ध्रुवों पर ज्यादा सघन होती हैं।

क्रिया-कलाप- 13.4
(i) एक लम्बा सीधा ताँबे का तार, 1.5 V के दो या तीन सेल तथा एक प्लग कुंजी लीजिए। इन सबको चित्र (a) में दर्शाए अनुसार श्रेणीक्रम में संयोजित कीजिए।
JAC Class 10 Science Solutions Chapter 13 विद्युत धारा का चुम्बकीय प्रभाव 11

(ii) सीधे तार को दिक्सूची के ऊपर उसकी सूई के समान्तर रखिए। अब प्लग में कुंजी लगाकर परिपथ को पूरा कीजिए। सुई के उत्तर ध्रुव के विक्षेप की दिशा नोट कीजिए। यदि विद्युत धारा चित्र (a) में दर्शाए अनुसार उत्तर से दक्षिण की ओर प्रवाहित हो रही है तो दिक्सूची का उत्तर ध्रुव पूर्व की ओर विक्षेपित होगी।

(iii) चित्र (b) में दर्शाए अनुसार परिपथ में जुड़े सेलों के संयोजनों को प्रतिस्थापित कीजिए। इसके परिणामस्वरूप ताँबे के तार में विद्युत धारा के प्रवाह की दिशा में परिवर्तन होगा अर्थात् विद्युत धारा के प्रवाह की दिशा दक्षिण से उत्तर की ओर हो जायेगी। दिक्सूची के विक्षेप की दिशा में परिवर्तन का प्रेक्षण कीजिए। आप यह देखेंगे कि अब सूई विपरीत दिशा में अर्थात् पश्चिम की ओर विक्षेपित होती है। इसका अर्थ यह हुआ कि विद्युत धारा द्वारा उत्पन्न चुम्बकीय क्षेत्र की दिशा भी उत्क्रमित हो गयी है।
JAC Class 10 Science Solutions Chapter 13 विद्युत धारा का चुम्बकीय प्रभाव 13

क्रिया-कलाप के प्रश्नोत्तर

प्रश्न 1.
दिक्सूचक सुई के ऊपर यदि धारावाही चालक रखा जाए तो क्या होगा?
उत्तर:
दिक्सूचक सुई की भुजाओं में विचलन होगा। यह दिशा SNOW नियम की मदद से ज्ञात कर सकते हैं।

प्रश्न 2.
SNOW नियम क्या हैं?
उत्तर:
यदि चालक में धारा की दिशा दक्षिण से उत्तर दिशा की तरफ हो तो दिक्सूचक सुई की दिशा के पश्चिम दिशा में विक्षेपण होगा।

प्रश्न 3.
क्या होगा यदि धारावाही चालक में धारा की दिशा को उल्टा कर दिया जाए?
उत्तर:
दिक्सूचक सुई की भुजाओं में विक्षेपण की दिशा उल्टी हो जाएगी।

प्रश्न 4.
यदि सीधे तार में प्रवाहित विद्युत धारा की दिशा को उत्क्रमित कर दिया जाए, तो क्या चुम्बकीय क्षेत्र रेखाओं की दिशा भी उत्क्रमित हो जाएगी?
उत्तर:
हाँ, चुम्बकीय क्षेत्र रेखाओं की दिशा भी उत्क्रिमित हो जाएगी।

क्रिया-कलाप-13.5
(i) एक 12 V की बैटरी, एक परिवर्ती प्रतिरोध (धारा नियंत्रक), 0-5 A परिसर का ऐमीटर, एक प्लग कुंजी तथा एक लंबा मोटा सीधा ताँबे का तार लीजिए।

(ii) एक आयताकार कार्डबोर्ड का टुकड़ा लेकर उसके बीचोंबीच कार्डबोर्ड के तल के अभिलम्बवत इस मोटे तार को प्रविष्ट कराइए। यह सावधानी रखिए कि कार्डबोर्ड तार में स्थिर रहे, ऊपर-नीचे हिले-डुले नहीं।

(iii) चित्र (a) में दर्शाए अनुसार ताँबे के तार को ऊर्ध्वाधरत: बिंदुओं X तथा Y के बीच श्रेणीक्रम में बैटरी, ऐमीटर, धारा नियंत्रक तथा प्लग कुंजी से संयोजित कीजिए।
JAC Class 10 Science Solutions Chapter 13 विद्युत धारा का चुम्बकीय प्रभाव 14

(iv) तार के चारों ओर कार्डबोर्ड पर कुछ लौह-चूर्ण एकसमान रूप से छितराइए। (इसके लिए आप नमक छितरावक का उपयोग भी कर सकते हैं।)

(v) धारा-नियंत्रक के परिवर्तक को किसी एक नियत स्थिति पर रखिए तथा ऐमीटर में विद्युत धारा का पाठ्यांक नोट कीजिए।

(vi) कुंजी लगाकर परिपथ बंद कीजिए ताकि ताँबे के तार से विद्युत धारा प्रवाहित हो। यह सुनिश्चित कीजिए। कि बिंदुओं X तथा Y के बीच में लगा ताँबे का तार ऊर्ध्वाधरतः सीधा रहे।

(vii) कार्डबोर्ड को हलके से कुछ बार थपथपाइए। लौह-चूर्ण के पैटर्न का प्रेक्षण कीजिए। आप यह देखेंगे कि लौह-चूर्ण संरेखित होकर तार के चारों ओर संकेन्द्री वृत्तों के रूप में व्यवस्थित होकर एक वृत्ताकार पैटर्न बनाता है (चित्र (b))।
JAC Class 10 Science Solutions Chapter 13 विद्युत धारा का चुम्बकीय प्रभाव 15

(viii) ये संकेन्द्री वृत्त क्या निरूपित करते हैं ? ये चुम्बकीय क्षेत्र रेखाओं को निरूपित करते हैं।

(ix) इस प्रकार उत्पन्न चुम्बकीय क्षेत्र की दिशा कैसे ज्ञात करें ? वृत्त के किसी बिंदु (जैसे P) पर दिक्सूची रखिए। सुई की दिशा का प्रेक्षण कीजिए। दिक्सूची का उत्तर ध्रुव बिंदु विद्युत धारा द्वारा उत्पन्न चुम्बकीय क्षेत्र रेखा की दिशा बताता है। इस दिशा को तीर द्वारा दर्शाइए।

(x) यदि सीधे तार में प्रवाहित विद्युत धारा की दिशा को उत्क्रमित कर दिया जाए, तो क्या चुम्बकीय क्षेत्र रेखाओं की दिशा भी उत्क्रमित हो जाएगी ? इसका परीक्षण कीजिए।

क्रिया-कलाप के प्रश्नोत्तर

प्रश्न 1.
लौह-चूर्ण किस प्रकार व्यवस्थित होते हैं?
उत्तर:
लौह-चूर्ण सरेखित होकर तार के चारों ओर संकेन्द्री वृत्तों के रूप में व्यवस्थित होते हैं।

प्रश्न 2.
ये संकेन्द्री वृत्त क्या निरूपित करते हैं?
उत्तर:
ये संकेन्द्री वृत्त, चुम्बकीय क्षेत्र रेखाओं को निरूपित करते हैं।

प्रश्न 3.
इस प्रकार उत्पन्न चुम्बकीय क्षेत्र की दिशा आप कैसे ज्ञात करेंगे ?
उत्तर:
दिक्सूची द्वारा ज्ञात करेंगे। वृत्त के किसी बिंदु P पर दिक्सूची का उत्तर ध्रुव विद्युत धारा द्वारा उत्पन्न चुम्बकीय क्षेत्र रेखा की दिशा बताता है।

JAC Class 10 Science Solutions Chapter 13 विद्युत धारा का चुम्बकीय प्रभाव

प्रश्न 4.
विद्युत धारा की दिशा उत्क्रमित करने पर क्या होता है?
उत्तर:
चुम्बकीय क्षेत्र रेखाओं की दिशा भी उत्क्रमित हो जाती है।

प्रश्न 5.
क्या दिकससूी के विक्षेप पर धारा के परिमाण में वृद्धि और तार से दूरी का प्रभाव पड़ता है?
उत्तर:
हाँ, धारा के परिमाण में वृद्धि होने पर विक्षेप में भी वृद्धि होती है तथा तार से दूसरे किसी बिंदु Q पर दिक्सूची रखने पर इसका विक्षेप घट जाता है।

क्रिया-कलाप- 13.6

  • एक ऐसा आयताकर कार्डबोर्ड लीजिए जिसमें दो छिद्र हों। एक ऐसी वृत्ताकर कुण्डली लीजिए जिसमें फेरों की संख्या काफी अधिक हो और उसे कार्डबोर्ड के तल के अभिलम्बवत् लगाया गया हो।
  • चित्र में दर्शाए अनुसार कुण्डली के सिरों को श्रेणीक्रम में बैटरी, एक कुंजी तथा एक धारा नियंत्रक से संयोजित कीजिए।
    JAC Class 10 Science Solutions Chapter 13 विद्युत धारा का चुम्बकीय प्रभाव 16
  • कार्डबोर्ड पर लौह-चूर्ण एकसमान रूप से छितराइए।
  • कुंजी लगाकर परिपथ पूरा कीजिए।

क्रिया-कलाप के प्रश्नोत्तर

प्रश्न 1.
कॉर्डबोर्ड को हल्के से कुछ बार थपथपाइए। कॉर्डबोर्ड पर जो पैटर्न बनता दिखाई दे उसका प्रेक्षण कीजिए।
उत्तर:
दोनों छिद्रों के पास लौह-चूर्ण संकेन्द्रीय वृत्ताकार पैटर्न में व्यवस्थित हो जाते हैं। इसका अर्थ हुआ कि धारावाही वृत्ताकार चालक का प्रत्येक भाग चुम्बकीय क्षेत्र उत्पन्न करता है जो संकेन्द्रीय वृत्ताकार होते हैं।

प्रश्न 2.
क्या धारावाही वृत्ताकार चालक के आस-पास चुम्बकीय क्षेत्र उत्पन्न होता है?
उत्तर:
हाँ, धारावाही वृत्ताकार चालक के आसपास चुम्बकीय क्षेत्र उत्पन्न होता है।

प्रश्न 3.
धारावाही वृत्ताकार चालक के दो विपरीत बिन्दुओं पर उत्पन्न चुम्बकीय क्षेत्र की प्रकृति में अन्तर बताइए।
उत्तर:
दोनों ही बिन्दुओं पर उत्पन्न चुम्बकीय क्षेत्र रेखाओं की दिशा विपरीत होती है। इन दोनों बिन्दुओं पर उत्पन्न चुम्बकीय क्षेत्र रेखाएँ संकेन्द्रीय वृत्ताकार होती हैं।

प्रश्न 4.
धारावाही वृत्ताकार चालक द्वारा उत्पन्न चुम्बकीय क्षेत्र का मान सबसे अधिक कहाँ पर होता है?
उत्तर:
धारावाही वृत्ताकार चालक के केन्द्र पर चुम्बकीय क्षेत्र का मान सबसे अधिक होता है।

क्रिया-कलाप -13.7

  • ऐलुमिनियम की एक छोटी छड़ (लगभग 5 cm लम्बी) लीजिए। चित्र में दर्शाए अनुसार इस छड को दो संयोजक तारों द्वारा किसी स्टैडs से क्षैतिजतः लटकाइए।
  • एक प्रवल नाल चुम्बक इस प्रकार से व्यवस्थित कीजिए कि छड़ नाल चुम्बक के दो ध्रुवों के बीच में हो तथा चुम्बकीय क्षेत्र की दिशा उपरिमुखी हो। ऐसा करने के लिए नाल चुम्बक का उत्तर ध्रुव की छड के ऊध्वांधरतः नीचे एवं दक्षिण ध्रुव ऊर्ध्याधरतः ऊपर रखिए।
  • ऐलुमिनियम की छउ को एक बैटरी, एक कुंजी तथा एक धारा नियंख्रक के साथ श्रेणीक्रम में संयोजित कीजिए। ऐलुमिनियम छड में सिरे B से A की और विद्युत धारा प्रवाहित कराइए।
    JAC Class 10 Science Solutions Chapter 13 विद्युत धारा का चुम्बकीय प्रभाव 17

क्रिया-कलाप के प्रश्नोत्तर

प्रश्न 1.
आप क्या देखते हैं?
उत्तर:
हम देखते हैं कि विद्युत ध्षारा प्रवाहित होते ही छड़ बाई दिशा में विस्थापित होती है।

प्रश्न 2.
अब छड़ में प्रवाहित होने वार्ली विद्युत थारा की दिशा उत्क्रमित कीजिए और छड़ के विस्थापन की दिशा नोट कीजिए। अब यह दाई ओर विस्थापित होती है। छड़ क्यों विस्थापित होती है?
उत्तर:
फ्लेमिंग के अनुसार धाराबाही चालक पर चुम्बकीय क्षेत्र में बल लगता है। इसलिए धारावाही चालक को चुम्बक के धुवों के बीच स्थिर रलने पर अपनी स्थिति से विस्थापित हो जाता है। इस छड़ पर लगने वाला बल छड़ पर लम्बवत् दिशा में होता है।

प्रश्न 3.
जब एक धारावाही चालक को चुम्बकीय क्षेत्र में रखा जाता है तो क्या होता है?
उत्तर:
जब धारावाही चालक को चुम्बकीय क्षेत्र में रग्बते हैं तो उस पर एक बल आरोपत होता है।

प्रश्न 4.
उस नियम का मात्र नाम लिखो जिसकी मदद से धारावाही चालक पर चुम्बकीय क्षेत्र में लगने वाले बल की दिशा ज्ञात करते हैं?
उत्तर:
फ्लेमिंग का वामहस्त का नियम।

प्रश्न 5.
किन कारकों पर चालक पर आरोपित बल का मान निर्भर करता है?
उत्तर:

  • चुम्बकीय क्षेत्र के मान पर।
  • चालक की लम्बाई पर।
  • चालक में प्रवाहित धारा के मान पर।

प्रश्न 6.
क्या होगा यदि चुम्बकीय क्षेत्र में रखे चालक में प्रवाहित धारा की दिशा को विपरीत दिशा में प्रवाहित किया जाए ?
उत्तर:
चालक पर आरोपित बल की दिशा विपरीत दिशा में हो जाती है।

क्रिया-कलाप- 13.8
(i) अनेक फेरों वाली तार की एक कुण्डली AB लीजिए।

(ii) कुण्डली के सिरों को किसी गैल्वेनोमीटर से चित्र में दर्शाए अनुसार संयोजित कीजिए।
JAC Class 10 Science Solutions Chapter 13 विद्युत धारा का चुम्बकीय प्रभाव 18

(iii) एक प्रबल छड़ चुम्बक लीजिए तथा इसके उत्तर:ध्रुव को कुण्डली के सिरे B की ओर ले जाइए। क्या आप गैल्वेनोमीटर की सुई में कोई परिवर्तन पाते हैं ?

(iv) गैल्वेनोमीटर की सुई में क्षणिक विक्षेप होता है, मान लीजिए यह दाईं ओर है। यह कुण्डली AB में विद्युत धारा की उपस्थिति का संकेत देता है। जैसे ही चुम्बक की गति समाप्त होती है, गैल्वेनोमीटर में विक्षेप शून्य हो जाता है।

(v) अब चुम्बक के उत्तर ध्रुव को कुण्डली से दूर ले जाइए। इस बार गैल्वेनोमीटर की सुई बाई ओर विक्षेपित होती है, जो यह दर्शाता है कि अब परिपथ में उत्पन्न विद्युत धारा की दिशा पहले के विपरीत है।

(vi) कुण्डली के निकट किसी चुम्बक को स्थिर अवस्था में इस प्रकार रखिए कि चुम्बक का उत्तर ध्रुव कुण्डली के सिरे B की ओर हो। हम यह देखते हैं कि जैसे ही कुण्डली को चुम्बक के उत्तर ध्रुव की ओर ले जाते हैं, गैल्वेनोमीटर की सुई दाई ओर विक्षेपित होती है। इसी प्रकार, जब कुण्डली को उत्तर ध्रुव से दूर हटाते हैं तो गैल्वेनोमीटर की सुई बाई ओर विक्षेपित होती है।

(vii) जब कुण्डली को चुम्बक के सापेक्ष स्थिर रखते हैं तो गैल्वेनोमीटर में विक्षेप शून्य हो जाता है।

क्रिया-कलाप के प्रश्नोत्तर

प्रश्न 1.
इस क्रिया-कलाप से आप क्या निष्कर्ष निकालते हैं?
उत्तर:
इस क्रिया कलाप से यह स्पष्ट होता है कि कुंडली के सापेक्ष चुंबक की गति एक प्रेरित विभवान्तर उत्पन्न करती है, जिसके कारण परिपथ में प्रेरित विद्युत धारा प्रवाहित होती है।

क्रिया-कलाप- 13.9
(i) ताँबे के तार की दो भिन्न कुण्डलियाँ लीजिए जिनमें फेरों की संख्या काफी अधिक (जैसे क्रमशः 50 तथा 100 फेरे) हों। इन कुण्डलियों को चित्र में दर्शाए अनुसार किसी विद्युतरोधी खोखले बेलन पर चढ़ाइए (आप मोटे कागज को भी खोखले बेलन के रूप में लपेटकर यह कार्य कर सकते हैं)।

(ii) कुण्डली-1 को जिसमें फेरों की संख्या अपेक्षाकृत अधिक है, श्रेणीक्रम में बैटरी तथा प्लग कुंजी से संयोजित कीजिए। अन्य कुण्डली- 2 को भी चित्र में दर्शाए अनुसार गैल्वेनोमीटर से संयोजित कीजिए।

(iii) कुंजी को प्लग में लगाइए। गैल्वेनोमीटर का प्रेक्षण कीजिए। क्या इसकी सुई कोई विक्षेप दर्शाती है? आप यह देखेंगे कि गैल्वेनोमीटर की सुई तुरंत ही एक दिशा में तीव्र
JAC Class 10 Science Solutions Chapter 13 विद्युत धारा का चुम्बकीय प्रभाव 19
गति से विक्षेपित होकर उसी गति से शीघ्र वापस शून्य पर आ जाती है। यह कुण्डली- 2 में क्षणिक विद्युत धारा का उत्पन्न होना सूचित करता है।

क्रिया-कलाप के प्रश्नोत्तर

प्रश्न 1.
जब एक धारावाही कुण्डली को दूसरी कुण्डली के पास लाते हैं तो क्या होता है?
उत्तर:
दूसरी कुण्डली में धारा प्रेरित होती है।

प्रश्न 2.
प्राथमिक कुण्डली में स्थिर धारा प्रवाहित होने पर द्वितीय कुण्डली में धारा का मान क्या होगा?
उत्तर:
शून्य।

प्रश्न 3.
धारावाही कुण्डली एवं प्रेरित धारा कुण्डली का क्या नाम है?
उत्तर:
धारावाही कुण्डली को प्राथमिक कुण्डली एवं प्रेरित धारा कुण्डली को द्वितीयक कुण्डली कहते हैं।

प्रश्न 4.
कौन-सी कुण्डली चुम्बकीय क्षेत्र उत्पन्न करती है?
उत्तर:
प्राथमिक कुण्डली से चुम्बकीय क्षेत्र उत्पन्न होता है क्योंकि यह धारावाही कुण्डली होती है।

प्रश्न 5.
कुण्डली-2 में प्रेरित धारा की प्रबलता को कौन-से कारक प्रभावित करते हैं?
उत्तर:

  • प्राथमिक कुण्डली में धारा की प्रबलता।
  • प्राथमिक कुण्डली में तार के फेरों की संख्या।